भारतीय रिज़र्व बैंक ने दि इरिंजालकुडा टाउन को-ऑपरेटिव बैंक लि. नंबर.55, इरिंजालकुडा, त्रिशूर जिला, केरल पर मौद्रिक दंड लगाया - आरबीआई - Reserve Bank of India
भारतीय रिज़र्व बैंक ने दि इरिंजालकुडा टाउन को-ऑपरेटिव बैंक लि. नंबर.55, इरिंजालकुडा, त्रिशूर जिला, केरल पर मौद्रिक दंड लगाया
18 मार्च 2021 भारतीय रिज़र्व बैंक ने दि इरिंजालकुडा टाउन को-ऑपरेटिव बैंक लि. नंबर.55, भारतीय रिज़र्व बैंक (रिज़र्व बैंक) ने दिनांक 17 मार्च 2021 के आदेश द्वारा दि इरिंजालकुडा टाउन को-ऑपरेटिव बैंक लि. नंबर.55, इरिंजालकुडा, त्रिशूर जिला, केरल (बैंक) पर “आय निर्धारण और आस्ति वर्गीकरण” तथा “अग्रिमों का प्रबंधन– यूसीबी” के संबंध में रिज़र्व बैंक द्वारा जारी निदेशों के उल्लंघन /अननुपालन के लिए ₹50.00 लाख (पचास लाख रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड रिज़र्व बैंक द्वारा जारी उपर्युक्त निदेशों के अनुपालन में बैंक की विफलता को ध्यान में रखते हुए बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 46 (4) (i) और धारा 56 के साथ पठित धारा 47 ए (1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है। यह कार्रवाई विनियामक अनुपालन में कमियों पर आधारित है और इसका उद्देश्य बैंक द्वारा अपने ग्राहकों के साथ किए गए किसी भी लेनदेन या करार की वैधता पर प्रश्न उठाना नहीं है। पृष्ठभूमि 31 मार्च 2019 को बैंक की वित्तीय स्थिति के आधार पर उनके निरीक्षण रिपोर्ट से अन्य बातों के साथ-साथ यह पता चला है कि “आय निर्धारण, आस्ति वर्गीकरण, प्रावधानीकरण और अन्य संबंधित मामलों” तथा “अग्रिमों का प्रबंधन– यूसीबी” के संबंध में भारतीय रिज़र्व बैंक (रिज़र्व बैंक) द्वारा जारी निदेशों का उल्लंघन/अननुपालन किया गया है। उक्त के आधार पर बैंक को एक नोटिस जारी किया गया जिसमें उसे पूछा गया कि वह कारण बताएं कि निदेशों के अननुपालन के लिए उस पर दंड क्यों न लगाया जाए। बैंक के लिखित उत्तर तथा व्यक्तिगत सुनवाई के दौरान की गई मौखिक प्रस्तुतियों पर विचार करने के बाद रिज़र्व बैंक इस निष्कर्ष पर पहुंचा है कि रिज़र्व बैंक के निदेशों के अननुपालन के उपर्युक्त आरोप सिद्ध हुए हैं और मौद्रिक दंड लगाना अनिवार्य है। (योगेश दयाल) प्रेस प्रकाशनी: 2020-2021/1264 |