शाखा प्राधिकरण नीति – बैंकों द्वारा वार्षिक शाखा विस्तार योजना (एबीईपी) के साथ प्रस्तुत की जाने वाली सूचना - आरबीआई - Reserve Bank of India
शाखा प्राधिकरण नीति – बैंकों द्वारा वार्षिक शाखा विस्तार योजना (एबीईपी) के साथ प्रस्तुत की जाने वाली सूचना
भारिबैं/2012-13/427 4 मार्च 2013 सभी देशीय अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक महोदया/महोदय शाखा प्राधिकरण नीति – बैंकों द्वारा वार्षिक शाखा विस्तार योजना (एबीईपी) के साथ प्रस्तुत की जाने वाली सूचना कृपया दिनांक 15 जुलाई 2011 का हमारा परिपत्र बैंपविवि. सं. बीएल. बीसी. 24/ 22.01.001/2011-12 देखें जिसमें बैंकों को अन्य बातों के साथ-साथ, यह सूचित किया गया था कि शाखा प्राधिकरण वित्तीय समावेशन, प्राथमिकता प्राप्त क्षेत्रों को ऋण देने एवं ग्राहक सेवा इत्यादि में बैंक के प्रदर्शन के समीक्षात्मक मूल्यांकन पर आधारित होगा। इस प्रयोजन के लिए बैंकों कॉ वार्षिक शाखा विस्तार योजना के साथ शाखा प्राधिकरण पर 02 जुलाई 2012 के मास्टर परिपत्र बैंपविवि. सं. बीएल. बीसी. 26/22.01.001/2012-13 के अनुबंध 3(ई) में किए गए निर्धारण के अनुसार कतिपय सूचनाएं भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रस्तुत करना आवश्यक है। 2. उपर्युक्त स्थिति की समीक्षा के उपरांत तथा उपर्युक्त क्षेत्रों में बैंक के कार्य-निष्पादन का व्यापक मूल्यांकन सुनिश्चित करने के लिए, अनुबंध 3(ई) में मांगी गई सूचना में कुछ संशोधन करने का निर्णय लिया गया है। अतएव बैंकों को सूचित किया जाता है कि वे भविष्य में एबीईपी के साथ संशोधित अनुबंध 3(ई) (संलग्न) में सूचना प्रस्तुत करें। 3. कृपया प्राप्ति सूचना दें। (प्रकाश चंद्र साहू) अनुलग्नक : यथोक्त वार्षिक शाखा विस्तार योजना के साथ प्रस्तुत की जानेवाली सूचना बैंक का नाम : 1) बैंक के शाखा विस्तार कार्यक्रम हेतु मध्यावधि नीति: बैंक टियर 1 केन्द्रों में और टियर 2 से टियर 6 केन्द्रों में 3 वर्ष की अवधि के लिए अपने शाखा विस्तार हेतु प्रस्तावित मध्यावधि नीति के बारे में ब्यौरे दें। 2) अगले 3 वर्षों में कारोबार का अपेक्षित स्तर क. जमाराशियां 3) अगले 3 वर्षों में अपेक्षित ग्राहक आधार 4) प्रौद्योगिकी कार्यान्वयन : क. पूर्णत: कंप्यूटरीकृत शाखाओं की संख्या 5) वित्तीय समावेशन को बढ़ाने हेतु उपाय: वित्तीय समावेशन के लिए की गयी पहल के अंतर्गत ग्राहकों द्वारा रखे जाने के लिए अपेक्षित न्यूनतम शेष के विविध स्तर/स्लैब तथा इन एकाधिक स्तरों/स्लैबों से जुड़ी बैंक द्वारा दी जानेवाली संबंधित सेवाओं के बारे में बैंक ब्योरे दें। अ) बैंक निम्नलिखित ब्योरे भी प्रस्तुत करे :- क) यदि बैंक ने व्यवसाय प्रतिनिधि (बीसी) मॉडल को लागू किया है तो उसके कार्यकलाप के ब्योरेः- आ) बैंक विगत तीन वर्षों के सांख्यिकीय आंकड़े भी निम्नानुसार प्रस्तुत करें :- क) प्रति शाखा बुनियादी बचत बैंक खातों/लघु खातों की औसत संख्या। 6) दिये जानेवाले उत्पादों तथा सेवाओं के प्रभारों की अनुसूची: बैंक अपने ग्राहकों को दिये जानेवाले विविध उत्पादों तथा सेवाओं के लिए प्रभारों की अनुसूची 8) पिछले दो वर्षों के दौरान बैंक में प्राप्त हुई शिकायतें
9) शाखा नेटवर्क में प्रस्तावित वृद्धि के कारण बढ़ने वाले कारोबार से उत्पन्न होनेवाले निम्नलिखित मुद्दों पर ध्यान देने के लिए बैंक द्वारा प्रस्तावित उपाय।
10) प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को दिए गए अग्रिमों के संबंध में स्थिति प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को दिए गए अग्रिमों का क्षेत्रवार विश्लेषण और प्रतिशत अर्थात् प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्रों को दिए गए अग्रिमों का समायोजित निवल बैंक ऋण के प्रति अनुपात की सूचना दी जाए । 11) ऋण जमा अनुपात के संबंध में ब्योरे :
(राशि करोड़ रुपयों में)
12) बैंकिंग समूह के कार्यकलाप तथा बैंक की अपनी सहायक, संबद्ध और सहयोगी संस्थाओं के साथ संबंध का स्वरूप । 13) क्या पिछले एक वर्ष के दौरान बैंक को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया था और क्या कोई अर्थ-दंड बैंक पर लगाया गया था? यदि हां, तो उसका ब्योरा दें । 14) पिछले एक वर्ष के दौरान बैंक द्वारा खोली गई शाखाओं की सूची क. टीयर 1 केंद्र
ख. टीयर 2 से टीयर 6 तक के केंद्र तथा पूर्वोत्तर राज्य एवं सिक्किम
15) शाखाएं खोलने के लिए बैंक के पास लंबित प्राधिकरणों की सूची ।
16) पिछली एबीईपी के अंतर्गत खोली जा चुकी/खोली जाने वाली प्रस्तावित शाखाओं के ब्योरे
17) ऐसी अन्य कोई जानकारी जो बैंक प्रस्तुत करना चाहे |