साख सूचना कंपनियों को - साख सूचना प्रस्तुत करना - 1 करोड़ रुपये तथा उससे अधिक राशि के चूककर्ता और 25 लाख रुपये तथा उससे अधिक राशि के इरादतन चूककर्ता - वाद दायर खातों से संबंधित ऋण सूचनाओं का प्रसार - आरबीआई - Reserve Bank of India
साख सूचना कंपनियों को - साख सूचना प्रस्तुत करना - 1 करोड़ रुपये तथा उससे अधिक राशि के चूककर्ता और 25 लाख रुपये तथा उससे अधिक राशि के इरादतन चूककर्ता - वाद दायर खातों से संबंधित ऋण सूचनाओं का प्रसार
आरबीआइ/2011-12/408 13 फरवरी 2012 मुख्य कार्यपालक अधिकारी महोदय /महोदया साख सूचना कंपनियों को - साख सूचना प्रस्तुत करना - 1 करोड़ रुपये तथा कृपया क्रेडिट इंफार्मेशन कंपनियों को (सीआईसीएस) शहरी सहकारी बैंकों द्वारा सूचना प्रस्तुत करने के संबंध में 9 अगस्त 2010 का परिपत्र शबैंवि.केंका.बीपीडी.परि.सं. 6/09.11.200 /2010-11 देखें । 2. जैसा कि आप जानते हैं, क्रेडिट इन्फारर्मेशन ब्यूरो (इंडिया) लि.(सीआईबीआईएल) के अलावा एक्सपीरियन क्रेडिट इंफार्मेशन कंपनी ऑफ इंडिया प्रा.लि., मे. इक्विफैक्स क्रेडिट इंफार्मेशन सर्विसेज प्रा.लि. तथा मेसर्स हाई मार्क क्रेडिट इंफार्मेशन सर्विसेज प्रा.लि. नामक 3 ऋण आसूचना कंपनियों (सीआईसी) को ऋण आसूचना कंपनी (विनियमन) अधिनियम, 2005 के अंतर्गत ऋण आसूचना का व्यवसाय प्रारंभ करने के लिए पंजीकरण प्रमाण पत्र जारी किए गए हैं । 3. आपसे अनुरोध है कि आप संदिग्ध अथवा हानि के रुप में वर्गीकृत 1 करोड़ रुपये तथा उससे अधिक राशि के बाद दायर खातों की तिमाही सूची क्रेडिट इंफार्मेशन ब्यूरो (इंडिया) लि को तथा /अन्य किसी ऋण आसूचना कंपनी को प्रस्तुत करें जिसे भारतीय रिज़र्व बैंक से पंजीकरण प्रमाण पत्र प्राप्त हो गया है और आपका बैंक उसका सदस्य हो । 4. आपको यह भी सूचित किया जाता है कि 25 लाख रुपये तथा उससे अधिक राशि के इरादतन चूककर्ताओं के बाद दायर खातों की सूची प्रति वर्ष मार्च, जून, सितंबर तथा दिसंबर के अंत में क्रेडिट इंफार्मेशन ब्यूरो (इंडिया) लि. तथा /अथवा अन्य किसी ऋण आसूचना कंपनी को प्रस्तूत करें जिसे भारतीय रिज़र्व बैंक से पंजीकरण प्रमाण प्राप्त हो गया है और आपका बैंक उसका सदस्य हो। 5. इसके अतिरिक्त, उपर्युक्त ऋण आसूचना कंपनियों को सूचित किया गया है कि वे इन वाद दायर खातों के संबंध में बैंकों / वित्तीय संस्थाओं द्वारा दिए गए आंकड़ो को शामिल करते हुए ऋण आसूचना अपनी वेबसाइटों पर भी प्रसारित करें । भवदीय (ए. उदगाता) |