औषधीय क्षेत्र (Pharmaceuticals sector) में विदेशी निवेश- प्रत्यक्ष विदेशी निवेश योजना में संशोधन - आरबीआई - Reserve Bank of India
औषधीय क्षेत्र (Pharmaceuticals sector) में विदेशी निवेश- प्रत्यक्ष विदेशी निवेश योजना में संशोधन
भारिबैंक/2011-12/296 09 दिसंबर 2011 सभी प्राधिकृत व्यापारी श्रेणी I बैंक महोदया/महोदय, औषधीय क्षेत्र (Pharmaceuticals sector) में विदेशी निवेश- प्राधिकृत व्यापारी श्रेणी - । (प्रा.व्या. श्रेणी - ।) बैंकों का ध्यान, समय-समय पर यथा संशोधित, 3 मई 2000 की अधिसूचना सं. फेमा 20/2000-आरबी के जरिये अधिसूचित विदेशी मुद्रा प्रबंध (भारत से बाहर के निवासी व्यक्ति द्वारा प्रतिभूति का अंतरण अथवा निर्गम) विनियमावली, 2000 की ओर आकृष्ट किया जाता है। पूर्वोक्त अधिसूचना की अनुसूची 1 के अनुसार, प्रत्यक्ष विदेशी निवेश योजना के स्वत: अनुमोदित मार्ग के तहत औषधीय क्षेत्र (Pharmaceuticals sector) में 100 प्रतिशत तक प्रत्यक्ष विदेशी निवेश के लिए अनुमति दी गयी है । 2. औषधीय क्षेत्र के लिए मौजूदा प्रत्यक्ष विदेशी निवेश नीति की अब पुनरीक्षा की गयी है और यह निर्णय लिया गया है कि: (i) औषधीय क्षेत्र में ग्रीन फील्ड निवेश के लिए स्वत: अनुमोदित मार्ग के तहत 100 प्रतिशत तक प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की अनुमति बनी रहेगी । (ii) औषधीय क्षेत्र में ब्राउन फील्ड निवेश (अर्थात मौजूदा कंपनियों में निवेश) के लिए सरकारी अनुमोदन मार्ग के तहत 100 प्रतिशत तक प्रत्यक्ष विदेशी निवेश हेतु अनुमति दी जाएगी । 3. इस संबंध में जारी 8 नवंबर 2011 के प्रेस नोट 3 (2011 सीरीज) की प्रतिलिपि संलग्न है । 4. प्राधिकृत व्यापारी श्रेणी । बैंक इस परिपत्र की विषयवस्तु से अपने घटकों/ग्राहकों को अवगत करायें । 5. विदेशी मुद्रा प्रबंध (भारत से बाहर के निवासी व्यक्ति द्वारा प्रतिभूति का अंतरण अथवा निर्गम) विनियमावली, 2000 (3 मई 2000 की अधिसूचना सं. फेमा 20/2000-आरबी) में आवश्यक संशोधन, अलग से जारी किये जा रहे हैं । 6. इस परिपत्र में निहित निर्देश विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम, 1999 (1999 का 42) की धारा 10(4) और 11(1) के अंतर्गत और किसी अन्य विधि के अंतर्गत अपेक्षित किसी अनुमत/अनुमोदन पर प्रतिकूल प्रभाव डाले बिना जारी किये गये हैं । भवदीया, (रश्मि फौजदार) |