भारतीय रिज़र्व बैंक ने काकीनाड़ा को-ऑपरेटिव टाउन बैंक लिमिटेड, काकीनाड़ा, पूर्वी गोदावरी जिला, आंध्र प्रदेश पर मौद्रिक दंड लगाया (संशोधित) - आरबीआई - Reserve Bank of India
भारतीय रिज़र्व बैंक ने काकीनाड़ा को-ऑपरेटिव टाउन बैंक लिमिटेड, काकीनाड़ा, पूर्वी गोदावरी जिला, आंध्र प्रदेश पर मौद्रिक दंड लगाया (संशोधित)
29 अगस्त 2022 भारतीय रिज़र्व बैंक ने काकीनाड़ा को-ऑपरेटिव टाउन बैंक लिमिटेड, काकीनाड़ा, पूर्वी गोदावरी जिला, भारतीय रिज़र्व बैंक (आरबीआई) ने दिनांक 22 अगस्त 2022 के आदेश द्वारा काकीनाड़ा को-ऑपरेटिव टाउन बैंक लिमिटेड, काकीनाड़ा, पूर्वी गोदावरी जिला, आंध्र प्रदेश (बैंक) पर, आय निर्धारण, आस्ति वर्गीकरण, प्रावधानीकरण और अन्य संबंधित मामले-शहरी सहकारी बैंक तथा जमाकर्ता शिक्षा और जागरूकता निधि की स्थापना के तहत जारी निदेशों के अननुपालन/उल्लंघन के लिए ₹10.00 लाख (दस लाख रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, आरबीआई द्वारा जारी उपर्युक्त निदेशों का पालन करने में बैंक की विफलता को ध्यान में रखते हुए, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (एएसीएस) की धारा 46 (4) (i) और धारा 56 के साथ पठित धारा 47 ए (1) (सी) के प्रावधानों के अंतर्गत आरबीआई को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है। यह कार्रवाई विनियामक अनुपालन में कमियों पर आधारित है और इसका उद्देश्य बैंक द्वारा अपने ग्राहकों के साथ किए गए किसी भी लेनदेन या समझौते की वैधता पर सवाल करना नहीं है। पृष्ठभूमि 31 मार्च 2020 को बैंक की वित्तीय स्थिति के आधार पर इसके निरीक्षण रिपोर्ट से, अन्य बातों के साथ-साथ, आय निर्धारण, आस्ति वर्गीकरण, प्रावधानीकरण और अन्य संबंधित मामले- शहरी सहकारी बैंक के तहत जारी निदेशों के उल्लंघन/ अननुपालन तथा पात्र शेष राशियों को जमाकर्ता शिक्षा और जागरूकता निधि में अंतरण करने में विफलता का पता चला। उक्त के आधार पर बैंक को एक नोटिस जारी किया गया जिसमें यह पूछा गया कि वह कारण बताएं कि निदेशों के अननुपालन के लिए उस पर दंड क्यों न लगाया जाए। बैंक के उत्तर और व्यक्तिगत सुनवाई के दौरान की गई मौखिक प्रस्तुतियों पर विचार करने के बाद आरबीआई इस निष्कर्ष पर पहुंचा है कि आरबीआई द्वारा जारी निदेशों के अननुपालन के उपर्युक्त आरोप सिद्ध हुए हैं और मौद्रिक दंड लगाया जाना आवश्यक है। (योगेश दयाल) प्रेस प्रकाशनी: 2022-2023/781 |