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गैर-सरकारी गैर-बैंकिंग वित्तीय और निवेश कंपनियों का कार्य-निष्पादनः 2018-19 डेटा का प्रकाशन

24 जुलाई 2020

गैर-सरकारी गैर-बैंकिंग वित्तीय और निवेश कंपनियों का कार्य-निष्पादनः 2018-19 डेटा का प्रकाशन

आज भारतीय रिज़र्व बैंक ने वर्ष 2018-19 के लिए गैर-सरकारी गैर-बैंकिंग वित्तीय और निवेश (एन जी एन बी एफ & आई) कंपनियों के कार्य-निष्पादन के संबंध में डेटा का प्रकाशन अपनी वेबसाइट (https://dbie.rbi.org.in/DBIE/dbie.rbi?site=statistics#!2_43) पर किया। इसमें बीमा कंपनियाँ और बैंकिंग कंपनियाँ सम्मिलित नहीं हैं।

अध्ययन में 15,206 एनजीएनबीएफ़&आई कंपनियों के लेखापरीक्षित वार्षिक लेखों को सम्मिलित किया गया था जो 31 मार्च 2019 की स्थिति के अनुसार सभी एनजीएनबीएफ़&आई कंपनियों की कुल चुकता पूंजी(पीयूसी) का 83.3 प्रतिशत हिस्सा है। डेटा विवरणों के लिए स्पष्टीकरण टिप्पणियां अनुबंध में दी गई हैं।

मुख्य अंश:

  • ऋण देने और निवेश की गतिविधियों में हुई वृद्धि के आधार पर वर्ष 2018-19 में वित्त आय में 21.9 प्रतिशत की दमदार वृद्धि (वर्षानुवर्ष) दर्ज़ हुई है (विवरण 1, 2 और 3)।

  • 2018-19 के दौरान एनजीएनबीएफ़&आई कंपनियों के तुलनपत्र में 17.6 प्रतिशत का विस्तार हुआ है जो पिछले वर्ष की 24.5 प्रतिशत की वृद्धि के ऊपर हैःआस्ति वित्त कंपनियों की हिस्सेदारी सर्वाधिक (45.5 प्रतिशत) रही है (विवरण 4ए और 4बी)।

  • मार्च 2019 में कुल आस्ति में दीर्घकालिक उधारी की हिस्सेदारी आधे से अधिक थी; निवेश और अल्पकालिक उधारियाँ मिलकर आस्तियों का एक चौथाई हिस्सा थी (विवरण 4बी)।

  • 2018-19 के दौरान कुल व्यय का लगभग 57 प्रतिशत हिस्सा ब्याज के भुगतान का थाः मार्च 2019 में एनजीएनबीएफ़&आई कंपनियों की कुल देयता में शेयर पूंजी और उधारियों का हिस्सा क्रमशः लगभग 20 प्रतिशत और 60 प्रतिशत था (विवरण 3 और 4ए)

  • निवल लाभ वृद्धि (वर्षानुवर्ष) 2018-19 में घटकर 2.6 प्रतिशत (पिछले वर्ष में 5.3 प्रतिशत) हो गया था और लाभप्रदता अनुपात (कुल निवल आस्तियों में निवल लाभ) में भी गिरावट आईः आस्ति वित्त कंपनियों और शेयर ट्रेडिंग निवेश होल्डिंग कंपनियों ने अच्छा लाभ कमाया जबकि ऋण वित्त कंपनियाँ, अशोध्य ऋणों को बट्टे खाते में डालने के कारण हानि ही रिपोर्ट करती रहीं (विवरण 1, 2 और 3)।

  • 2018-19 में कारोबारी विस्तार का निधीयन मुख्य रूप से बाह्य स्रोतों जैसे- बैंक उधारियाँ, बांड्स और डिबेंचर्स, शेयर पूंजी और प्रीमियम से किया गया था (विवरण 5ए)।

टिप्पणी: उपरोक्त डेटा का मुख्य स्रोत कारपोरेट मामलों का मंत्रालय (एमसीए), भारत सरकार है।

(योगेश दयाल) 
मुख्य महाप्रबंधक

प्रेस प्रकाशनी: 2020-2021/98

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