अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) मानदंड / धनशोधन निवारण (एएमएल) मानक / आतंकवाद के वित्तपोषण से सामना (सीएफटी) - आरबीआई - Reserve Bank of India
अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) मानदंड / धनशोधन निवारण (एएमएल) मानक / आतंकवाद के वित्तपोषण से सामना (सीएफटी)
आरबीआई/2009-10/398 13 अप्रैल 2010 प्रति भुगतान और निपटान प्रणाली अधिनियम, 2007 के तहत प्राधिकृत अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) मानदंड / धनशोधन निवारण (एएमएल) कृपया 22 दिसम्बर 2009 के हमारे पत्र डीपीएसएस.केका.एडी.1320/02.27.005/2009-10 का अवलोकन कीजिए। 2. वित्तीय कार्रवाई टॉस्क फोर्स (एफएटीएफ) ने इस विषय पर 18 फरवरी 2010 को एक और वक्तव्य जारी किया है (प्रति संलग्न)। यह देखा जा सकता है कि वर्तमान एफएटीएफ वक्तव्य में रणनीतिपरक एएमएल/सीएफटी विसंगतियों वाले अधिकारक्षेत्रों को निम्नानुसार तीन समूहों में विभाजित किया गया है : क. ऐसे अधिकारक्षेत्र जिनके लिए एफएटीएफ ने अपने सदस्यों और अन्य अधिकार क्षेत्रों से कहा है कि वे अधिकारक्षेत्र : ईरान से पैदा हो रहे सतत और महत्त्वपूर्ण धन-शोधन और आतंकियों के वित्तपोषण (एमएल/एफटी) जोखिमों से अंतरराष्ट्रीय वित्तीय प्रणाली को बचाने के प्रतिकारी-उपायों को लागू करें। ख. रणनीतिपरक एएमएल/सीएफटी विसंगतियों वाले ऐसे अधिकारक्षेत्रों जिन्होंने फरवरी 2010 तक महत्त्वपूर्ण विसंगतियों का समाधान करने के लिए एफएटीएफ के साथ मिलकर किसी कार्रवाई योजन के लिए प्रतिबद्धता नहीं की है। एफएटीएफ ने अपने सदस्यों से कहा है कि प्रत्येक अधिकारक्षेत्र : कोरिया के लोकतांत्रिक जन गणतंत्र (डीपीआरके), एक्वाडोर और इथियोपिया के साथ जुड़ी हुई विसंगतियों से पैदा होने वाले जोखिमों पर विचार करें। ग. ऐसे अधिकारक्षेत्र जो पहले ही एफएटीएफ द्वारा सार्वजनिक तौर पर रणनीतिपरक एएमएल/सीएफटी विसंगतियों वाले क्षेत्रों के रूप में अभिनिर्धारित किए जा चुके हैं और फरवरी 2010 तक जिनका समाधान किया जाना बाकी था : पाकिस्तान, तुर्कमेनिस्तान और साओटोम तथा प्रिन्सेप। 3. तदनुसार भारत में भुगतान प्रणाली के सभी संचालकों को सूचित किया जाता है कि वे इन देशों की एएमएल/सीएफटी व्यवस्था में विसंगतियों से पैदा होने वाले जोखिमों को ध्यान में रखें। भुगतान प्रणाली संचालकों को चाहिए किए इस परिपत्र की विषयवस्तु को अपने सभी घटकों के ध्यान में लाएं। 4. कृपया इस परिपत्र की पावती भिजवाएं। भवदीय, (जी. पद्मनाभन) |