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प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार पर दिशा-निर्देश - संशोधित

भारिबैं / 2007-08 / 121
ग्राआऋवि.सं.आरआरबी.बीसी. 20 / 03.05.33/2007-08

22 अगस्त 2007

अध्यक्ष

सभी क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक

महोदय,

प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार पर दिशा-निर्देश - संशोधित

वर्ष 2005-06 के लिए रिज़र्व बैंक के वार्षिक नीति वक्तव्य में, जैसे कि घोषणा की गई थी, प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार से संबंधित निर्धारणों को संशोधित किया गया तथा समय-समय पर विभिन्न नये क्षेत्र शामिल किए गए — यह माना जा रहा है कि क्षेत्रों में विस्तार के कारण एकाग्रता में कमी आई है। पात्रता संबंधी मानदंडों तथा अन्य संबंधित पहलुओं की आगे और समीक्षा करने के लिए भी सुझाव प्राप्त हुए हैं। साथ ही, यह भी तर्क दिया गया है कि प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र के अंतर्गत शामिल होने के लिए केवल वे क्षेत्र पात्र होने चाहिए जो जनसंख्या के बड़े हिस्से , कमज़ोर वर्गों और रोज़गार प्रधान क्षेत्रों जैसे कृषि, अत्यंत लघु और लघु उद्यम को प्रभावित करते हों।

2. इस संबंध में, प्राथमिकता प्राप्त क्षेत्र को उधार के निर्धारण को जारी रखने की आवश्यकता की जांच , प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र का गठन करने वाले खंडो, लक्ष्यों और उप-लक्ष्यों आदि सहित प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार पर वर्तमान नीति की समीक्षा तथा इस संबंध में आवश्यक परिवर्तन, यदि कोई हो, की सिफारिश करने हेतु रिज़र्व बैंक में एक आंतरिक कार्यकारी दल (अध्यक्ष : श्री सी.एस.मूर्ति) का गठन किया गया था। बैंकों, वित्तीय संस्थानों, गैर- बैंकिंग वित्तीय कंपनियों, उद्योगों के संघों, मीडिया , जनता तथा भारतीय बैंक संघ से प्राप्त टिप्पणियों / सिफारिशों के परिप्रेक्ष्य में दल की सिफारिशों की जांच की गई और तदनुसार प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार पर दिशा-निर्देशों को संशोधित किया गया — विस्तृत संशोधित दिशा-निर्देश संलग्न हैं।

3. इन दिशा-निर्देशों में व्यष्टि, लघु और मध्यम उद्यम विकास अधिनियम, 2006 के अनुसार लघु और व्यष्टि उद्यम की संशोधित परिभाषा को विचार में लिया गया है।

4. संशोधित दिशा-निर्देश तत्काल लागू होंगे। यदि किसी क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक को प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र के संशोधित दिशा निर्देशों के अनुपालन में कोई कठिनाई हो तो वह उपयुक्त कारणों सहित अनुपालन हेतु समय-सीमा के भीतर भारतीय रिज़र्व बैंक के संबंधित क्षेत्रीय कार्यालय (ग्राआऋवि) से संपर्क कर सकता है।

 

 

5. हम प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को अग्रिम पर डाटा प्रस्तुत करने के लिए अर्ध-वार्षिक तथा वार्षिक विवरणियों के संशोधित प्रारुप अलग से प्रेषित कर रहे हैं।

6. कृपया प्राप्ति - सूचना हमारे संबंधित क्षेत्रीय कार्यालयों को दें।

भवदीय
( सी.एस.मूर्ति )
प्रभारी मुख्य महाप्रबंधक

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