श्री. एस.के.पाटील को-ऑपरेटिव बैंक लि., कुरुंदवाड का लाइसेंस रद्द किया - आरबीआई - Reserve Bank of India
श्री. एस.के.पाटील को-ऑपरेटिव बैंक लि., कुरुंदवाड का लाइसेंस रद्द किया
27 अक्तूबर 2008
श्री. एस.के.पाटील को-ऑपरेटिव बैंक लि., कुरुंदवाड का लाइसेंस रद्द किया
श्री. एस.के.पाटील को-ऑपरेटिव बैंक लि., कुरुंदवाड, जिला कोल्हापुर, महाराष्ट्र के अर्थक्षम नहीं रह जाने और महाराष्ट्र सरकार के परामर्श से बैंक को पुनरुज्जीवित करने के सभी प्रयास असफल हो जाने तथा सतत अनिश्चितता के कारण जमाकर्ताओं को होनेवाली असुविधा के परिप्रेक्ष्य में भारतीय रिजर्व बैंक ने 25 अक्तूबर 2008 को बैंक को दिया गया लाइसेंस रद्द करने का आदेश जारी किया। सहकारी समितियों के निबंधक, महाराष्ट्र राज्य से भी बैंक के समापन और उसके लिए समापक नियुक्त करने का आदेश जारी करने का अनुरोध किया गया है। उल्लेख किया जाता है कि बैंक के समापन पर हर जमाकर्ता निपेक्ष बीमा और प्रत्यय गारंटी निगम (डीआइसीजीसी) से 1,00,000 (एक लाख रुपये मात्र) रुपये की मौद्रिक सीमा तक अपनी जमाराशियों को वापस पाने का हकदार होता है।
22 मार्च 1996 को रिज़र्व बैंक ने बैंकिंग कारोबार करने के लिए बैंक को लाईसेंस प्रदान किया। 31 मार्च 2006 की स्थिति के लिए बैंक के सांविधिक निरीक्षण से यह पता चला कि बैंक कि आर्थिक स्थिति नाजुक है। 31 मार्च 2006 की स्थिति के निरीक्षण निष्कर्षों के आधार पर बैंक के विरुद्ध पर्यवेक्षी कार्रवाई शुरू की गयी तथा उन्हें सूचित किया गया कि वित्तीय स्थिति में सुधार लाने के लिए उपाय करें।
31 मार्च 2007 की स्थिति के लिए बैंक के निरीक्षण के निष्कर्षो से यह पता चला कि बैंक की वित्तीय स्थिति और अधिक खराब हुई है। 31 मार्च 2008 की स्थिति के लिए बैंक के निरीक्षण से यह पता चला कि बैंक की वित्तीय स्थिति संदिग्ध हो गयी है। भारतीय रिज़र्व बैंक ने 6 अगस्त 2008 के निर्देश के माध्यम से बैंककारी विनियमन अधिनियम 1949 (सहकारी समितियों पर यथालागू) की धारा 35(क) के अंतर्गत रु 1000/- से अधिक जमाराशि के आहरण पर प्रतिबंध लगाते हुए बैंक के परिचालन पर निर्देश जारी किए। 6 अगस्त 2008 को निदेशक मंडल का अधिक्रमण करने के लिए सहकारी समितियों के निबंधक को पत्र जारी किया गया।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने बैंक को 7 अगस्त 2008 को कारण बताओ नोटिस जारी किया था जिसमें यह कहा गया था कि उन्हें बैंकिंग कारोबार करने के लिए जारी किया गया लाइसेंस क्यों न रद्द किया जाए। कारण बताओ नोटिस के उत्तर की जांच की गयी। बैंक के पास पुनरूर्ज्जीवित की कोई व्यवहार्य कार्य योजना नहीं थी। व्यवहार्य कार्य योजना के अभाव में बैंक को पुनरूर्ज्जीवित किए जाने की कोई आशा नही थी। अत : भारतीय रिजर्व बैंक ने बैंक के जमाकर्ताओं के हित में अंतिम उपाय के रूप में बैंक का लाइसेंस रद्द करने का निर्णय लिया। लाइसेन्स रद्द किये जाने और समापन प्रक्रिया आरंभ करने से श्री. एस.के.पाटील को-आपरेटिव बैंक लि. के जमाकर्ताओं को निपेक्ष बीमा योजना की शर्तों के अधीन जमाराशि के भुगतान की प्रक्रिया प्रारंभ हो जाएगी।
लाइसेन्स रद्द किये जाने के अनुसरण में बैंक पर बैंककारी विनियमन अधिनियम 1949 (सहकारी समितियों पर यथालागू) की धारा 5(ख) के अंतर्गत जमाराशियां स्वीकार करने और उसके भुगतान सहित ‘बैंकिंग कारोबार’ करने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है।
किसी भी स्पष्टीकरण के लिए जमाकर्ता श्री पी.के.अरोड़ा, उप महाप्रबंधक, शहरी बैंक विभाग, मुंबई क्षेत्रीय कार्यालय, भारतीय रिजर्व बैंक, मुंबई से संपर्क कर सकते हैं। उनका संपर्क ब्यौरा डाक पता : शहरी बैंक विभाग, भारतीय रिज़र्व बैंक, मुंबई क्षेत्रीय कार्यालय, दूसरी मंज़िल, गारमेंट हाउस, मुंबई 400018 टेलीफोन : (022) 2493 5348 फैक्स : ( 022 ) 2493 5495; ई-मेल.
अजीत प्रसाद
प्रबंधक
प्रेस प्रकाशनी : 2008-2009/575