प्रेस प्रकाशनियां - आरबीआई - Reserve Bank of India
प्रेस प्रकाशनियां
भारतीय रिज़र्व बैंक ने बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (सहकारी समितियों पर यथा लागू) की धारा 56 के साथ पठित धारा 36एएए के अंतर्गत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए, अभ्युदय सहकारी बैंक लिमिटेड, मुंबई के भीतर पाए गए खराब अभिशासनिक मानकों से उत्पन्न महत्वपूर्ण चिंताओं के कारण बैंक के निदेशक मंडल को 24 नवंबर 2023 को 12 महीने की अवधि के लिए अधिक्रमित कर दिया था।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (सहकारी समितियों पर यथा लागू) की धारा 56 के साथ पठित धारा 36एएए के अंतर्गत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए, अभ्युदय सहकारी बैंक लिमिटेड, मुंबई के भीतर पाए गए खराब अभिशासनिक मानकों से उत्पन्न महत्वपूर्ण चिंताओं के कारण बैंक के निदेशक मंडल को 24 नवंबर 2023 को 12 महीने की अवधि के लिए अधिक्रमित कर दिया था।
भारत सरकार ने निम्नलिखित विवरण के अनुसार ₹32,000 करोड़ की अधिसूचित राशि के लिए दो दिनांकित प्रतिभूतियों की बिक्री (निर्गम/ पुनर्निर्गम) की घोषणा की है। क्र. सं. प्रतिभूति चुकौती की तारीख अधिसूचित राशि (₹ करोड़) भारत सरकार की विशिष्ट अधिसूचना नीलामी की तारीख भुगतान की तारीख 1 6.79% जीएस 2034 07 अक्तूबर 2034 22,000 एफ़ सं. 4(3)-बी (डब्ल्यू एंड एम)/ 2024 दिनांकित 18 नवंबर 2024 22 नवंबर 2024 (शुक्रवार) 25 नवंबर 2024 (सोमवार) 2 नई जीएस 2074 25 नवंबर 2074 10,000 कुल 32,000
भारत सरकार ने निम्नलिखित विवरण के अनुसार ₹32,000 करोड़ की अधिसूचित राशि के लिए दो दिनांकित प्रतिभूतियों की बिक्री (निर्गम/ पुनर्निर्गम) की घोषणा की है। क्र. सं. प्रतिभूति चुकौती की तारीख अधिसूचित राशि (₹ करोड़) भारत सरकार की विशिष्ट अधिसूचना नीलामी की तारीख भुगतान की तारीख 1 6.79% जीएस 2034 07 अक्तूबर 2034 22,000 एफ़ सं. 4(3)-बी (डब्ल्यू एंड एम)/ 2024 दिनांकित 18 नवंबर 2024 22 नवंबर 2024 (शुक्रवार) 25 नवंबर 2024 (सोमवार) 2 नई जीएस 2074 25 नवंबर 2074 10,000 कुल 32,000
सॉवरेन स्वर्ण बॉण्ड (एसजीबी) योजना पर भारत सरकार की दिनांक 6 अक्तूबर 2017 की अधिसूचना एफ.सं. 4(25)–डब्ल्यूएंडएम/2017 (एसजीबी 2017-18 शृंखला VIII - जारी करने की तारीख 20 नवंबर 2017) के अनुसार, स्वर्ण बॉण्ड के जारी होने की तारीख, जिस तारीख से ब्याज देय है, से पांच वर्ष के बाद उस स्वर्ण बॉण्ड के समय-पूर्व मोचन की अनुमति दी जा सकती है। तद्नुसार, उपरोक्त शृंखला के समय-पूर्व मोचन की अगली देय तिथि 19 नवंबर 2024 (20 नवंबर 2024 को छुट्टी होने के कारण) होगी।
सॉवरेन स्वर्ण बॉण्ड (एसजीबी) योजना पर भारत सरकार की दिनांक 6 अक्तूबर 2017 की अधिसूचना एफ.सं. 4(25)–डब्ल्यूएंडएम/2017 (एसजीबी 2017-18 शृंखला VIII - जारी करने की तारीख 20 नवंबर 2017) के अनुसार, स्वर्ण बॉण्ड के जारी होने की तारीख, जिस तारीख से ब्याज देय है, से पांच वर्ष के बाद उस स्वर्ण बॉण्ड के समय-पूर्व मोचन की अनुमति दी जा सकती है। तद्नुसार, उपरोक्त शृंखला के समय-पूर्व मोचन की अगली देय तिथि 19 नवंबर 2024 (20 नवंबर 2024 को छुट्टी होने के कारण) होगी।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 12 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि माणसा नागरिक सहकारी बैंक लिमिटेड, जिला गांधीनगर, गुजरात (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘जमाराशियों पर ब्याज दर’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹50,000 (पचास हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 12 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि माणसा नागरिक सहकारी बैंक लिमिटेड, जिला गांधीनगर, गुजरात (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘जमाराशियों पर ब्याज दर’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹50,000 (पचास हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 13 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि नेशनल सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, बेतिया, बिहार (बैंक) पर बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (बीआर अधिनियम) की धारा 56 के साथ पठित धारा 26ए के प्रावधानों के उल्लंघन तथा भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘सहकारी बैंकों द्वारा साख सूचना कंपनियों (सीआईसी) की सदस्यता’ और ‘मास्टर निदेश- अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) निदेश, 2016’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹4.10 लाख (चार लाख दस हजार रूपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बीआर अधिनियम की धारा 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) तथा प्रत्यय विषयक जानकारी कंपनी (विनियमन) अधिनियम, 2005 की धारा 25 के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 13 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि नेशनल सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, बेतिया, बिहार (बैंक) पर बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (बीआर अधिनियम) की धारा 56 के साथ पठित धारा 26ए के प्रावधानों के उल्लंघन तथा भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘सहकारी बैंकों द्वारा साख सूचना कंपनियों (सीआईसी) की सदस्यता’ और ‘मास्टर निदेश- अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) निदेश, 2016’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹4.10 लाख (चार लाख दस हजार रूपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बीआर अधिनियम की धारा 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) तथा प्रत्यय विषयक जानकारी कंपनी (विनियमन) अधिनियम, 2005 की धारा 25 के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 12 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि वेपार उध्योग विकास सहकारी बैंक लिमिटेड, जिला दाहोद, गुजरात (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘आरक्षित नकदी निधि अनुपात (सीआरआर) के अनुरक्षण’ और ‘अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) मानदंड’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹1.50 लाख (एक लाख पचास हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 12 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि वेपार उध्योग विकास सहकारी बैंक लिमिटेड, जिला दाहोद, गुजरात (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘आरक्षित नकदी निधि अनुपात (सीआरआर) के अनुरक्षण’ और ‘अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) मानदंड’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹1.50 लाख (एक लाख पचास हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 13 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि नेशनल सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, बेतिया, बिहार (बैंक) पर बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (बीआर अधिनियम) की धारा 56 के साथ पठित धारा 26ए के प्रावधानों के उल्लंघन तथा भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘सहकारी बैंकों द्वारा साख सूचना कंपनियों (सीआईसी) की सदस्यता’ और ‘मास्टर निदेश- अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) निदेश, 2016’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹4.10 लाख (चार लाख दस हजार रूपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बीआर अधिनियम की धारा 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) तथा प्रत्यय विषयक जानकारी कंपनी (विनियमन) अधिनियम, 2005 की धारा 25 के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 13 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि नेशनल सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, बेतिया, बिहार (बैंक) पर बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (बीआर अधिनियम) की धारा 56 के साथ पठित धारा 26ए के प्रावधानों के उल्लंघन तथा भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘सहकारी बैंकों द्वारा साख सूचना कंपनियों (सीआईसी) की सदस्यता’ और ‘मास्टर निदेश- अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) निदेश, 2016’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹4.10 लाख (चार लाख दस हजार रूपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बीआर अधिनियम की धारा 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) तथा प्रत्यय विषयक जानकारी कंपनी (विनियमन) अधिनियम, 2005 की धारा 25 के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 13 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि नवादा सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, बिहार (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘सहकारी बैंकों द्वारा साख सूचना कंपनियों (सीआईसी) की सदस्यता’ और ‘अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी)’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹1.25 लाख (एक लाख पच्चीस हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) तथा प्रत्यय विषयक जानकारी कंपनी (विनियमन) अधिनियम, 2005 की धारा 25 के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 13 नवंबर 2024 के आदेश द्वारा दि नवादा सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, बिहार (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘सहकारी बैंकों द्वारा साख सूचना कंपनियों (सीआईसी) की सदस्यता’ और ‘अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी)’ संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹1.25 लाख (एक लाख पच्चीस हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) तथा प्रत्यय विषयक जानकारी कंपनी (विनियमन) अधिनियम, 2005 की धारा 25 के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
वर्तमान और उभरती चलनिधि स्थितियों की समीक्षा के बाद, 19 नवंबर 2024, मंगलवार को निम्नानुसार परिवर्ती दर प्रतिवर्ती रेपो (वीआरआरआर) नीलामी आयोजित करने का निर्णय लिया गया है: क्रम संख्या अधिसूचित राशि (₹ करोड़ में) अवधि (दिन) समयावधि प्रत्यावर्तन की तारीख 1 50,000 3 पूर्वाह्न 10:00 से अपराह्न 10;30 22 नवंबर 2024 (शुक्रवार)
वर्तमान और उभरती चलनिधि स्थितियों की समीक्षा के बाद, 19 नवंबर 2024, मंगलवार को निम्नानुसार परिवर्ती दर प्रतिवर्ती रेपो (वीआरआरआर) नीलामी आयोजित करने का निर्णय लिया गया है: क्रम संख्या अधिसूचित राशि (₹ करोड़ में) अवधि (दिन) समयावधि प्रत्यावर्तन की तारीख 1 50,000 3 पूर्वाह्न 10:00 से अपराह्न 10;30 22 नवंबर 2024 (शुक्रवार)
रिज़र्व बैंक ने आज मुंबई में निजी क्षेत्र के बैंकों के निदेशक मंडल का एक सम्मेलन आयोजित किया, जिसका विषय था ‘सुदृढ़ बोर्ड के माध्यम से परिवर्तनकारी अभिशासन’। यह रिज़र्व बैंक द्वारा निजी क्षेत्र के बैंकों के बोर्ड के साथ आयोजित दूसरा वार्षिक सम्मेलन है, जो भारतीय रिज़र्व बैंक की पर्यवेक्षित संस्थाओं के बोर्ड के साथ बैठकों की शृंखला का हिस्सा है। सम्मेलन में निजी क्षेत्र के बैंकों के अध्यक्ष तथा प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यपालक अधिकारियों सहित 200 से अधिक निदेशकों ने भाग लिया।
रिज़र्व बैंक ने आज मुंबई में निजी क्षेत्र के बैंकों के निदेशक मंडल का एक सम्मेलन आयोजित किया, जिसका विषय था ‘सुदृढ़ बोर्ड के माध्यम से परिवर्तनकारी अभिशासन’। यह रिज़र्व बैंक द्वारा निजी क्षेत्र के बैंकों के बोर्ड के साथ आयोजित दूसरा वार्षिक सम्मेलन है, जो भारतीय रिज़र्व बैंक की पर्यवेक्षित संस्थाओं के बोर्ड के साथ बैठकों की शृंखला का हिस्सा है। सम्मेलन में निजी क्षेत्र के बैंकों के अध्यक्ष तथा प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यपालक अधिकारियों सहित 200 से अधिक निदेशकों ने भाग लिया।
पृष्ठ अंतिम बार अपडेट किया गया: फ़रवरी 15, 2025