भारतीय रिज़र्व बैंक और बैंक इंडोनेशिया का भुगतान प्रणाली, डिजिटल वित्तीय नवोन्मेष और धन शोधन निवारण तथा आतंकवाद वित्तपोषण का मुक़ाबला करने (एएमएल-सीएफटी) में एक-दूसरे से सहयोग बढ़ाने के लिए सहमत होना - आरबीआई - Reserve Bank of India
भारतीय रिज़र्व बैंक और बैंक इंडोनेशिया का भुगतान प्रणाली, डिजिटल वित्तीय नवोन्मेष और धन शोधन निवारण तथा आतंकवाद वित्तपोषण का मुक़ाबला करने (एएमएल-सीएफटी) में एक-दूसरे से सहयोग बढ़ाने के लिए सहमत होना
16 जुलाई 2022 भारतीय रिज़र्व बैंक और बैंक इंडोनेशिया का भुगतान प्रणाली, डिजिटल वित्तीय नवोन्मेष और धन शोधन भारतीय रिज़र्व बैंक (आरबीआई) और बैंक इंडोनेशिया (बीआई) ने दोनों केंद्रीय बैंकों के बीच आपसी सहयोग को बेहतर बनाने के लिए 16 जुलाई 2022 को बाली, इंडोनेशिया में जी20 वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंक के गवर्नरों की बैठक के दौरान एक सहमति ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए। इस एमओयू पर आरबीआई के उप गवर्नर माइकल देवब्रत पात्र और बीआई के उप गवर्नर डोडी बुडी वालुयो ने आरबीआई के गवर्नर शक्तिकांत दास और बीआई के गवर्नर पेरी वारजियो की उपस्थिति में हस्ताक्षर किए। इस एमओयू के साथ, आरबीआई और बीआई, दोनों केंद्रीय बैंकों के बीच संबंधों को गहन बनाने और भुगतान प्रणाली, भुगतान सेवाओं में डिजिटल नवोन्मेष और धन शोधन निवारण तथा आतंकवाद वित्तपोषण का मुकाबला करने (एएमएल-सीएफटी) के लिए विनियामक और पर्यवेक्षी फ्रेमवर्क सहित केंद्रीय बैंकिंग के क्षेत्र में सूचना और सहयोग के आदान-प्रदान को दृढ़ बनाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। एमओयू को नीतिगत संवाद, तकनीकी सहयोग, सूचनाओं के आदान-प्रदान और संयुक्त कार्य के जरिए कार्यान्वित किया जाएगा। यह एमओयू आपसी सहमति को बढ़ावा देने, कुशल भुगतान प्रणाली विकसित करने और सीमा पार भुगतान संबद्धता को प्राप्त करने के लिए एक मज़बूत आधार प्रदान करेगा। इस तरह की पहल को (i) हाल के आर्थिक और वित्तीय गतिविधियों तथा मुद्दों पर नियमित बातचीत; (ii) प्रशिक्षण और संयुक्त संगोष्ठियों के माध्यम से तकनीकी सहयोग; और (iii) सीमा पार खुदरा भुगतान लिंकेज की स्थापना का पता लगाने के लिए, संयुक्त कार्य के माध्यम से कार्यान्वित किया जाएगा गवर्नर पेरी वारजियो ने इस बात जोर दिया कि “यह एमओयू बैंक इंडोनेशिया और भारतीय रिज़र्व बैंक के बीच संबंधों में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा। काफी लंबे समय से हम एक-दूसरे को लाभकारी ढंग से सहयोग करते रहे हैं और यह एमओयू भविष्य में और अधिक सुदृढ़ सहयोग सुनिश्चित करेगा। आगे चलकर, मुझे विश्वास है कि इस तरह की उत्कृष्ट साझेदारी से सार्थक परिणाम प्राप्त होंगे, जिससे दोनों केंद्रीय बैंकों और दोनों देशों के लोगों को लाभ होगा।” गवर्नर शक्तिकांत दास ने इंडोनेशियाई आतिथ्य के प्रति अपना आभार व्यक्त किया और जी20 एफ़एमसीबीजी बैठक के लिए उत्कृष्ट लॉजिसटिकल और संगठनात्मक व्यवस्था की सराहना की। उन्होंने कहा कि "हमारे साझा लक्ष्यों और चुनौतियों को देखते हुए, यह स्वाभाविक है कि हम कई क्षेत्रों में साथ मिलकर कार्य करें। यह एमओयू हमारे संयुक्त प्रयासों को एक औपचारिक प्रक्रिया के भीतर लाने की दिशा में एक कदम है।” उन्होंने यह भी आशा व्यक्त की कि "आगे चलकर, यह एमओयू हमारे संबंधों को और गहन बनाने में सहयोग करेगा और हमारी वित्तीय प्रणालियों को सुलभ, समावेशी और सुरक्षित बनाने के हमारे प्रयास को सुविधाजनक बनाएगा।" (योगेश दयाल) प्रेस प्रकाशनी: 2022-2023/545 |