RbiSearchHeader

Press escape key to go back

पिछली खोज

थीम
थीम
टेक्स्ट का साइज़
टेक्स्ट का साइज़
S1

Press Releases Marquee

आरबीआई की घोषणाएं
आरबीआई की घोषणाएं

RbiAnnouncementWeb

RBI Announcements
RBI Announcements

असेट प्रकाशक

80201273

ऑफशोर रुपया बाजार पर गठित कार्य बल ने अपनी रिपोर्ट गवर्नर को प्रस्तुत की

8 अगस्त 2019

ऑफशोर रुपया बाजार पर गठित कार्य बल ने अपनी रिपोर्ट गवर्नर को प्रस्तुत की

भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा फरवरी 2019 में श्रीमती उषा थोराट, भूतपूर्व उप गवर्नर,भारतीय रिज़र्व बैंक की अध्यक्षता में ऑफशोर रुपया बाजार पर गठित कार्य बल ने 30 जुलाई 2019 को अपनी रिपोर्ट गवर्नर को प्रस्तुत की। ऑफशोर रुपया बाजार से संबंधित मुद्दों की गहराई से जांच करने और ऑनशोर विदेशी मुद्रा बाजार तक पहुँच के लिए गैर-निवासियों को प्रोत्साहित करने के उपायों सहित रुपये के बाहरी मूल्य की स्थिरता को सुनिश्चित करने की आवश्यकता की फैक्टरिंग करते हुए उचित नीतिगत उपायों की सिफारिश करने के लिए कार्य बल का गठन किया गया था।

कार्य बल ने विभिन्न बैंकों, वित्तीय संस्थानों, भारत और विदेशों में बड़े कॉर्पोरेट्स, विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों, परिसंपत्ति प्रबंधकों, उद्योग निकायों, विशेषज्ञों और व्यवसायियों के प्रतिनिधियों के साथ बातचीत की। कार्य बल की प्रमुख सिफारिशें हैं:

  1. विदेशी उपयोगकर्ताओं की पहुंच में सुधार के लिए ऑनशोर बाजार घंटों को बढ़ाया जाए ;

  2. भारतीय बैंकों को अनुमति दी जाए ताकि वे चौबीस घंटे वैश्विक ग्राहकों को स्वतंत्र रूप से कीमतों की पेशकश कर सकें;

  3. भारत में अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय सेवा केंद्रों (आईएफएससी) को रुपया डेरिवेटिव (विदेशी मुद्रा में निपटाए गए) कारोबार के लिए सक्षम बनाया जाए और आईएफएससी विनिमयों से इसकी शुरूआत की जाए ।

  4. अंतर्निहित एक्सपोज़र को स्थापित किए बिना उपयोगकर्ताओं को ओटीसी मुद्रा डेरिवेटिव बाजार में 100 मिलियन अमरीकी डालर तक विदेशी मुद्रा लेनदेन करने की अनुमति दी जाए।

  5. गैर-निवासियों को ऑनशोर अपने विदेशी मुद्रा एक्सपोज़र का बचाव करने की सुविधा निम्न द्वारा प्रदान की जाए :

    1. ऑनशोर बाजार में अनिवासी लेनदेन के लिए एक केंद्रीय समाशोधन और निपटान तंत्र की स्थापना की जाए ;

    2. पूरी तरह से असमाशोधित ओटीसी डेरिवेटिव के लिए मार्जिन आवश्यकता लागू की जाए और भारतीय बैंकों को विदेशों में मार्जिन पोस्ट करने की अनुमति दी जाए ;

    3. विदेशी मुद्रा डेरिवेटिव्स संबंधी कर व्यवस्था को प्रमुख अंतरराष्ट्रीय केंद्रों के अनुरूप बनाया जाए ; और

    4. एक समान प्रलेखन आवश्यकता के साथ वित्तीय बाजारों में केवाईसी आवश्यकताओं को केंद्रीकृत किया जाए ।

कार्य बल की रिपोर्ट आज आरबीआई की वेबसाइट पर प्रकाशित की गई है। आम जनता द्वारा रिपोर्ट पर अपनी टिप्पणी ईमेल के माध्यम से 31 अगस्त 2019 तक दी जा सकती है।

योगेश दयाल
मुख्य महाप्रबंधक

प्रेस प्रकाशनी : 2019-2020/387

RbiTtsCommonUtility

प्ले हो रहा है
सुनें

संबंधित एसेट

आरबीआई-इंस्टॉल-आरबीआई-सामग्री-वैश्विक

RbiSocialMediaUtility

आरबीआई मोबाइल एप्लीकेशन इंस्टॉल करें और लेटेस्ट न्यूज़ का तुरंत एक्सेस पाएं!

Scan Your QR code to Install our app

RbiWasItHelpfulUtility

क्या यह पेज उपयोगी था?