रिज़र्व बैंक ने दि बालासाहेब सतभाई मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, (पूर्व में दि कोपरगांव तालुका मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, कोपरगांव),कोपरगांव, अहमदनगर का लाइसेंस रद्द किया - आरबीआई - Reserve Bank of India
रिज़र्व बैंक ने दि बालासाहेब सतभाई मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, (पूर्व में दि कोपरगांव तालुका मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, कोपरगांव),कोपरगांव, अहमदनगर का लाइसेंस रद्द किया
30 मार्च 2007
रिज़र्व बैंक ने दि बालासाहेब सतभाई मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड,
(पूर्व में दि कोपरगांव तालुका मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, कोपरगांव),
कोपरगांव, अहमदनगर का लाइसेंस रद्द किया
दि बालासाहेब सतभाई मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, कोपरगांव अहमदनगर, महाराष्ट्रके अर्थक्षम नहीं रह जाने और गुजरात सरकार के परामर्श से इसे पुनरुज्जीवित करने के प्रयास असफल हो जाने तथा सतत अनिश्चितता के कारण जमाकर्ताओं को होनेवाली असुविधा के परिप्रेक्ष्य में भारतीय रिज़र्व बैंक ने बैंक का लाइसेन्स रद्द करने का आदेश 29 मार्च 2007 को जारी किया। सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार, महाराष्ट्र राज्य से भी बैंक के समापन और उसके लिए समापक नियुक्त करने का आदेश जारी करने का अनुरोध किया गया है। उल्लेख किया जाता है कि बैंक के समापन पर हर जमाकर्ता निक्षेप बीमा और प्रत्यय गारंटी निगम (डीआइसीजीसी) से 1,00,000 रुपये (एक लाख रुपये मात्र) की उच्चतम मौद्रिक सीमा तक अपनी जमाराशियों को वापस पाने का हकदार होता है।
बैंक को पुनरुज्जीवित किए जाने के सभी विकल्पों की जाँच करने के बाद और जमाकर्ताओं की हितों रक्षा के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने अंतिम उपाय के रूप में दि बालासाहेब सतभाई मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, कोपरगांव, अहमदनगर, महाराष्ट्र का लाइसेंस रद्द करने का निर्णय लिया। 30 सितंबर 2000 तक की वित्तीय स्थिति के संबंध में बैंक के सांविधिक निरीक्षण से यह पता चला कि इसकी वित्तीय स्थिति कमजोर थी। चूंकि बैंक की वित्तीय स्थिति और खराब होती जा रही थी अत: इसके बाद 4 अक्तूबर 2004 के आदेश के अनुसार बैंककारी विनियमन अधिनियम 1949 (सहकारी सोसायटियों पर यथालागू) की धारा 35(क) के अंतर्गत बैंक को निर्देश जारी किए गए।
30 सितंबर 2006 तक की स्थिति के संबंध में बैंक की लेखा बहियों की संवीक्षा से यह पता चला कि बैंक की वित्तीय स्थिति खराब थी। भारतीय रिज़र्व बैंक ने बैंक को 21 नवंबर 2006 को एक कारण बताओ नोटिस जारी किया था जिसमें यह कहा गया था कि उन्हें बैंकिंग कारोबार करने के लिए जारी किया गया लाइसेंस क्यों न रद्द किया जाए। कारण बताओ नोटिस की जाँच की गई। चूंकि बैंक के पास इसे पुनरुज्जीवित करने के लिए कोई कार्य योजना नहीं थी और इसे पुनरुज्जीवित किए जाने की कोई आशा नहीं थी, भारतीय रिज़र्व बैंक ने बैंक के जमाकर्ताओं के हित में अंतिम उपाय के रूप में बैंक का लाइसेन्स रद्द करने का निर्णय लिया। लाइसेन्स रद्द किये जाने और समापन प्रक्रिया आरंभ करने से दि बालासाहेब सतभाई मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, कोपरगांव, अहमदनगर, महाराष्ट्र के जमाकर्ताओं को निक्षेप बीमा योजना की शर्तों के अधीन जमाराशि के भुगतान करने की प्रक्रिया प्रारंभ हो जाएगी।
लाइसेन्स रद्द किये जाने के अनुसरण में दि बालासाहेब सतभाई मर्चेन्ट्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, कोपरगांव अहमदनगर, महाराष्ट्र पर बैंककारी विनियमन अधिनियम 1949 (सहकारी सोसायटियों पर यथालागू) की धारा 5(ख) में निर्धारित किये अनुसार जमाराशियां स्वीकार करने और उन्हें वापस लौटाने सहित बैंकिंग कारोबार करने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है।
किसी भी स्पष्टीकरण के लिए जमाकर्ता श्री आर.गणेशन, प्रभारी महाप्रबंधक, शहरी बैंक विभाग, भारतीय रिज़र्व बैंक, मुंबई से संपर्क कर सकते हैं। उनका संपर्क ब्यौरा निम्नानुसार है:
डाक पता : शहरी बैंक विभाग, भारतीय रिज़र्व बैंक, मुंबई क्षेत्रीय कार्यालय, दूसरी मंजील, गारमेंट हाऊस, मुंबई-400018. टेलीफोन नंबर : (022) 24939930-49; सीधी लाइन (022) 24928052; फैक्स नंबर : (022) 24935495.
वीरेन्द गिरि
सहायक प्रबंधक
प्रेस प्रकाशनी : 2006-2007/1335