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जून 2008 के अंत में भारत का बाह्य ऋण

30 सितंबर 2008

30 सितंबर 2008

जून 2008 के अंत में भारत का बाह्य ऋण

वर्तमान प्रथा के अनुसार, मार्च तथा जून को समाप्त तिमाहियों के लिए भारत के बाह्य ऋण संबंधी आंकड़े रिज़र्व बैंक द्वारा संकलित एवं जारी किए जाते हैं, जबकि सितंबर और दिसंबर को समाप्त तिमाहियों के लिए बाह्य ऋण संबंधी आंकड़े वित्त मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा संकलित तथा जारी किए जाते हैं। जून 2008 के अंत की स्थिति के अनुसार मानक फार्मेट में संकलित रुपया तथा अमरीकी डालर में बाह्य ऋण का ब्यौरेवार लेखा तथा पिछली तिमाहियों के संशोधित आंकड़े क्रमशः विवरण 1 और 2 में प्रस्तुत किए गए हैं।

1.बाह्य ऋण का स्टॉक

बाह्य ऋण मार्च 2008 के अंत के 220.7 बिलियन अमरीकी डालर की तुलना में जून 2008 के अंत में 221.3 बिलियन अमरीकी डालर था तथा उसमें मार्च 2008 के अंत के स्तर की तुलना में 0.6 बिलियन अमरीकी डालर या 0.3 प्रतिशत की वृद्धि हुई (सारणी 1 चार्ट 1)।

सारणी 1 : बकाया बाह्य ऋ

(बिलियन अमरीकी डालर)

   

घटबढ़

निम्नलिखित के
अंत में

कुल बाह्य ऋण

पिछले वर्ष की संबंधित
तिमाही की तुलना में

पिछली तिमाही
की तुलना में

   

राशि

प्रतिशत

राशि

प्रतिशत

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

(6)

मार्च 2006

138.1

5.2

3.9

5.8

4.4

जून 2006

145.0

12.1

9.1

6.9

5.0

सितंबर 2006

150.6

13.8

10.1

5.6

3.9

दिसंबर 2006

160.4

28.0

21.2

9.7

6.5

मार्च 2007

169.7

31.5

22.8

9.3

5.8

जून 2007

180.2

35.2

24.2

10.5

6.2

सितंबर 2007

193.2

42.6

28.3

13.0

7.2

दिसंबर 2007

203.2

42.8

26.7

10.0

5.2

मार्च 2008

220.7

51.1

30.1

17.5

8.6

जून 2008

221.3

41.1

22.8

0.6

0.3

  1. मूल्यन में परिवर्तन

अन्य प्रमुख अंतर्राष्ट्रीय मुद्राओं तथा भारतीय रुपए की तुलना में अमरीकी डालर की मूल्यवृद्धि को दर्शाते हुए मूल्यन के प्रभाव के कारण बाह्य ऋण में 4.5 बिलियन अमरीकी डालर की कमी आई। इससे यह अभिप्रेत है कि मूल्यन के प्रभाव को छोड़कर जून 2008 के अंत में बाह्य ऋण के स्टॉक में मार्च 2008 के अंत के स्तर की तुलना में लगभग 5.1 बिलियन अमरीकी डालर की वृद्धि हुई ।

3.बाह्य ऋण के घटक

बाह्य ऋण के स्टॉक में मुख्यतः अल्पावधि ऋण में वृद्धि, जो तिमाही के दौरान 2.2 बिलियन अमरीकी डालर बढ़ गया, के कारण बढ़त हुई। अल्पावधि ऋण संबंधी आंकड़ों में 180 दिनों तक तथा उससे अधिक का आपूर्तिकर्ता का ऋण तथा सरकारी ऋण पत्रों में विदेशी संस्थागत निवेशकों का निवेश शामिल हैं। अल्पावधि ऋण में वृद्धि मुख्यतः व्यापार ऋण (विशेष रूप से 180 दिनों से अधिक के व्यापार ऋण) में वृद्धि के कारण हुई, जिसका कारण तिमाही के दौरान आयातों का उच्चतर वित्तपोषण था।
बकाया अनिवासी भारतीय जमाराशियां मार्च 2008 के अंत के स्तर की तुलना में 1.1 बिलियन अमरीकी डालर घटकर जून 2008 के अंत में 42.6 बिलियन अमरीकी डालर रह गईं।
जून 2008 के अंत में बाह्य ऋण के अन्य घटकों की गतिविधियों से यह प्रकट होता है कि जहां बहुपक्षीय ऋण और निर्यात ऋण में वृद्धि हुई, वहीं वाणिज्यिक उधार, द्विपक्षीय ऋण तथा रुपया ऋण में गिरावट आई (सारणी 2 तथा चार्ट 2)।

 

सारणी 2 : घटकों के अनुसार बाह्य ऋण में घटबढ़

मद

. . .के अंत में बकाया
बाह्य ऋण
(मिलियन अमरीकी डालर)

घटबढ़, राशि में
(मिलियन अमरीकी डालर)

प्रतिशत
घटबढ़

 

मार्च 07

मार्च 08

जून 08

मार्च 07 से
मार्च 08

मार्च 08
से जून 08

मार्च 07 से
मार्च 08

मार्च 08 से
जून 08

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

(6)

(7)

(8)

1. बहुपक्षीय

35,337
(20.8)

39,312
(17.8)

39,662
(17.9)

3,975

350

11.2

0.9

 

 

 

 

 

 

 

 

2. द्विपक्षीय

16,061
(9.5)

19,613
(8.9)

18,683
(8.4)

3,552

-930

22.1

-4.7

 

 

 

 

 

 

 

 

3. आइएमएफ

0
(0.0)

0
(0.0)

0
(0.0)

0

0

0.0

0.0

 

 

 

 

 

 

 

 

4.निर्यात ऋण

7,051
(4.2)

10,267
(4.7)

11,004
(5.0)

3,216

737

45.6

7.2

 

 

 

 

 

 

 

 

5.वाणिज्यिक उधार

41,657
(24.6)

62,019
(28.1)

61,458
(27.8)

20,362

-561

48.9

-0.9

 

 

 

 

 

 

 

 

6.अनिवासी भारतीय जमाराशियां

41, 240
(24.3)

43,672
(19.8)

42,612
(19.3)

2,432

-1,060

5.9

-2.4

 

 

 

 

 

 

 

 

7.रुपया ऋण

1,947
(1.1)

2,016
(0.9)

1,866
(0.8)

69

-150

3.5

-7.4

 

 

 

 

 

 

 

 

8.अल्पावधि ऋण

26,376
(15.5)

43,820
(19.8)

46,018
(20.8)

17,444

2,198

66.1

5.0

कुल ऋण
(1 से 8)

169,669
(100.0)

220,719
(100.0)

221,30)
(100.0)

51,050

584

30.1

0.3

ज्ञापन मदें

 

 

अ. दीर्घावधि ऋण

143,293
(84.5)

176,899
(80.2)

175,285
(79.2)

33,606

-1,614

23.5

-0.9

आ. अल्पावधि ऋण

26,376
(15.5)

43,820
(19.8)

46,018
(20.8)

17,444

2,198

66.1

5.0

कोष्ठकों के आंकड़े कुल ऋण में हिस्सा दर्शाते हैं ।

4.अवशिष्ट परिपक्वता के अनुसार बाह्य ऋण

जहां बाह्य ऋण का संकलन सामान्य तौर पर मूल परिपक्वता के रूप में किया जाता है, वहीं विदेशी मुद्रा चलनिधि प्रबंधन के दृष्टिकोण से तथा तत्काल भविष्य में ऋण चुकौती संबंधी अदायगियों के कारण विदेशी मुद्रा के कुल बहिर्गम को निश्चित करने के लिए अवशिष्ट परिपक्वता के रूप में बाह्य ऋण का विश्लेषण महत्व रखता है। ‘अवशिष्ट परिपक्वता के रूप में दीर्घावधि ऋण’ में मूल परिपक्वता के अनुसार मध्यावधि और दीर्घावधि ऋण के तहत एक साल के बाद देय चुकौतियां शामिल होती हैं। दूसरी ओर, ‘अवशिष्ट परिपक्वता के अनुसार अल्पावधि ऋण’ में मूल परिपक्वता सहित अल्पावधि ऋण के साथ एक साल की संदर्भ अवधि में मूल परिपक्वता द्वारा मध्यावधि एवं दीर्घावधि ऋण के तहत देय चुकौतियां शामिल होती हैं। अवशिष्ट परिपक्वता के आधार पर जून 2008 के अंत में 221.3 बिलियन अम.डालर के कुल बाह्य ऋण में से दीर्घावधि ऋण 132.3 बिलियन अमरीकी डालर अथवा 59.8 प्रतिशत था। जून 2008 के अंत में अवशिष्ट परिपक्वता के अनुसार अल्पावधि ऋण 89.0 बिलियन अमरीकी डालर था जो कुल बाहृय ऋण का 40.2 प्रतिशत था । विदेशी मुद्रा आरक्षित निधियों के प्रति अवशिष्ट परिपक्वता के अनुसार अल्पावधि ऋण का अनुपात जून 2008 के अंत में 28.5 प्रतिशत था (सारणी 3)

 

सारणी 3 : जून 2008 के अंत में बकाया बाह्य ऋण की अवशिष्ट परिपक्वता

(मिलियन अमरीकी डालर)

 

  अल्पावधि

दीर्घावधि

कुल

घटक

1 वर्ष तक

1 से 2 वर्ष तक

2 से 3 वर्ष तक

3 वर्ष से अधिक

(2 से 5)

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

(6)

  1. 1.सरकारी ऋण

2,780

3,211

4,613

44,600

55,204

 

 

 

 

 

 

  • 2.वाणिज्यिक उधार
  • 7,403

    7,383

    10,501

    52,858

    78,145

    (निर्यात ऋण सहित)

     

     

     

     

     

     

     

     

     

     

     

    3.एनआरआइ जमाराशियाँ (i+ii+iii)

    33,485

    5,895

    1,996

    1,236

    42,612

    (i) एफसीएनआर(बी)

    10,356

    2,600

    844

    201

    14,001

    (ii) एनआर(ई)आरए

    20,353

    3,160

    1,080

    992

    25,585

    (iii) एनआरओ

    2,776

    135

    72

    43

    3,026

      

      

      

      

      

      

    4.अल्पावधि ऋण

    45,342

    -

    -

    -

    45,342

    (मूल परिपक्वता)

      

      

     

      

      

     

     

     

     

     

     

    कुल (1 ूद 4)

    89,010

    16,489

    17,110

    98,694

    221,303

    ज्ञापन मदें

     

     

     

     

     

    अल्पावधि ऋण(अवशिष्ट परिपक्वता,
    कुल ऋण के प्रतिशत के रूप में)

    40.2

     

     

     

     

    अल्पावधि ऋण(अवशिष्ट परिपक्वता,
    रिज़र्व के प्रतिशत के रूप में)

    28.5

     

     

     

     

               

    टिप्पणी :1. एनआरआइ जमाराशियों की अवशिष्ट परिपक्वता का आकलन 31 मार्च 2008 को बकाया एनआरआइ जमाराशियों पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा किए गए सर्वेक्षण के आधार पर किया गया है।
    2.एनआरओ जमाराशियों की परिपक्वता का पैटर्न, जो 31 मार्च 2007 के सर्वेक्षण में उपलब्ध नहीं था, अब 31 मार्च 2008 के सर्वेक्षण में उपलब्ध है। इस प्रकार अनिवासी साधारण जमाराशियों के परिपक्वतावार ब्यौरे दिए गए हैं।
    3.सरकारी ऋण के अंतर्गत विदेशी संस्थागत निवेशकों द्वारा खज़ाना बिलों में तथा सरकार की दिनांकित प्रतिभूतियों में किए गए निवेश शामिल हैं,जबकि वाणिज्यिक उधारों में विदेशी संस्थागत निवेशकों के कार्पोरेट ऋण पत्रों तथा अन्य अल्पावधि ऋण लिखतों में निवेश शामिल हैं।

    5.मुद्रा संरचना

    जहां अंतर्राष्ट्रीय तुलना को सुकर बनाने के लिए बाह्य ऋण की गणना हेतु अमरीकी डालर को सामान्य तौर पर संख्यात्मक मुद्रा के रूप में प्रयोग किया जाता है, वहीं बाह्य ऋण की मुद्रा संरचना उन मुद्राओं को समझने के लिए जरूरी है जिनमें ऋण को वस्तुतः मूल्यवर्गित किया जाता है और इस प्रकार शोधक्षमता और चलनिधि जोखिम के प्रति अर्थव्यवस्था की भेद्यता की मात्रा निर्धारित की जाती है। इससे क्रास करेंसी विनिमय दर के घटबढ़ के प्रति अर्थव्यवस्था के एक्सपोजर की मात्रा भी ज्ञात होती है। भारत के बाह्य ऋण की मुद्रा संरचना सामान्यतः अमरीकी डालर, जापानी येन, यूरो, पाउंड स्टर्लिंग, विशेष आहरण अधिकार जैसी प्रमुख विदेशी मुद्राओं तथा देशी मुद्रा अर्थात भारतीय रुपए में व्यक्त की जाती है।

    इस संबंध में यह उल्लेखनीय है कि मुद्रा संरचना की गणना करते समय अल्पावधि व्यापार ऋण को सामान्यत: डालर के रूप में लिया गया था क्योंकि इसका अधिकांश अमरीकी डालर में मूल्यवर्गित था। तथापि, बढ़ते आयातों और अल्पावधि ऋण में अमरीकी डालर से इतर मुद्राओं के बढ़ते महत्व की पृष्ठभूमि में हाल के वर्षों में ऐसे ऋणों की बढ़ती हुई मात्रा को देखते हुए, मार्च 2008 के अंत और जून 2008 के अंत के लिए 180 दिनों से अधिक के अल्पावधि व्यापार ऋण के लिए मूल मुद्रा के ब्यौरों की गणना की गई। यह देखा गया कि लगभग 70 प्रतिशत अल्पावधि व्यापार ऋण अमरीकी डालर में, 14 प्रतिशत येन में, 13 प्रतिशत यूरो में और शेष अन्य मुद्राओं में मूल्यवर्गित होता है।

    बाह्य ऋण की समग्र स्थिति को देखते हुए, जून 2008 के अंत में अमरीकी डालर बाह्य ऋण की कुल मात्रा के 52.3 प्रतिशत हिस्से के साथ प्रमुख मुद्रा बना रहा, उसके बाद जापानी येन (14.2 प्रतिशत), भारतीय रुपए (14.1 प्रतिशत) तथा एसडीआर (10.2 प्रतिशत) का स्थान रहा (सारणी 4 तथा चार्ट 3)।यूरो का हिस्सा मार्च 2007 के अंत के 4.0 प्रतिशत से बढ़कर जून 2008 के अंत में 6.2 प्रतिशत हो गया।

    सारणी 4 : बाह्य ऋण की मुद्रा संरचना

    (कुल बाह्य ऋण में प्रतिशत हिस्सा)

     

    मार्च के अंत में

    जून के अंत में

     

    2005

    2006

    2007

    2008

    2008

    (1)

    (2)

    (3)

    (4)

    (5)

    (6)

    अमरीकी डालर

    48.0

    49.2

    52.0

    51.1

    52.3

    एसडीआर

    14.2

    13.7

    12.0

    10.2

    10.2

    भारतीय रुपया

    19.6

    18.9

    17.7

    14.6

    14.1

    जापानी येन

    10.5

    10.9

    11.6

    14.8

    14.2

    यूरो

    4.6

    4.4

    4.0

    6.1

    6.2

    पाउंड स्टर्लिंग

    2.6

    2.6

    2.4

    2.9

    2.7

    अन्य

    0.5

    0.3

    0.3

    0.3

    0.3

    कुल

    100.0

    100.0

    100.0

    100.0

    100.0

    नोट : 1. मार्च 2008 के अंत में और जून 2008 के अंत में मुद्रा की संरचना में पिछले वर्षों से भिन्न अल्पावधि ऋण की मूल मुद्रा संरचना शामिल है, जहां समग्र अल्पावधि ऋण को अमरीकी डालर में मूल्यवर्गित किया जाना है।
    2. बकाया अल्पावधि ऋण की मुद्रा संरचना का अनुमान 2007-08 के दौरान अल्पावधि ऋण आवकों की मूल मुद्रा संरचना के आधार पर लगाया गया है।

    चार्ट 3 : जून 2008 के अंत में बाह्य ऋण की मुद्रा संरचना

    6. ऋण निर्वहनीयता के संकेतक

    भारत की बाह्य ऋण निर्वहनीयता संबंधी संकेतक सारणी 5 में दर्शाए गए हैं।

    • भारत के बाह्य ऋण स्टाक में गैर-रियायती निजी ऋण की मात्रा में निरंतर वृद्धि को प्रतिबिंबित करते हुए कुल बाह्य ऋण में रियायती ऋण का हिस्सा मार्च 2008 के अंत के 19.9 प्रतिशत से घटकर जून 2008 के अंत में 19.3 प्रतिशत हो गया।
    • तिमाही के दौरान अल्पावधि ऋण में बढ़ोतरी को प्रतिबिंबित करते हुए कुल ऋण की तुलना में अल्पावधि ऋण अनुपात तथा रिज़र्व की तुलना में अल्पावधि ऋण अनुपात मार्च 2008 के अंत के 19.9 प्रतिशत तथा 14.1 प्रतिशत से बढ़कर जून 2008 के अंत में क्रमशः 20.8 प्रतिशत तथा 14.7 प्रतिशत हो गया।
    • भारत का विदेशी मुद्रा भंडार बाह्य ऋण की तुलना में 90.8 बिलियन अमरीकी डालर अधिक रहा जिसने जून 2008 के अंत में बाह्य ऋण की मात्रा का 141.0 प्रतिशत कवर किया।
    • मार्च 2008 के अंत की बाह्य ऋण बकाया की स्थिति अनुसार, सकल घरेलू उत्पाद की तुलना में बाह्य ऋण अनुपात मार्च 2007 के अंत के 17.8 प्रतिशत की तुलना में मार्च 2008 के अंत में 18.7 प्रतिशत रहा।
    • 2007-08 के दौरान के 5.4 प्रतिशत तथा 2003-04 तक दो अंकीय प्रतिशत की तुलना में अप्रैल-जून 2007-08 के दौरान ऋण चुकौती अनुपात 3.9 प्रतिशत रहा।

    सारणी 5 : भारत के प्रमुख बाह्य ऋण संकेतक

    वर्ष

    बाह्य
    ऋण
    (बिलि. #)
    जीडीपी के
    प्रति बाह्य
    ऋण
    अनुपात(%)

     

    ऋण चुकौती अनुपात
    (%)

    कुल ऋण के
    प्रति विदेशी
    मुद्रा रिज़र्व अनुपात(%)

    कुल ऋण के
    प्रति रियायती
    ऋण अनुपात
    (%)

     

    विदेशी मुद्रा
    रिज़र्व के
    प्रति अल्पावधि
    ऋण अनुपात(%)
    कुल ऋण
    के प्रति अल्पावधि
    ऋण अनुपात(%)

     

    (1)

    (2)

    (3)

    (4)

    (5)

    (6)

    (7)

    (8)

    1990-91

    83.8

    28.7

    35.3

    7.0

    45.9

    146.5

    10.2

    1991-92

    85.3

    38.7

    30.2

    10.8

    44.8

    76.7

    8.3

    1992-93

    90.0

    37.5

    27.5

    10.9

    44.5

    64.5

    7.0

    1993-94

    92.7

    33.8

    25.4

    20.8

    44.4

    18.8

    3.9

    1994-95

    99.0

    30.8

    25.9

    25.4

    45.3

    16.9

    4.3

    1995-96

    93.7

    27.0

    26.2

    23.1

    44.7

    23.2

    5.4

    1996-97

    93.5

    24.6

    23.0

    28.3

    42.2

    25.5

    7.2

    1997-98

    93.5

    24.3

    19.5

    31.4

    39.5

    17.2

    5.4

    1998-99

    96.9

    23.6

    18.7

    33.5

    38.5

    13.2

    4.4

    1999-00

    98.3

    22.0

    17.1

    38.7

    38.9

    10.3

    4.0

    2000-01

    101.3

    22.5

    16.6

    41.7

    35.4

    8.6

    3.6

    2001-02

    98.8

    21.1

    13.7

    54.7

    35.9

    5.1

    2.8

    2002-03

    104.9

    20.3

    16.0*

    72.5

    36.8

    6.1

    4.5

    2003-04

    111.6

    17.8

    16.1**

    101.2

    36.1

    3.9

    4.0

    2004-05

    133.0

    18.5

    5.9^

    106.4

    30.9

    12.5

    13.3

    2005-06

    138.1

    17.2

    10.1#

    109.8

    28.6

    12.9

    14.1

    2006-07

    169.7

    17.8

    4.8

    117.4

    23.3

    13.2

    15.5

    2007-08

    220.7

    18.7

    5.4

    140.3

    19.9

    14.1

    19.9

    अप्रैल-जून 2008

    221.3

    -

    3.9

    141.0

    19.3

    14.7

    20.8

    * 3,430 मिलियन अमरीकी डालर के बाह्य ऋण के पूर्व भुगतान को छोड़ने पर 12.4 प्रतिशत बैठता है।
    ** 3,797 मिलियन अमरीकी डालर के बाह्य ऋण के पूर्व भुगतान तथा 5,549 मिलियन अमरीकी डालर की आरआईबी की चुकौती को छोड़ने पर 8.2 प्रतिशत बैठता है।
    ^ 381 मिलियन अमरीकी डालर के बाह्य ऋण के पूर्व भुगतान को छोड़ने पर 5.7 प्रतिशत बैठता है।
    # 7.1 बिलियन अमरीकी डालर के आईएमडी भुगतान तथा 23.5 मिलियन अमरीकी डालर के बाहृय ऋण के पूर्व भुगतान को छोड़ने पर 6.4 प्रतिशत बैठता है।

    राशि के रूप में, अप्रैल-जून 2008 के दौरान ऋण चुकौती की राशि 3.2 बिलियन अमरीकी डालर थी (सारणी 6)। तिमाही के दौरान, मूलधन तथा ब्याज सहित लगभग 62.4 प्रतिशत ऋण चुकौती संबंधी भुगतान बाह्य वाणिज्यिक उधार के लिए था, उसके बाद 25.7 प्रतिशत के साथ बाह्य सहायता का स्थान था।

    सारणी 6: भारत का बाह्य ऋण चुकौती संबंधी भुगतान

    (मिलियन अमरीकी डालर)

    मद

     

    1990-91

    2000-01

    2003-04

    2004-05

    2005-06

    2006-07

    2007-08

    2008-09*

    (1)

    (2)

    (3)

    (4)

    (5)

    (6)

    (7)

    (8)

    (9)

    1. बाह्य सहायता

    2,315

    3,444

    6,983

    2,855

    2,652

    2,904

    3,241

    816

    भुगतान

    1,187

    2,338

    6,193

    2,129

    1,945

    1,922

    2,099

    550

    ब्याज

    1,128

    1,106

    790

    726

    707

    982

    1,142

    266

     

     

     

     

     

     

     

     

     

    2. बाह्य वाणिज्यिक

     

     

     

     

     

     

     

     

    उधार

    3,414

    7,073

    10,164

    4,530

    14,839

    6,819

    11,317

    1,978

    भुगतान

    2,004

    5,378

    8,045

    3,571

    11,824

    4,236

    6,119

    1,030

    ब्याज

    1,410

    1,695

    2,119

    959

    3,015

    2,583

    5,198

    948

     

     

     

     

     

     

     

     

     

    3. आइएमएफ

    778

    26

    0

    0

    0

    0

    0

    0

    भुगतान

    644

    26

    0

    0

    0

    0

    0

    0

    ब्याज

    134

    0

    0

    0

    0

    0

    0

    0

     

     

     

     

     

     

     

     

     

    4. अनि.भारतीय
    जमाराशि- ब्याज

    1,282

    1,661

    1,642

    1,353

    1,497

    1,969

    1,813

    348

     

     

     

     

     

     

     

     

     

    5. रुपया ऋण चुकौती
    भुगतान

    1,193

    617

    376

    417

    572

    162

    121

    30

     

     

     

     

     

     

     

     

     

    6. कुल ऋण चुकौती
    (1 ूद 5)

    8,982

    12,821

    19,165

    9,155

    19,560

    11,854

    16,492

    3,172

    भुगतान

    5,028

    8,359

    14,614

    6,117

    14,341

    6,320

    8,339

    1,610

    ब्याज

    3,954

    4,462

    4,551

    3,038

    5,219

    5,534

    8,153

    1,562

     

     

     

     

     

     

     

     

     

    7. चालू प्राप्तियां #

    25,479

    77,467

    119,239

    154,123

    194,170

    242,519

    302,964

    81,282

     

     

     

     

     

     

     

     

     

    8. ऋण चुकौती
    अनुपात (6/7) (%)

    35.3

    16.6

    16.1

    5.9

    10.1

    4.8

    5.4

    3.9

    # आधिकारिक अंतरण घटाकर चालू प्राप्तियां; *: अप्रैल-जून 2008.
    स्रोतः भारत का बाह्य ऋणः स्थिति संबंधी रिपोर्ट, भारत सरकार, अगस्त 2008; भारतीय रिज़र्व बैंक

    7. विभिन्न देशों के बीच तुलना

    विकासशील देशों के बीस शीर्ष ऋणी देशों के संबंध में विश्व बैंक द्वारा उपलब्ध कराए गए वैश्विक विकास वित्त, 2008 में बाह्य ऋण संबंधी विभिन्न देशों के 2006 के आंकड़ों से निम्नलिखित तुलनात्मक स्थिति स्पष्ट होती है (सारणी 7) :

      • बाह्य ऋण स्टाक के अनुसार 2006 में भारत का स्थान पांचवां था।
      • सकल राष्ट्रीय उत्पाद (जीएनपी) की तुलना में बाह्य ऋण अनुपात के अनुसार भारत का स्थान चीन के बाद दूसरा न्यूनतम था।
      • भारत का ऋण चुकौती अनुपात चीन तथा मलेशिया के बाद तीसरा न्यूनतम था।
      • भारत के बाह्य ऋण पोर्टफोलियों में रियायत का अंश इंडोनेशिया के बाद दूसरा उच्चतम था।
      • सकल ऋण की तुलना में रिज़र्व के अनुपात के अनुसार चीन, मलेशिया, थाइलैंड और रूस के बाद भारत का स्थान पांचवां था।

    सारणी 7 : शीर्ष के 20 ऋणी देशों की अंतरराष्ट्रीय तुलना, 2006

    वर्ष

    बाह्य
    ऋण

    जीएनपी के प्रति बाह्य
    ऋण

    ऋण चुकौती अनुपात

    कुल ऋण
    के प्रति
    विदेशी मुद्रा रिज़र्व

    कुल ऋण के प्रति रियायती ऋण

    कुल ऋण
    के प्रति
    अल्पावधि
    ऋण

    (1)

    (2)

    (3)

    (4)

    (5)

    (6)

    (7)

    1. चीन

    323

    12.2

    2.5

    334.8

    10.9

    53.7

    2. रशियन फेडरेशन

    251

    26.2

    13.8

    121.0

    0.6

    16.1

    3. टर्की

    208

    51.7

    33.2

    30.4

    2.0

    20.4

    4. ब्राजिल

    194

    18.7

    37.3

    44.2

    1.3

    10.5

    5. भारत

    170

    17.8

    4.8

    117.4

    23.3

    15.5

    6. मेक्सिको

    161

    19.5

    18.9

    47.5

    0.9

    4.6

    7. इंडोनेशिया

    131

    37.5

    16.6

    32.5

    27.1

    25.2

    8. पोलैंड

    126

    38.7

    24.7

    38.5

    0.9

    17.0

    9. अर्जेंटीना

    122

    58.6

    31.6

    26.2

    1.1

    28.7

    10. हंगरी

    108

    102.7

    33.1

    20.1

    1.1

    13.9

    11. कज़ाखस्तान

    74

    103.4

    33.7

    25.8

    1.3

    17.0

    12. फिलीपीन्स

    60

    47.1

    19.6

    38.1

    20.7

    8.3

    13. थाइलैंड

    55

    27.3

    9.4

    121.3

    12.3

    32.2

    14. रोमानिया

    55

    46.6

    18.4

    54.8

    2.0

    32.2

    15. मलेशिया

    53

    36.0

    4.0

    157.8

    8.4

    22.5

    16. यूक्रैन

    50

    47.6

    18.1

    44.8

    3.6

    30.8

    17. चिली

    48

    37.9

    20.0

    40.4

    0.6

    19.6

    18. वेनेजुएला आरबी

    45

    24.7

    13.3

    82.3

    0.4

    26.5

    19. कोलंबिया

    40

    26.9

    31.3

    38.9

    2.6

    12.1

    20. क्रोएशिया

    38

    90.2

    33.1

    30.7

    1.6

    14.9

    स्रोत : भारत से संबंधित आंकड़े राष्ट्रीय प्राधिकारियों द्वारा 2006-07 के लिए प्रकाशित आंकड़े हैं। अन्य देशों के आंकड़े दिसम्बर 2006 के अंत के हैं और ये विश्व बैंक के ग्लोबल डेवलपमेंट फाइनेन्स, 2008 में उपलब्ध हैं।

    अल्पना किल्लावाला
    मुख्य महाप्रबंधक

    प्रेस प्रकाशनी : 2008-2009/414

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