31 दिसंबर 2012 भारत की तिमाही अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति: सितंबर 2012 अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति, एक सांख्यिकीय विवरण है जो एक कालावधि के अंत तक, किसी अर्थव्यवस्था के (ए) निवासियों की वित्तीय आस्तियों का, जो अनिवासियों पर दावे होते हैं, तथा आरक्षित आस्तियों के रूप में धारित स्वर्ण बुलियन का और (बी) निवासियों की अनिवासियों के प्रति वित्तीय देयताओं का मूल्य और संरचना बताती है। एक अर्थव्यवस्था की बाह्य वित्तीय आस्तियों और देयताओं के बीच का अंतर, उस अर्थव्यवस्था की शुद्ध अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति होती है, जो धनात्मक या ऋणात्मक हो सकती है। इस प्रकार का अंतर्राष्ट्रीय लेखों का तुलन पत्र विश्लेषण, टिकने की क्षमताओं और दुर्बलताओं को समझने में मदद करता है और वित्तीय संसाधनों के घरेलू स्त्रोत और अन्य नीति सोच-विचार से सम्बन्ध का अध्ययन करते हुए, अर्थव्यवस्था संरचना के विश्लेषण में उपयोगी होता है। सितंबर 2012 को समाप्त तिमाही की भारत की अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति के मुख्य अंश नीचे प्रस्तुत हैं: I. समग्र अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति (ए) तिमाही परिवर्तन: -
अनिवासियों के भारत पर शुद्ध दावे (जो शुद्ध अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति, अर्थात, विदेश में अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय आस्तियाँ – अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय देयताएँ दर्शाती है), पिछली तिमाही से 47.7 बिलियन अमरीकी डॉलर बढ़े और सितंबर 2012 अंत तक 271.5 बिलियन अमरीकी डॉलर हुए। यह मुख्यत:, देयताओं में 55.6 बिलियन अमरीकी डॉलर की वृद्धि के कारण था (तालिका 1)। अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति के बदलाव, अस्थिर विनिमय दर के कारण होनेवाले मूल्यांकन परिवर्तन भी प्रतिबिंबित करते हैं । -
भारतीय निवासियों की विदेश में वित्तीय आस्तियाँ, सितंबर 2012 के अंत तक, पिछली तिमाही से 8.0 बिलियन अमरीकी डॉलर की वृद्धि से 441.7 बिलियन अमरीकी डॉलर थीं। आरक्षित आस्तियाँ, जो प्रमुख स्त्रोत बनी रहीं, सितंबर 2012 अंत तक 5.1 बिलियन अमरीकी डॉलर की बढ़ोतरी से 294.8 बिलियन अमरीकी डॉलर पर पहुँचीं। विदेश में प्रत्यक्ष निवेश, इस तिमाही में 1.4 बिलियन अमरीकी डॉलर बढ़कर सितंबर 2012 के अंत तक 115.8 बिलियन अमरीकी डॉलर पर पहुँचा। -
अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय देयताएँ, पिछली तिमाही से 55.6 बिलियन अमरीकी डॉलर के बढ़ाव से सितंबर 2012 के अंत तक 713.2 बिलियन अमरीकी डॉलर पर पहुचीं। भारत में प्रत्यक्ष और संविभाग निवेश में सितंबर 2012 अंत तक क्रमश: 24.4 बिलियन अमरीकी डॉलर और 17.1 बिलियन अमरीकी डॉलर की बढ़ोतरी हुई। अन्य निवेश देयताओं में, मुद्रा और जमा राशियाँ (मुख्यत: अनिवासी भारतीयों की जमा राशियाँ), व्यापार ऋण और ऋण (मुख्यत: ई सी बी) क्रमश: 6.1 बिलियन अमरीकी डॉलर, 4.1 बिलियन अमरीकी डॉलर और 3.7 बिलियन अमरीकी डॉलर से बढ़े। -
इक्विटी देयताओं में, अमरीकी डॉलर के संदर्भ में, 39.0 बिलियन अमरीकी डॉलर से वृद्धि हुई। (प्रत्यक्ष निवेश में 23.8 बिलियन अमरीकी डॉलर और संविभाग निवेश में 15.2 बिलियन अमरीकी डॉलर)। इस तिमाही में, रुपये के अधिमूल्यन के कारण, इक्विटी देयताओं में, अमरीकी डॉलर के संदर्भ में, 21.0 बिलियन अमरीकी डॉलर की वृद्धि हुइ (प्रत्यक्ष निवेश में 13.4 बिलियन अमरीकी डॉलर और संविभाग निवेश में 7.6 बिलियन अमरीकी डॉलर)। -
भारत की अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय आस्तियों का अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय देयताओं से अनुपात सितंबर 2012 में 61.9 प्रतिशत पर कम हुआ (जून 2012 अंत में 66.0 प्रतिशत)। (बी) वार्षिक परिवर्तन: -
विदेश में अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय आस्तियाँ, सितंबर 2012 अंत तक एक वर्ष में 11.0 बिलियन अमरीकी डॉलर घटीं (तालिका 1)। बाह्य वित्तीय आस्तियों में, विदेश में प्रत्यक्ष निवेश मेँ पिछले साल लगातार बढ़ोतरी का चलन दिखाई पड़ा और उस में वार्षिक आधार पर 8.2 बिलियन अमरीकी डॉलर की वृद्धि हुई। इस के विरुद्ध, आरक्षित आस्तियाँ 16.7 बिलियन अमरीकी डॉलर से घटीं। -
अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय देयताओं में 58.1 बिलियन अमरीकी डॉलर की वार्षिक बढ़ोतरी होकर वे सितंबर 2012 अंत तक 713.2 बिलियन अमरीकी डॉलर पर पहुँचीं। भारत में प्रत्यक्ष और संविभाग निवेश, दोनो, क्रमश: 13.1 बिलियन अमरीकी डॉलर और 9.5 बिलियन अमरीकी डॉलर से अधिक हुए। व्यापार ऋण, ऋण और मुद्रा और जमा राशियाँ प्रकार में अन्य निवेश में 35.5 बिलियन अमरीकी डॉलर की वृद्धि हुई। -
बाह्य आस्तियों और देयताओं में उपर्युक्त बदलाव के परिणामस्वरूप, अनिवासियों के भारत पर शुद्ध दावों में सितंबर 2012 के अंत में 69.1 बिलियन अमरीकी डॉलर की वार्षिक वृद्धि हुई। -
भारत के अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय आस्तियों का अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय देयताओं से अनुपात, सितंबर 2011 के 69.1 प्रतिशत से, सितंबर 2012 में 61.9 प्रतिशत पर नीचे आया। II. बाह्य वित्तीय आस्तियों और देयताओं की रचना -
भारत की अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय आस्तियों में सितंबर 2012 में, आरक्षित आस्तियों का प्रमुख भाग (66.7 प्रतिशत) बना रहा, जिस के बाद विदेश में प्रत्यक्ष निवेश का हिस्सा (26.2 प्रतिशत) रहा (तालिका 2)। -
प्रत्यक्ष निवेश (32.2 प्रतिशत), संविभाग निवेश (23.2 प्रतिशत), ऋण [मुख्यत: ईसीबी] (23.0 प्रतिशत) देश की वित्तीय देयताओं के प्रमुख घटक थे। वित्तीय देयताओं के अन्य घटकों में व्यापार ऋण तथा मुद्रा और जमा राशियों का भाग क्रमश: 10.8 प्रतिशत और 9.4 प्रतिशत रहा। III. बाह्य ऋण देयताओं की तुलना में बाह्य ऋणेतर देयताएँ -
इक्विटी के शुद्ध अंतर्वाह में, सितंबर 2012 में अन्य अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय देयताओं की तुलना में, तेज़तर वृद्धि के कारण, ऋणेतर देयताओं का भाग, जून 2012 अंत के 46.6 प्रतिशत से सितंबर 2012 अंत में 48.5 प्रतिशत रहा (तालिका 3)। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के विशेष आँकड़ा प्रसार मानक के अनुसार, अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति संबंधी आँकड़े, दो तिमाहियों के अंतराल से वार्षिक जारी करने होते हैं (तिमाही प्रकाशन, एक तिमाही के अंतराल से प्रोत्साहित है)। भारत की तिमाही अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति एक तिमाही के अंतराल से प्रकाशित हो रही है। जून 2012 अंत तक की पिछली त्रैमासिक अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति 28 सितंबर 2012 को सार्वजनिक डोमेन में रखी गई थी। तालिका 1: समग्र अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति | (बिलियन अमरीकी डॉलर) | अवधि | सितं.11 आं सं | दिसं.11 आं सं | मार्च 12 आं सं | जून 12 आं सं | सितं.12 अ | शुद्ध अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति | -202.4 | -208.8 | -248.4 | -223.8 | -271.5 | ए. आस्तियाँ | 452.7 | 432.0 | 437.8 | 433.7 | 441.7 | 1. प्रत्यक्ष निवेश | 107.6 | 109.5 | 112.4 | 114.4 | 115.8 | 2. संविभाग निवेश | 1.5 | 1.5 | 1.5 | 1.5 | 1.5 | 2.1 इक्विटी प्रतिभूतियाँ | 1.5 | 1.5 | 1.5 | 1.5 | 1.5 | 2.2 ऋण प्रतिभूतियाँ | 0.0 | 0.0 | 0.0 | 0.0 | 0.0 | 3. अन्य निवेश | 32.1 | 24.3 | 29.5 | 28.2 | 29.7 | 3.1 व्यापार ऋण | 10.4 | 1.4 | 0.0 | 4.9 | 5.6 | 3.2 ऋण | 4.4 | 5.0 | 6.1 | 3.8 | 3.8 | 3.3 मुद्र और जमा राशियाँ | 7.7 | 7.5 | 11.8 | 7.5 | 8.4 | 3.4 अन्य आस्तियाँ | 9.6 | 10.5 | 11.7 | 12.0 | 11.9 | 4. आरक्षित आस्तियाँ | 311.5 | 296.7 | 294.4 | 289.7 | 294.8 | बी. देयताएँ | 655.1 | 640.9 | 686.2 | 657.6 | 713.2 | 1. प्रत्यक्ष निवेश | 216.9 | 206.5 | 222.3 | 205.6 | 230.0 | 2. संविभाग निवेश | 155.8 | 146.6 | 165.8 | 148.2 | 165.3 | 2.1 इक्विटी प्रतिभूतियाँ | 121.2 | 109.7 | 125.3 | 110.5 | 125.7 | 2.2 ऋण प्रतिभूतियाँ | 34.6 | 36.9 | 40.5 | 37.7 | 39.7 | 3. अन्य निवेश | 282.4 | 287.7 | 298.1 | 303.7 | 317.9 | 3.1 व्यापार ऋण | 66.7 | 67.2 | 67.3 | 72.7 | 76.8 | 3.2 ऋण | 154.0 | 157.7 | 160.0 | 160.3 | 164.0 | 3.3 मुद्रा और जमा राशियाँ | 52.4 | 52.6 | 58.8 | 61.1 | 67.2 | 3.4 अन्य देयताएँ | 9.3 | 10.2 | 12.0 | 9.6 | 10.0 | आं सं: आंशिक संशोधित अ: अनंतिम टिप्पणी – 1. संख्याओं के पूर्णांकित किए जाने के कारण घटको का जोड़ कुल संख्या से थोड़ा भिन्न हो सकता है। 2. इस तालिका में दी गई टिप्पणियाँ अन्य तालिकाओं के लिए भी लागू हैं। | तालिका 2: भारत की बाह्य वित्तीय आस्तियों और देयताओं की संरचना | (प्रतिशत) | अवधि | सितं. 11 आं सं | दिसं. 11 आं सं | मार्च 12 आं सं | जून 12 आं सं | सितं. 12 अ | ए. आस्तियाँ | | | | | | 1. प्रत्यक्ष निवेश | 23.8 | 25.4 | 25.7 | 26.4 | 26.2 | 2. संविभाग निवेश | 0.3 | 0.3 | 0.3 | 0.3 | 0.4 | 3. अन्य निवेश | 7.1 | 5.6 | 6.7 | 6.5 | 6.7 | 4. आरक्षित आस्तियाँ | 68.8 | 68.7 | 67.3 | 66.8 | 66.7 | कुल | 100.0 | 100.0 | 100.0 | 100.0 | 100.0 | बी. देयताएँ | | | | | | 1. प्रत्यक्ष निवेश | 33.1 | 32.2 | 32.4 | 31.3 | 32.2 | 2. संविभाग निवेश | 23.8 | 22.9 | 24.2 | 22.5 | 23.2 | 3. अन्य निवेश | 43.1 | 44.9 | 43.4 | 46.2 | 44.6 | कुल | 100.0 | 100.0 | 100.0 | 100.0 | 100.0 | आं सं: आंशिक संशोधित अ: अनंतिम | तालिका 3. बाह्य ऋण और ऋणेतर देयताओं का भाग | (प्रतिशत) | अवधि | सितं. 11 आं सं | दिसं. 11 आं सं | मार्च 12 आं सं | जून 12 आं सं | सितं. 12 अ | ऋणेतर देयताएँ | 50.3 | 48.0 | 49.3 | 46.6 | 48.5 | ऋण देयताएँ | 49.7 | 52.0 | 50.7 | 53.4 | 51.5 | कुल | 100.0 | 100.0 | 100.0 | 100.0 | 100.0 | आं सं: आंशिक संशोधित अ: अनंतिम | आर. आर. सिन्हा उप महाप्रबंधक प्रेस प्रकाशनी : 2012-2013/1098 |