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ओटीसी डेरिवेटिव बाजारों के लिए कानूनी संस्था पहचान आरंभ करना

भारिबैं/2016-17/314
एफएमआरडी.एफएमआइडी.सं.14/11.01.007/2016-17

01 जून 2017

ओटीसी डेरिवेटिव बाजारों के सभी पात्र प्रतिभागी

प्रिय महोदय/महोदया,

ओटीसी डेरिवेटिव बाजारों के लिए कानूनी संस्था पहचान आरंभ करना

लीगल एन्टिटी आइडेंटिफायर (एलइआइ) कोड की परिकल्पना वैश्विक वित्तीय संकट के बाद बेहतर जोखिम प्रबंधन के लिए वित्तीय आँकड़ों की गुणवत्ता और परिशुद्धता में सुधार करने के एक प्रमुख उपाय़ के रूप में की गयी है । एलइआइ एक 20-वर्णी विशिष्ट पहचान कोड है, जो उन कंपनियों को दिया गया है, जो किसी वित्तीय लेन देन में पार्टी होती हैं ।

2. यह निर्णय लिया गया है कि एलइआइ प्रणाली को चरणबद्ध रूप में ओवर-द-काउंटर (ओटीसी) बाजारों में रुपय़ा ब्याज दर डेरिवेटिवों, विदेशी मुद्रा डेरिवेटिवों और भारत में ऋण डेरिवेटिवों में सभी प्रतिभागियों के लिए कार्यान्वित किया जाये । तदनुसार, सभी वर्तमान और भावी प्रतिभागियों को संलग्न अनुसूची (अनुबंध) में बतायी गयी समय-रेखा के अनुसार विशिष्ट एलइआइ कोड प्राप्त करना होगा । जिन कंपनियों के पास एलइआइ कोड नहीं होगा, वे अनुसूची में विनिर्दिष्ट तिथि के बाद ओटीसी डेरिवेटिव बाजारों में सहभागिता करने के लिए पात्र नहीं होंगी ।

3. कंपनियाँ ग्लोबल लीगल एन्टिटी आइडेंटिफायर फाउंडेशन (जीएलइआइएफ) – जिसे एलइआइ के कार्यान्वयन और प्रयोग में सहायता करने का काम सौंपा गया है, द्वारा प्रत्यायित किसी भी स्थानीय परिचालन इकाई (एलओयु) से एलइआइ प्राप्त कर सकती हैं । भारत में, एलइआइ कोड लीगल एन्टिटी आइडेंटिफायर इंडिया लि. (एलइआइएल) (https://www.ccilindia-lei.co.in) से प्राप्त किया जा सकता है, जिसे भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा भुगतान एवं निपटान प्रणाली अधिनियम, 2007 के अंतर्गत एलइआइ के जारीकर्ता के रूप में मान्यता प्रदान की गयी है और जिसे जीएलइआइएफ द्वारा भारत में एलइआइ के निर्गमन और प्रबंध के लिए स्थानीय परिचालन इकाई (एलओयु) के रूप में प्रत्यायित किया गया है ।

4. नियम, क्रियाविधि और प्रलेखन संबंधी अपेक्षाओं को एलइआइएल से सुनिश्चित किया जा सकता है (https://www.ccilindia-lei.co.in/USR_FAQ_DOCS.aspx) ।

5. एलइआइ कोड प्राप्त कर लेने के बाद कंपनियों को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि उनका नवीकरण जीएलइआइएफ दिशानिर्देशों के अनुसार किया जाता है । व्यपगत एलइआइ को ट्रेड रिपोजिटरी (टीआर) रिपोर्टिंग के लिए वैध नहीं माना जायेगा ।

6. ये निदेश भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की धारा 45(डब्लू) के अंतर्गत जारी किये गये हैं ।

भवदीय

(टी. रबिशंकर)
मुख्य महाप्रबंधक


अनुबंध

विभिन्न कंपनियों के लिए एलइआइ के कार्यान्वयन के लिए अनुसूची

चरण कंपनियाँ किस तिथि तक एलइआइ कोड प्राप्त करना है
चरण । आरबीआई/सेबी/आइआरडीए/पीएफआरडीए द्वारा विनियमित कंपनियाँ और रु.10000 मिलियन से अधिक निवल मालियत वाले कारपोरेट 1 अगस्त 2017
चरण ।। रु.2000 मिलियन और रु.10000 मिलियन के बीच निवल मालियत वाले कारपोरेट 1 अक्तूबर 2017
चरण ।।। रु.700 मिलियन और रु.2000 मिलियन के बीच निवल संपत्ति वाले कारपोरेट 1 दिसंबर 2017
चरण IV रु.700 मिलियन और उससे कम निवल मालियत वाले कारपोरेट 31 मार्च 2018

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