RbiSearchHeader

Press escape key to go back

पिछली खोज

थीम
थीम
टेक्स्ट का साइज़
टेक्स्ट का साइज़
S2

Notification Marquee

आरबीआई की घोषणाएं
आरबीआई की घोषणाएं

RbiAnnouncementWeb

RBI Announcements
RBI Announcements

असेट प्रकाशक

78499254

विनिर्दिष्ट बैंक नोटों (एसबीएन) के लिए तिजोरी गारंटी योजना-सीजीएसएस

आरबीआई/2016-17/160
डीसीएम (आयो.) 1430/10.27.00/2016-17

27 नवम्बर 2016

अध्यक्ष /प्रबंध निदेशक /मुख्य कार्यपालक अधिकारी
सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों / निजी क्षेत्र के बैंकों / विदेशी बैंकों/
क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों / शहरी सहकारी बैंकों / राज्य सहकारी बैंक

महोदया / महोदय

विनिर्दिष्ट बैंक नोटों (एसबीएन) के लिए तिजोरी गारंटी योजना-सीजीएसएस

कृपया “विनिर्दिष्ट बैंक नोटों (एसबीएन) - बैंकों में भंडारण सुविधा को कम करने के लिए गारंटी योजना के अंतर्गत जमा करना” पर 24 नवम्बर 2016 का हमारा परिपत्र डीसीएम (आयो.) 1383/10.27.00/2016-17 का संदर्भ लें।

2. उक्त के क्रम में, अब यह निर्णय लिया गया है कि जिला स्तर पर वर्तमान भारतीय रिजर्व बैंक के कार्यालयों में गारंटी समझौते के तहत उपलब्ध सुविधा की तरह एसबीएन को जमा करने के लिए निर्धारित मुद्रा तिजोरियों में नई योजना का आरंभ किया जाए ।

3. योजना से संबंधित अनुदेश अनुबंध में दिए गए हैं ।

भवदीय

(पी विजयकुमार)
मुख्य महाप्रबंधक

अनु : यथोक्त


जिला स्तर पर एसबीएन को जमा करने के लिए तिजोरी गारंटी – दिशानिर्देश

1 योजना

(i) यह योजना उन जिला मुख्यालयों पर परिचालित की जाएगी जहां एसबीएन के भंडारण के लिए सुरक्षित भंडारण सुविधा की जा सके । इस स्थान पर वर्तमान मुद्रा तिजोरी को निर्धारित तिजोरी कहा जा सकता है, इसे विस्तारित कक्ष के रूप में संचालित करने के लिए अलग वाल्ट आवश्यक होगा जिसे तिजोरी गारंटी वाल्ट(सीजीवी) के नाम से जाना जाएगा। बैंक, ज़्यादातर जिन्हें कोई भी मुद्रा तिजोरी नहीं है, वे इसमें एसबीएन के भंडारण के लिए एसबीएन के बक्से को सील करके रखना होगा और तिजोरी शाखा में अपने चालू खाते में नोटों के मूल्य का क्रेडिट प्राप्त करना होगा। यह सुविधा डाक घरों में भी उपलब्ध है, यदि वे सीजीवी प्रबंधन करने वाले तिजोरी शाखा के साथ चालू खाते का रखरखाव करते हैं ।

(ii) अनुबंध 1 में प्रारूप के अनुसार डीसी आरबीआई के साथ स्टांप पेपर पर गारंटी बांड निष्पादित करेगा। डीसी से सुविधा लेने वाले इच्छुक बैंक / डाक घर अनुबंध II में प्रारूप के अनुसार उनके साथ गारंटी बॉन्ड का निष्पादन करेंगे । संबंधित राज्य के स्टाम्प अधिनियम के अनुसार गैर न्यायिक स्टांप की राशि लगानी होगी।

(iii) सीजीवी निर्धारित मुद्रा तिजोरी के अधीन होगी और उसके अलग से संयुक्त अभिरक्षक प्रभारी होगें ।

(iv) प्रत्येक जिले के लिए भारतीय रिजर्व बैंक से एक अधिकारी, नोडल अधिकारी (एनओ) होगा जो समग्र संचालन की निगरानी करेगा ।

(v) प्रत्येक जिले के लिए डीसी की पहचान संबंधित आरबीआई के क्षेत्रीय कार्यालय करेंगे ।

2 प्राधिकरण :

(i) बैंक ऐसे भुगतान के लिए अधिदेश के माध्यम से अधिकारी/अधिकारियों को प्राधिकृत करेंगे।

(ii) उसी बैंक / डाक घर के अधिकारियों से, जिन अधिकारियों का हस्ताक्षर डीसी के पास पंजीकृत है, उनके हस्ताक्षर, सत्यापन करवाया जाएगा । सीजीवी में केवल ऐसे प्राधिकृत अधिकारियों को एसबीएन को जमा करने की अनुमति है ।

3 सीजीएसएस की अवधि

(i) जहां परिचालन शुरू हो जाएगा, बैंकें एसबीएन को जमा करने के लिए, एसबीएन के विवरण के साथ डीसी से संपर्क कर सकते हैं। इसके बाद, डीसी जमाकर्ता बैंक / डाक घर से विचार-विमर्श करके एसबीएन को प्राप्ति करने के लिए समय देगा ।

(ii) इस योजना के अंतर्गत, एसबीएन को स्वीकार करने के लिए पूरी योजना जिले में शुरू होने की तारीख से 7 कार्य दिवस के लिए परिचालन रहेगी।

4 सीजीएसएस के तहत एसबीएन की प्राप्ति :

(i) अनुबंध III के अनुसार एसबीएन को 100 पीसेस का प्रत्येक 10 पैकेट के बंडल में हरेक बॉक्स में तीन प्रतियों में, एसबीएन का कुल संख्या का विवरण सहित देना है। 500 और 1000 रुपए के मूल्यवर्ग के एसबीएन के लिए अलग बॉक्स का उपयोग किया जाना चाहिए ।

(ii) बैंकों द्वारा बक्से डबल लॉक और विधिवित भरे हुए फॉर्म के साथ उचित सील सहित दिए जाने चाहिए ।

(iii) जमाकर्ता बैंक / डाक घर से एसबीएन के बक्से प्रथम दृष्टया जाँच के बाद प्राप्त किया जाएगा । इसके बाद, जमाकरता बैंक द्वारा संबंधित बैंक(डीसी) के संयुक्त अभिरक्षक की उपस्थित में, बक्सों को ताला तथा सील किया जाना चाहिए । चाबियां जमाकर्ता बैंक / डाक घर के पास रखनी होगी । बंडलों और पैकेट का प्रारंभिक सत्यापन और / या जाँच नहीं की जाएगी ।

(iv) लॉक और सील किए हुए बक्सों की प्राप्ति पर और संयुक्त अभिरक्षक के संतुष्ट होने पर टेंडर स्वीकार किया जाएगा और अनुबंध III की प्रति पर प्राप्ति देनी होगी । अनुबंध III की अन्य प्रतियाँ संबंधित डीसी और आरबीआई के नोडल अधिकारी के पास रहेगी ।

5. भण्डारण

(i) लिए गए बॉक्स को स्ट्रॉंग रूम में अलग से बैंकवार और निविदावार रखा जाना चाहिए ।

(ii) प्रत्येक दिन की कार्य समाप्ति पर, सीजीवी को संयुक्त अभिरक्षक तथा भारतीय रिजर्व बैंक के नोडल अधिकारियों द्वारा ताले तथा सील में रखा जाएगा । विनिर्दिष्ट बैंक नोट स्वीकार करने के सातवें दिन की समाप्ति पर सीजीवी को सभी तीनों अधिकारियों द्वारा ताला लागाया तथा सील किया जाना चाहिए, इसके पश्चात भारतीय रिजर्व बैंक के नोडल अधिकारी अपने मुख्यालय में वापस लौटेंगे ।

6. लेखांकन

(i) विनिर्दिष्ट बैंक नोटों की प्राप्ति पर, जमाकर्ता बैंक / डाकघर के चालू खाते को डीसी द्वारा जमा किया जाना चाहिए तथा ये शेष तिजोरी शेष में गंदे नोटों की श्रेणी में दर्शाया जाएगा ।

(ii) दिन की प्राप्तियों की समेकित राशि की प्रविष्टि समय, दिनांक तथा मोहर सहित प्रतिदिन तिजोरी पुस्तिका में की जानी चाहिए ।

7. रिपोर्टिंग

(i) डीसी के द्वारा आईकोम्ज-सीसीआरएस (ICCOMS-CCRS) के माध्यम से सही रिपोर्टिंग की जानी चाहिए । विनिर्दिष्ट बैंक नोटों को भारतीय रिजर्व बैंक को प्रेषित करते समय भी यही समान रिपोर्ट की जाए।

(ii) सात दिनों के दौरान, जब विनिर्दिष्ट बैंक नोट स्वीकार किए जाएंगे, डीसी को संलग्न प्रारूप अनुबंध IV में दैनिक रिपोर्ट ई-मेल द्वारा प्रेषित करनी चाहिए ।

(iii) सातवें दिन के अंत में अनुबंध V में एक समेकित रिपोर्ट भी ई-मेल द्वारा प्रेषित की जानी चाहिए ।

8. सुरक्षा

(i) सीजीवी की पहरेदारी के लिए पुलिस द्वारा रात दिन सुरक्षा की व्यवस्था की जाए ।

(ii) यदि सीजीवी सीसीटीवी कवरेज में है तो इसको सक्रिय किया जाना चाहिए ।

9. निकासी तथा प्रसंस्करण

(i) भारतीय रिजर्व बैंक के क्षेत्रीय कार्यालय प्राथमिकता से सीजीवी से विनिर्दिष्ट बैंक नोटों की निकासी की व्यवस्था करेंगे ।

(ii) तत्पश्चात, विनिर्दिष्ट बैंक नोट मुद्रा सत्यापन तथा प्रसंस्करण प्रणाली (सीवीपीएस) में विस्तृत जांच के अधीन होंगे ।

(iii) भारतीय रिजर्व बैंक में प्रक्रिया के दौरान कमियों की पहचान जैसे नोटों के कमी, जाली नोट, गंदे नोट आदि की वसूली डीसी से की जाएगी जिसके एवज में वह जमाकर्ता बैंक / डाकघर से इसकी वसूली करेगा ।

10. निरीक्षण

(i) सीजीवी भारतीय रिजर्व बैंक के नोडल अधिकारी तथा नियंत्रक प्राधिकारी द्वारा प्रत्येक पखवाड़े में निरीक्षण के अधीन होगी ।

(ii) राज्य पुलिस से भी सीजीवी परिसर की आवधिक जांच करने हेतु अनुरोध किया जाएगा ।

11. व्यय

(i) यदि आवश्यक हो तो, दिन रात पहरेदारी से संबन्धित व्यय भारतीय रिजर्व बैंक वहन करेगा ।

(ii) भारतीय रिजर्व बैंक को विनिर्दिष्ट बैंक नोटों के विप्रेषण से संबन्धित व्यय भारतीय रिजर्व बैंक वहन करेगा ।

RbiTtsCommonUtility

प्ले हो रहा है
सुनें

संबंधित एसेट

आरबीआई-इंस्टॉल-आरबीआई-सामग्री-वैश्विक

RbiSocialMediaUtility

आरबीआई मोबाइल एप्लीकेशन इंस्टॉल करें और लेटेस्ट न्यूज़ का तुरंत एक्सेस पाएं!

Scan Your QR code to Install our app

RbiWasItHelpfulUtility

क्या यह पेज उपयोगी था?