भारतीय रिज़र्व बैंक ने नगर सहकारी बैंक लिमिटेड, इटावाह पर मौद्रिक दंड लगाया - आरबीआई - Reserve Bank of India
भारतीय रिज़र्व बैंक ने नगर सहकारी बैंक लिमिटेड, इटावाह पर मौद्रिक दंड लगाया
2 जुलाई 2021 भारतीय रिज़र्व बैंक ने नगर सहकारी बैंक लिमिटेड, इटावाह पर मौद्रिक दंड लगाया भारतीय रिज़र्व बैंक (रिज़र्व बैंक) ने, दिनांक 2 जुलाई 2021 के आदेश द्वारा नगर सहकारी बैंक लिमिटेड, इटावाह (बैंक) पर बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 56 के साथ पठित धारा 35ए तथा 'आय निर्धारण, आस्ति वर्गीकरण, प्रावधानीकरण तथा अन्य संबंधित मामले- यूसीबी' संबंधी विनियमनों के उल्लंघन के लिए ₹1.00 लाख (एक लाख रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड अधिनियम के उपरोक्त प्रावधानों और उसके तहत रिज़र्व बैंक द्वारा जारी निदेशों का पालन करने में बैंक की विफलता को ध्यान में रखते हुए बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 46 (4) (i) और धारा 56 के साथ पठित धारा 47 ए (1) (सी) के प्रावधानों के तहत रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है। यह कार्रवाई विनियामक अनुपालन में कमियों पर आधारित है और इसका उद्देश्य बैंक द्वारा अपने ग्राहकों के साथ किए गए किसी भी लेनदेन या समझौते की वैधता पर सवाल करना नहीं है। पृष्ठभूमि 31 मार्च 2019 को बैंक की वित्तीय स्थिति के आधार पर इसके निरीक्षण रिपोर्ट से अन्य बातों के साथ-साथ यह पता चला कि बैंक आईआरएसी मानदंडों से संबंधित प्रावधानों के अनुपालन करने में विफल रहा। उक्त के आधार पर बैंक को एक नोटिस जारी किया गया जिसमें उनसे यह पूछा गया कि वे कारण बताएं कि उक्त निदेशों का अनुपालन नहीं करने के लिए उन पर दंड क्यों न लगाया जाए। बैंक के लिखित उत्तर और व्यक्तिगत सुनवाई के दौरान बैंक द्वारा किए गए मौखिक प्रस्तुतियों और उसके बाद अतिरिक्त प्रस्तुतियों पर विचार करने के बाद रिज़र्व बैंक इस निष्कर्ष पर पहुंचा है कि अधिनियम के प्रावधानों और उसके तहत रिज़र्व बैंक द्वारा जारी निदेशों के गैर-अनुपालन/उल्लंघन के उपर्युक्त आरोप सिद्ध हुए हैं और मौद्रिक दंड लगाया जाना आवश्यक है। (योगेश दयाल) प्रेस प्रकाशनी: 2021-2022/479 |