विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम से पूर्व के समय के दौरान भारत में स्थापित विदेशी संस्थाओं के संपर्क कार्यालयों/शाखा कार्यालयों का नियमन - आरबीआई - Reserve Bank of India
विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम से पूर्व के समय के दौरान भारत में स्थापित विदेशी संस्थाओं के संपर्क कार्यालयों/शाखा कार्यालयों का नियमन
15 जुलाई 2011 विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम से पूर्व के समय के दौरान भारत में भारतीय रिज़र्व बैंक ने आज अपनी वेबसाइट www.rbi.org.in पर उपर्युक्त विषय पर एक ए.पी. (डीआइआर श्रृंखला) परिपत्र जारी किया। यह पाया गया कि 1 जून 2000 से विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम (फेमा), 1999 से लागू होने के बाद भी विदेशी गैर-सरकारी संस्थाएं (एनजीओ), गैर-लाभ संस्थाएं (एनपीओ), समाचार एजेंसियॉं और अन्य विदेशी संस्थाएं रिज़र्व बैंक से अनुमोदन प्राप्त किए बिना भारत में कार्य करना जारी रखा है। फेमा अधिनियम 1999 के प्रावधानों के अंतर्गत संपर्क कार्यालय/शाखा कार्यालय केवल भारतीय रिज़र्व बैंक की पूर्व अनुमति से ही स्थापित की जा सकती है। भारतीय रिज़र्व बैंक ऐसी संस्थाओं द्वारा भारत में कार्यालय खोलने के अनुरोधों पर जहॉं कहीं आवश्यक हो, भारत सरकार के साथ परामर्श करके विचार करती है। तदनुसार, विदेशी संस्थाओं जिन्होंने रिज़र्व बैंक की अनुमति के बिना भारत में संपर्क कार्यालयों (एलओ) अथवा शाखा कार्यालयों (बीओ) की स्थापना की है उन्हें वर्तमान फेमा प्रावधानों के अंतर्गत भारत में ऐसे कार्यालयों के नियमन के लिए 15 जुलाई 2011 के एपी(डीआइआर श्रृंखला) परिपत्र सं.02 की तारीख से 90 दिनों की अवधि के भीतर रिज़र्व बैंक को संपर्क करने के लिए कहा गया है। साथ ही, विदेशी संस्थाएं जिन्होंने भारत सरकार की अनुमति से संपर्क कार्यालय अथवा शाखा कार्यालय की स्थापना की है वे भी रिज़र्व बैंक द्वारा विशिष्ट पहचान संख्या (यूआइएन) आबंटित करने के लिए अनुमोदन की प्रति के साथ रिज़र्व बैंक को संपर्क कर सकते है। विदेशी संस्थाओं को यह भी सूचित किया जाता है कि वे हमारी वेबसाइट www.rbi.org.in ® अधिसूचना ®फेमा पर उपलब्ध समय-समय पर संशोधित 30 दिसंबर 2009 के ए.पी.(डीआइआर श्रृंखला) परिपत्र सं.23 और 24 द्वारा जारी विदेशी संस्थाओं द्वारा संपर्क कार्यालय अथवा शाखा कार्यालय स्थापित करने के लिए अद्यतन दिशानिर्देश और क्रियाविधि भी देखें। अजीत प्रसाद प्रेस प्रकाशनी : 2011-2012/86 |