RbiSearchHeader

Press escape key to go back

पिछली खोज

थीम
थीम
टेक्स्ट का साइज़
टेक्स्ट का साइज़
S2

RbiAnnouncementWeb

RBI Announcements
RBI Announcements

Press Releases Banner

RBINotificationSearchFilter

सर्च रिफाइन करें

खोज परिणाम

प्रेस प्रकाशनियां

  • Row View
  • Grid View
जनवरी 15, 2024
सरकारी प्रतिभूतियों की स्विच/रूपांतरण नीलामी के परिणाम

क. स्रोत प्रतिभूति 8.40% जीएस 2024 8.40% जीएस 2024 जीओआई एफ़आरबी, 2024 जीओआई एफ़आरबी, 2024 जीओआई एफ़आरबी, 2024 जीओआई एफ़आरबी, 2024 ख. अधिसूचित राशि (राशि ₹ करोड़;;में) 1,000 1,000 3,000 1,000 2,000 ;1,000 नियत प्रतिभूति 8.97% जीएस 2030 6.76% जीएस 2061 8.32% जीएस 2032

क. स्रोत प्रतिभूति 8.40% जीएस 2024 8.40% जीएस 2024 जीओआई एफ़आरबी, 2024 जीओआई एफ़आरबी, 2024 जीओआई एफ़आरबी, 2024 जीओआई एफ़आरबी, 2024 ख. अधिसूचित राशि (राशि ₹ करोड़;;में) 1,000 1,000 3,000 1,000 2,000 ;1,000 नियत प्रतिभूति 8.97% जीएस 2030 6.76% जीएस 2061 8.32% जीएस 2032

जनवरी 15, 2024
फिनटेक क्षेत्र के लिए स्व-विनियामक संगठनों को मान्यता देने संबंधी रूपरेखा का मसौदा

फिनटेक, प्रक्रियाओं को सुव्यवस्थित करके, पहुंच में सुधार करके और लागत कम करके वित्तीय सेवाओं के परिदृश्य को महत्वपूर्ण रूप से नया आकार दे रहे हैं। एक ओर उद्योग द्वारा नवाचार को सुविधाजनक बनाना और दूसरी ओर विनियामक प्राथमिकताओं को इस तरीके से पूरा करना, जो उपभोक्ताओं को सुरक्षित रखता हो और जोखिम को नियंत्रित करता हो, के बीच एक स्वस्थ संतुलन प्राप्त करना, फिनटेक क्षेत्र के योगदान को अनुकूलित करने के लिए महत्वपूर्ण है। वांछित संतुलन प्राप्त करने के लिए फिनटेक क्षेत्र के भीतर स्व-विनियमन एक अधिमान्य दृष्टिकोण है। तदनुसार, रिज़र्व बैंक ने आज अपनी वेबसाइट पर 'फिनटेक क्षेत्र के लिए स्व-विनियामक संगठनों (एसआरओ) को मान्यता देने संबंधी रूपरेखा का मसौदा' रखा है। रूपरेखा का मसौदा फिनटेक एसआरओ की विशेषताओं को निर्धारित करता है, और इसमें अन्य बातों के साथ-साथ कार्य, सुशासन मानक आदि शामिल हैं।

फिनटेक, प्रक्रियाओं को सुव्यवस्थित करके, पहुंच में सुधार करके और लागत कम करके वित्तीय सेवाओं के परिदृश्य को महत्वपूर्ण रूप से नया आकार दे रहे हैं। एक ओर उद्योग द्वारा नवाचार को सुविधाजनक बनाना और दूसरी ओर विनियामक प्राथमिकताओं को इस तरीके से पूरा करना, जो उपभोक्ताओं को सुरक्षित रखता हो और जोखिम को नियंत्रित करता हो, के बीच एक स्वस्थ संतुलन प्राप्त करना, फिनटेक क्षेत्र के योगदान को अनुकूलित करने के लिए महत्वपूर्ण है। वांछित संतुलन प्राप्त करने के लिए फिनटेक क्षेत्र के भीतर स्व-विनियमन एक अधिमान्य दृष्टिकोण है। तदनुसार, रिज़र्व बैंक ने आज अपनी वेबसाइट पर 'फिनटेक क्षेत्र के लिए स्व-विनियामक संगठनों (एसआरओ) को मान्यता देने संबंधी रूपरेखा का मसौदा' रखा है। रूपरेखा का मसौदा फिनटेक एसआरओ की विशेषताओं को निर्धारित करता है, और इसमें अन्य बातों के साथ-साथ कार्य, सुशासन मानक आदि शामिल हैं।

जनवरी 15, 2024
दिनांक 14 जनवरी 2024 को मुद्रा बाजार परिचालन

(राशि करोड़ रुपये में और दर प्रतिशत में)  मुद्रा बाज़ार@     मात्रा   (एक चरण)  भारित औसत दर  सीमा   क.  ओवरनाइट खंड (I+II+III+IV)  0.00  -  -  I. मांग मुद्रा   0.00  -  -  II. ट्राइपार्टी रेपो  0.00  -  -  III. बाज़ार रेपो  0.00  -  -  IV. कॉरपोरेट बॉण्‍ड में रेपो  0.00  -  -

(राशि करोड़ रुपये में और दर प्रतिशत में)  मुद्रा बाज़ार@     मात्रा   (एक चरण)  भारित औसत दर  सीमा   क.  ओवरनाइट खंड (I+II+III+IV)  0.00  -  -  I. मांग मुद्रा   0.00  -  -  II. ट्राइपार्टी रेपो  0.00  -  -  III. बाज़ार रेपो  0.00  -  -  IV. कॉरपोरेट बॉण्‍ड में रेपो  0.00  -  -

जनवरी 15, 2024
दिनांक 13 जनवरी 2024 को मुद्रा बाजार परिचालन

15 जनवरी 2024 दिनांक 13 जनवरी 2024 को मुद्रा बाजार परिचालन (राशि करोड़ ₹ में और दर प्रतिशत में) मुद्रा बाज़ार@ मात्रा (एक चरण) भारित औसत दर सीमा क. ओवरनाइट खंड (I+II+III+IV) 0.00 - - I. मांग मुद्रा 0.00 - - II. ट्राइपार्टी रेपो 0.00 - - III. बाज़ार रेपो 0.00 - - IV. कॉरपोरेट बॉण्‍ड में रेपो 0.00 -

15 जनवरी 2024 दिनांक 13 जनवरी 2024 को मुद्रा बाजार परिचालन (राशि करोड़ ₹ में और दर प्रतिशत में) मुद्रा बाज़ार@ मात्रा (एक चरण) भारित औसत दर सीमा क. ओवरनाइट खंड (I+II+III+IV) 0.00 - - I. मांग मुद्रा 0.00 - - II. ट्राइपार्टी रेपो 0.00 - - III. बाज़ार रेपो 0.00 - - IV. कॉरपोरेट बॉण्‍ड में रेपो 0.00 -

जनवरी 15, 2024
दिनांक 12 जनवरी 2024 को मुद्रा बाजार परिचालन

(राशि करोड़ ₹ में और दर प्रतिशत में) मुद्रा बाज़ार@  मात्रा (एक चरण) भारित औसत दर सीमा क. ओवरनाइट खंड (I+II+III+IV) 5,17,222.87 6.73 0.01-7.25 I. मांग मुद्रा 11,190.51 6.78 5.00-6.85 II. ट्राइपार्टी रेपो 3,69,718.70 6.72 6.25-6.77 III. बाज़ार रेपो 1,36,283.66 6.75 0.01-6.87 IV. कॉरपोरेट बॉण्‍ड में रेपो 30.00 7.25 7.25-7.25 ख. मीयादी खंड    I. सूचना मुद्रा** 2,069.73 6.74 5.80-6.85

(राशि करोड़ ₹ में और दर प्रतिशत में) मुद्रा बाज़ार@  मात्रा (एक चरण) भारित औसत दर सीमा क. ओवरनाइट खंड (I+II+III+IV) 5,17,222.87 6.73 0.01-7.25 I. मांग मुद्रा 11,190.51 6.78 5.00-6.85 II. ट्राइपार्टी रेपो 3,69,718.70 6.72 6.25-6.77 III. बाज़ार रेपो 1,36,283.66 6.75 0.01-6.87 IV. कॉरपोरेट बॉण्‍ड में रेपो 30.00 7.25 7.25-7.25 ख. मीयादी खंड    I. सूचना मुद्रा** 2,069.73 6.74 5.80-6.85

जनवरी 12, 2024
डॉ. माइकल देबब्रत पात्र को भारतीय रिज़र्व बैंक के उप गवर्नर के रूप में पुनः नियुक्त किया गया

 केंद्र सरकार ने डॉ. माइकल देबब्रत पात्र को 15 जनवरी 2024 से एक वर्ष की अवधि के लिए या अगले आदेश तक, जो भी पहले हो, भारतीय रिज़र्व बैंक के उप गवर्नर के रूप में पुनः नियुक्त किया है। (योगेश दयाल)  मुख्य महाप्रबंधक प्रेस प्रकाशनी: 2023-2024/1673

 केंद्र सरकार ने डॉ. माइकल देबब्रत पात्र को 15 जनवरी 2024 से एक वर्ष की अवधि के लिए या अगले आदेश तक, जो भी पहले हो, भारतीय रिज़र्व बैंक के उप गवर्नर के रूप में पुनः नियुक्त किया है। (योगेश दयाल)  मुख्य महाप्रबंधक प्रेस प्रकाशनी: 2023-2024/1673

जनवरी 12, 2024
भारतीय रिज़र्व बैंक ने श्री महालक्ष्मी मर्केंटाइल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, दाभोई, गुजरात के लाइसेंस को रद्द किया

आज, भारतीय रिज़र्व बैंक (आरबीआई) ने 12 जनवरी 2024 के आदेश द्वारा “श्री महालक्ष्मी मर्केंटाइल को- ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, दाभोई” का लाइसेंस रद्द कर दिया है। परिणामस्वरूप, बैंक 12 जनवरी 2024 को कारोबार की समाप्ति के पश्‍चात बैंकिंग कारोबार नहीं कर सकता है। सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार, गुजरात से भी अनुरोध किया गया है कि वे बैंक का समापन करने और बैंक के लिए एक परिसमापक नियुक्त करने हेतु आदेश जारी करें। रिज़र्व बैंक ने निम्न कारणों से बैंक का लाइसेंस रद्द किया: बैंक के पास पर्याप्त पूंजी और आय की संभावनाएं नहीं हैं। इस प्रकार, यह बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 11(1) और धारा 22 (3)(डी) के प्रावधानों का पालन नहीं करता है; बैंक, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 22(3)(ए), 22 (3)(बी), 22 (3)(सी), 22 (3)(डी) और 22 (3)(ई) की आवश्यकताओं का पालन करने में विफल रहा है;

आज, भारतीय रिज़र्व बैंक (आरबीआई) ने 12 जनवरी 2024 के आदेश द्वारा “श्री महालक्ष्मी मर्केंटाइल को- ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, दाभोई” का लाइसेंस रद्द कर दिया है। परिणामस्वरूप, बैंक 12 जनवरी 2024 को कारोबार की समाप्ति के पश्‍चात बैंकिंग कारोबार नहीं कर सकता है। सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार, गुजरात से भी अनुरोध किया गया है कि वे बैंक का समापन करने और बैंक के लिए एक परिसमापक नियुक्त करने हेतु आदेश जारी करें। रिज़र्व बैंक ने निम्न कारणों से बैंक का लाइसेंस रद्द किया: बैंक के पास पर्याप्त पूंजी और आय की संभावनाएं नहीं हैं। इस प्रकार, यह बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 11(1) और धारा 22 (3)(डी) के प्रावधानों का पालन नहीं करता है; बैंक, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 22(3)(ए), 22 (3)(बी), 22 (3)(सी), 22 (3)(डी) और 22 (3)(ई) की आवश्यकताओं का पालन करने में विफल रहा है;

जनवरी 12, 2024
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दि हिरीयूर अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, हिरीयूर, कर्नाटक के लाइसेंस को रद्द किया

आज, भारतीय रिज़र्व बैंक (आरबीआई) ने 12 जनवरी 2024 के आदेश द्वारा “दि हिरीयूर अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, हिरीयूर” का लाइसेंस रद्द कर दिया है। परिणामस्वरूप, बैंक 12 जनवरी 2024 को कारोबार की समाप्ति के पश्‍चात बैंकिंग कारोबार नहीं कर सकता है। सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार, कर्नाटक से भी अनुरोध किया गया है कि वे बैंक का समापन करने और बैंक के लिए एक परिसमापक नियुक्त करने हेतु आदेश जारी करें। रिज़र्व बैंक ने निम्न कारणों से बैंक का लाइसेंस रद्द किया: बैंक के पास पर्याप्त पूंजी और आय की संभावनाएं नहीं हैं। इस प्रकार, यह बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 11(1) और धारा 22 (3)(डी) के प्रावधानों का पालन नहीं करता है; बैंक, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 22(3)(ए), 22 (3)(बी), 22 (3)(सी), 22 (3)(डी) और 22 (3)(ई) की आवश्यकताओं का पालन करने में विफल रहा है;

आज, भारतीय रिज़र्व बैंक (आरबीआई) ने 12 जनवरी 2024 के आदेश द्वारा “दि हिरीयूर अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, हिरीयूर” का लाइसेंस रद्द कर दिया है। परिणामस्वरूप, बैंक 12 जनवरी 2024 को कारोबार की समाप्ति के पश्‍चात बैंकिंग कारोबार नहीं कर सकता है। सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार, कर्नाटक से भी अनुरोध किया गया है कि वे बैंक का समापन करने और बैंक के लिए एक परिसमापक नियुक्त करने हेतु आदेश जारी करें। रिज़र्व बैंक ने निम्न कारणों से बैंक का लाइसेंस रद्द किया: बैंक के पास पर्याप्त पूंजी और आय की संभावनाएं नहीं हैं। इस प्रकार, यह बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 11(1) और धारा 22 (3)(डी) के प्रावधानों का पालन नहीं करता है; बैंक, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 22(3)(ए), 22 (3)(बी), 22 (3)(सी), 22 (3)(डी) और 22 (3)(ई) की आवश्यकताओं का पालन करने में विफल रहा है;

जनवरी 12, 2024
भारतीय रिज़र्व बैंक ने पंजाब एण्ड सिंध बैंक पर मौद्रिक दंड लगाया

भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 3 जनवरी 2024 के आदेश द्वारा पंजाब एण्ड सिंध बैंक (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी 'ऋण और अग्रिम – सांविधिक और अन्य प्रतिबंध' संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹1 करोड़ (एक करोड़ रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46(4)(i) और 51(1) के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।   

भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 3 जनवरी 2024 के आदेश द्वारा पंजाब एण्ड सिंध बैंक (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी 'ऋण और अग्रिम – सांविधिक और अन्य प्रतिबंध' संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹1 करोड़ (एक करोड़ रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46(4)(i) और 51(1) के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।   

जनवरी 12, 2024
भारतीय रिज़र्व बैंक ने धनलक्ष्मी बैंक लिमिटेड पर मौद्रिक दंड लगाया

भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 8 जनवरी 2024 के आदेश द्वारा धनलक्ष्मी बैंक लिमिटेड द्वारा भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी 'ऋण और अग्रिम – सांविधिक और अन्य प्रतिबंध', 'भारतीय रिजर्व बैंक (अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी)) निदेश, 2016' और 'भारतीय रिजर्व बैंक (जमाराशि पर ब्याज दर) निदेश, 2016' संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹120.47 लाख (एक करोड़ बीस लाख सैंतालीस हजार रूपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949  की धारा 46(4)(i) के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।    

भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 8 जनवरी 2024 के आदेश द्वारा धनलक्ष्मी बैंक लिमिटेड द्वारा भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी 'ऋण और अग्रिम – सांविधिक और अन्य प्रतिबंध', 'भारतीय रिजर्व बैंक (अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी)) निदेश, 2016' और 'भारतीय रिजर्व बैंक (जमाराशि पर ब्याज दर) निदेश, 2016' संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹120.47 लाख (एक करोड़ बीस लाख सैंतालीस हजार रूपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949  की धारा 46(4)(i) के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।    

श्रेणी पहलू

केटेगरी

आरबीआई-इंस्टॉल-आरबीआई-सामग्री-वैश्विक

आरबीआई मोबाइल एप्लीकेशन इंस्टॉल करें और लेटेस्ट न्यूज़ का तुरंत एक्सेस पाएं!

Scan Your QR code to Install our app

Custom Date Facet

RBIPageLastUpdatedOn

पृष्ठ अंतिम बार अपडेट किया गया: जुलाई 18, 2024