वित्तीय शिक्षण के लिए राष्ट्रीय रणनीति - आरबीआई - Reserve Bank of India
वित्तीय शिक्षण के लिए राष्ट्रीय रणनीति
16 जुलाई 2012 वित्तीय शिक्षण के लिए राष्ट्रीय रणनीति भारतीय रिज़र्व बैंक ने आज अपनी वेबसाइट पर वित्तीय शिक्षण के लिए राष्ट्रीय रणनीति का प्रारूप अभिमत और प्रतिसूचना के लिए डाला। अभिमत 15 अगस्त 2012 तक पर ई-मेल किए जा सकते हैं। राष्ट्रीय रणनीति यह पहचान करती है कि वित्तीय साक्षरता और वित्तीय शिक्षण वित्तीय समावेशन और समावेशित वृ्द्धि में महत्वपूर्ण भूमिका अदा करती है तथा जागरूकता के सृजन और वित्तीय सेवाओं तक पहुँच, विभिन्न प्रकार के उत्पादों की उपलब्धता और उनकी विशेषताओं, ज्ञान को उत्तरदायी वित्तीय व्यवहार में रूपांतरित करने के लिए प्रवृत्तियों में बदलाव तथा वित्तीय सेवाओं के उपभोक्ताओं को अपने अधिकारों और दायित्वों को समझने के लिए उपभोक्ताओं को प्रशिक्षित करने के प्रति तरीकों की परिकल्पना करती है। राष्ट्रीय रणनीति वित्तीय रूप से जागरूक और सशक्त भारत के निर्माण की मॉंग करती है। इसका लक्ष्य उपभोक्ता सुरक्षा और शिकायत निवारण के लिए निष्पक्ष और पारदर्शी व्यवस्था के साथ विनियमित संस्थाओं के माध्यम से समुचित वित्तीय उत्पादों और सेवाओं तक पहुँच के द्वारा वित्तीय सम्पन्नता प्राप्त करने हेतु रुपए का और प्रभावी ढंग से प्रबंध करने के लिए लोगों की सहायता हेतु एक व्यापक वित्तीय शिक्षण अभियान शुरु करना है। राष्ट्रीय रणनीति का प्रारूप वित्तीय स्थिरता और विकास परिषद (एफएसडीसी) की उप समिति के तत्वावधान में तैयार किया गया है तथा इसे सभी वित्तीय क्षेत्र विनियामकों द्वारा एक साथ जारी किया जा रहा है। अजीत प्रसाद प्रेस प्रकाशनी : 2012-2013/77 |