विदेशी देयताओं और परिसंपत्तियों के संबंध में वार्षिक विवरणी भारतीय कंपनियों द्वारा रिपोर्टिंग - संशोधित फार्मेट - आरबीआई - Reserve Bank of India
विदेशी देयताओं और परिसंपत्तियों के संबंध में वार्षिक विवरणी भारतीय कंपनियों द्वारा रिपोर्टिंग - संशोधित फार्मेट
भारिबैंक/2013-14/646 18 जून 2014 सभी श्रेणी I प्राधिकृत व्यापारी बैंक महोदया/महोदय, विदेशी देयताओं और परिसंपत्तियों के संबंध में वार्षिक विवरणी प्राधिकृत व्यापारी श्रेणी-I बैंकों का ध्यान 20 जून 2012 के ए.पी.(डीआईआर) सीरीज़ परिपत्र सं.133 की ओर आकृष्ट किया जाता है जिसमें यह विनिर्दिष्ट किया गया था कि मौजूदा वर्ष सहित विगत वर्ष (वर्षों) में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश प्राप्तकर्ता और/या प्रत्यक्ष समुद्रपारीय निवेशकर्ता भारतीय कंपनियाँ विदेशी देयताओं और परिसंपत्तियों के संबंध में वार्षिक विवरणी प्रति वर्ष 15 जुलाई तक, साफ्ट फार्म में, रिज़र्व बैंक को प्रस्तुत करें। 2. मल्टी एजेंसी ग्लोबल ’मैनुअल आन स्टैटिस्टिक्स आफ इंटरनेशनल ट्रेड इन सर्विसेज़’ के अनुसार भारतीय कंपनियों के विदेशी संबद्धता वाले जावक व्यापार के संबंध में सूचना एकत्रित करने के लिए ’विदेशी देयताओं और परिसंपत्तियों के संबंध में वार्षिक विवरणी’ में आंशिक संशोधन किया गया है और उसे भारतीय रिज़र्व बैंक की वेबसाइट (www.rbi.org.in→Forms category→FEMA Forms) और तत्संबंधी अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न FAQ (www.rbi.org.in→ FAQs category→ Foreign Exchange) पर उपलब्ध कराए गए हैं। 3. भारतीय रिज़र्व बैंक ने 26 मई 2014 के जीएसआर सं. 400(ई) के जरिए 26 मई 2014 की अधिसूचना सं. फेमा. 307/2014-आरबी के द्वारा विदेशी मुद्रा प्रबंध (भारत से बाहर के निवासी किसी व्यक्ति द्वारा प्रतिभूति का अंतरण अथवा निर्गम) (आठवां संशोधन) विनियमावली, 2014 के द्वारा अब उल्लिखित विषय से संबंधित विनियमावली में तदनुसार संशोधन कर दिया है। 4. इस परिपत्र में निहित निर्देश विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम, 1999 (1999 का 42) की धारा 10(4) और धारा 11(1) के अधीन और अन्य किसी कानून के अंतर्गत अपेक्षित अनुमति/अनुमोदन, यदि कोई हो, पर प्रतिकूल प्रभाव डाले बगैर जारी किए गए हैं। भवदीय, (जे.के.पाण्डेय) |