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विदेशी क्षेत्राधिकारों एवं अंतरराष्ट्रीय वित्तीय सेवा केंद्रों (आईएफ़एससी) में भारतीय बैंकों तथा अखिल भारतीय वित्तीय संस्थानों (एआईएफ़आई) की सहायक कंपनियों और शाखाओं का परिचालन - वैधानिक/नियामक मानदंडों का अनुपालन

आरबीआई/2022-23/145
विवि.एमआरजी.आरईसी.87/00-00-020/2022-23

01 दिसम्बर 2022

विदेशी क्षेत्राधिकारों एवं अंतरराष्ट्रीय वित्तीय सेवा केंद्रों (आईएफ़एससी) में भारतीय बैंकों तथा अखिल भारतीय वित्तीय संस्थानों (एआईएफ़आई) की सहायक कंपनियों और शाखाओं का परिचालन - वैधानिक/नियामक मानदंडों का अनुपालन

जैसा कि आपको विदित है, रिज़र्व बैंक द्वारा दिनांक 1 दिसंबर 2008 के परिपत्र संख्या डीबीओडी.सं.बीपी.बीसी.89/21.04.141/2008-09 और दिनांक 12 मई 2014 के परिपत्र संख्या डीबीओडी.सं.बीपी.बीसी.111/21.04.157/2013-14 के माध्यम से भारतीय बैंकों और एआईएफआई को भारत के बाहर संचालित उनकी शाखाओं/सहायक कंपनियों द्वारा वित्तीय उत्पादों में लेन-देन के मामलों पर निर्देश जारी किए गए थे। समीक्षा करने पर, यह महसूस किया गया कि भारत के बाहर संचालित भारतीय बैंकों और एआईएफआई की शाखाओं/सहायक कंपनियों के लिए एक ढांचा बनाने की आवश्यकता है जिसके अंतर्गत ऐसी गतिविधियों की अनुमति दी जा सके जो भारतीय घरेलू बाजार में विशेष रूप से अनुमोदित नहीं हैं तथा इसके अतिरिक्त गुजरात इंटरनेशनल फाइनेंस टेक-सिटी (गिफ्ट सिटी) सहित भारत में अंतरराष्ट्रीय वित्तीय सेवा केंद्रों (आईएफ़एससी) के लिए इन निर्देशों की प्रयोज्यता को निर्दिष्ट करने की भी आवश्यकता है।

1. प्रयोज्यता और प्रारंभ

(1) ये निर्देश रिज़र्व बैंक द्वारा विनियमित सभी बैंकों (सहकारी बैंकों, क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों और स्थानीय क्षेत्र के बैंकों को छोड़कर) और अखिल भारतीय वित्तीय संस्थानों (एआईएफआई) पर लागू होंगे।

(2) ये तत्काल प्रभाव से लागू होंगे।

2. वित्तीय उत्पादों में लेन-देन करना

(1) भारतीय बैंकों/एआईएफआई की विदेशी शाखाएं/विदेशी सहायक कंपनियाँ उन वित्तीय उत्पादों, संरचित वित्तीय उत्पाद सहित, में रिज़र्व बैंक की पूर्व स्वीकृति के बिना लेन-देन कर सकती हैं जो घरेलू बाजार में उपलब्ध नहीं हैं या जिन्हें घरेलू बाज़ार में रिज़र्व बैंक द्वारा अनुमति नहीं दी गई है, बशर्ते वे इन निर्देशों के पैरा 3 में निर्दिष्ट शर्तो और मेज़बान विनियामक द्वारा निर्धारित शर्तों का अनुपालन करेंगे।

(2) गिफ्ट सिटी सहित अन्य आईएफ़एससी में काम करने वाले भारतीय बैंकों / एआईएफ़आई की शाखाएँ / सहायक कंपनियाँ उन वित्तीय उत्पादों, संरचित वित्तीय उत्पाद सहित, में लेन-देन कर सकती हैं, जो घरेलू बाज़ार में या तो उपलब्ध नहीं हैं या जिन्हें घरेलू बाज़ार में रिज़र्व बैंक द्वारा अनुमति नहीं दी गई है, बशर्ते वे सभी लागू कानूनों/विनियमों और इन निर्देशों के पैरा 3 में निर्दिष्ट शर्तो तथा मेज़बान विनियामक द्वारा निर्धारित शर्तों का अनुपालन करेंगे।

3. वित्तीय उत्पादों में लेन-देन के लिए शर्तें

ऐसे उत्पादों में लेन-देन करने के लिए विदेशी अधिकार-क्षेत्रों के साथ-साथ आईएफ़एससी में स्थित शाखाओं / सहायक कंपनियों को अनुमति देते समय, मूल भारतीय बैंक / एआईएफ़आई द्वारा यह सुनिश्चित किया जाएगा कि:

  1. ऐसे उत्पादों में लेन-देन उनके बोर्ड, और यदि आवश्यक हो, तो संबंधित अधिकार क्षेत्र के उपयुक्त प्राधिकारी से पूर्व अनुमोदन के साथ किया जाए।

  2. उनके पास ऐसे उत्पादों में लेन-देन करने के लिए पर्याप्त ज्ञान, समझ और जोखिम प्रबंधन क्षमता है।

  3. वे उत्पादों के लिए बाजार निर्माता के रूप में तभी काम करते हैं, जब उनके पास ऐसे उत्पादों की कीमत/मूल्य तय करने की क्षमता हो और ऐसे उत्पादों की कीमत हर समय प्रदर्शित होती हो।

  4. इन उत्पादों पर उनके एक्सपोज़र और मार्क-टू-मार्केट (एमटीएम) को पर्याप्त रूप से समझ लिया गया है और रिज़र्व बैंक को प्रस्तुत विवरणी में रिपोर्ट किया जाता है। वे ऐसे वित्तीय उत्पादों के बारे में जानकारी भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा निर्धारित तरीके / फॉर्मेट एवं तय समय सीमा के भीतर प्रदान करेंगे।

  5. जब तक रिज़र्व बैंक द्वारा विशेष रूप से अनुमति नहीं है वे भारतीय रूपए से जुड़े उत्पादों में सौदा नहीं करेंगे।

  6. वे किसी भी भारतीय निवासी से संरचित जमा स्वीकार नहीं करेंगे; और

  7. वे रिज़र्व बैंक और मेज़बान विनियामकों द्वारा यथा लागू उपयुक्तता और औचित्यता नीतियों का पालन करेंगे।

4. विवेकपूर्ण मानदंडों का अनुपालन

(1) विदेश के साथ-साथ आईएफएससी में स्थित शाखाओं / सहायक कंपनियों लेन-देन किए गए वित्तीय उत्पाद विवेकपूर्ण मानदंडों जैसे पूंजी पर्याप्तता, एक्सपोजर मानदंडों (विस्तृत एक्सपोज़र फ्रेमवर्क सहित), आवधिक मूल्यांकन और अन्य सभी लागू मानदंडों को आकर्षित करेंगे। विवेकपूर्ण मानदंडों के संबंध में मूल बैंक मेज़बान और घरेलू विनियमों में से अधिक सख्त विनियमों का पालन करेंगे।

(2) अगर रिज़र्व बैंक के वर्तमान मानदंड किसी वित्तीय उत्पाद के विवेकपूर्ण व्यवहार को निर्दिष्ट नहीं करते हैं तो मूल बैंक/एआईफ़आई रिज़र्व बैंक से विशिष्ट मार्गदर्शन प्राप्त करेंगे।

5. भारतीय नियमों के अधीन कार्यकलाप

विदेशी क्षेत्राधिकारों और आईएफएससी में स्थित शाखाओं/सहायक कंपनियों के कार्यकलाप भारत में कानूनों के अधीन होंगे, जब तक कि कानून द्वारा विशेष रूप से छूट न दी जाए।

6. पूर्व के निर्देशों को निरस्त करना

इन निर्देशों के जारी होने के साथ, निम्नलिखित परिपत्र निरस्त हो जाएंगे:

  1. परिपत्र डीबीओडी.सं.बीपी.बीसी.89/21.04.141/2008-09 दिनांक 1 दिसंबर, 2008; और

  2. परिपत्र डीबीओडी.सं.बीपी.बीसी.111/21.04.157/2013-14 दिनांक 12 मई, 2014.

भवदीया

(उषा जानकीरामन)
मुख्य महाप्रबंधक

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