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कंप्यूटर सॉफ्टवेयर और सूचना प्रोद्योगिकी समर्थित सेवा निर्यात सर्वेक्षण: 2012-13

17 फरवरी 2014

कंप्यूटर सॉफ्टवेयर और सूचना प्रोद्योगिकी समर्थित सेवा निर्यात सर्वेक्षण: 2012-13

भारतीय रिज़र्व बैंक ने आज अपनी वेबसाइट पर कंप्यूटर सॉफ्टवेयर और सूचना प्रोद्योगिकी समर्थित सेवा निर्यात सर्वेक्षण: 2012-13 के परिणामों से संबंधित आंकड़े जारी किए।

कंप्यूटर सॉफ्टवेयर और सूचना प्रौद्योगिकी समर्थित सेवा निर्यात सर्वेक्षण सामान्य सेवा व्यापार करार (जीएटीएस) के अंतर्राष्ट्रीय सेवा व्यापार सांख्यिकी नियमावली के अनुसार आपूर्ति की चार पद्धतियों के साथ गतिविधि, सेवाओं के प्रकार (ऑन-साइट/ऑफ-साइट) और लक्ष्य देश के अनुसार सॉफ्टवेयर सेवाओं के निर्यात संबंधी ब्योरे एकत्र करता है। वर्ष 2012-13 के सर्वेक्षण दौर में 6,660 आईटी कंपनियों से संपर्क किया गया जिनमें से अधिकांश बड़ी कंपनियों सहित 737 कंपनियों से प्रतिक्रिया प्राप्त हुई। प्रतिक्रिया देने वाली कंपनियां वर्ष के दौरान के कुल सॉफ्टवेयर निर्यात का 75.4 प्रतिशत रही। शेष कंपनियों (अधिकांशत: छोटी) के निर्यात का अनुमान उन्हें 4 समूहों अर्थात आईटी सेवाएं, बीपीओ सेवाएं, अभियांत्रिकी सेवाएं और सॉफ्टवेयर उत्पाद विकास में संवर्गीकृत करके संबंधित वितरण पद्धतियों का उपयोग करते हुए लगाया गया । सर्वेक्षण की अनुसूची अनुलग्नक में दी गई है।

मुख्य निष्‍कर्ष :

  • सॉफ्टवेयर और आईटीईएस बीपीओ सेवा निर्यातः वर्ष 2012-13 के दौरान भारत का सॉफ्टवेयर सेवाओं और आईटीईएस बीपीओ सेवाओं का निर्यात (वाणिज्यिक उपस्थिति को छोड़कर) रु. 3405.2 बिलियन (62.6 बिलियन अमरीकी डॉलर) अनुमानित किया गया जो पिछले वर्ष की तुलना में अमरीकी डॉलर के अनुसार 20.7 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है। कंप्यूटर सेवाओं और आईटीईएस बीपीओ सेवाओं का निर्यात कुल सॉफ्टवेयर सेवा निर्यात का क्रमशः 71.9 प्रतिशत और 28.1 प्रतिशत रहा। वर्ष 2012-13 के दौरान कुल सॉफ्टवेयर सेवा निर्यात में सार्वजनिक कंपनियों का हिस्‍सा 64.6 प्रतिशत रहा (सारणी 1, 2 और 3)।

  • देश/मुद्रा वितरण ‘अमरीका और कनाडा’ सॉफ्टवेयर निर्यात के लिए प्रमुख लक्ष्य रहे जिन्‍होंने वर्ष 2012-13 में सॉफ्टवेयर सेवाओं के कुल निर्यात में 64.1 प्रतिशत का योगदान दिया। यूरोपीय देशों की हिस्सेदारी 20.2 प्रतिशत थी जिसमें से इंगलैंड की हिस्सेदारी 11.4 प्रतिशत रही। अमेरिकी डॉलर 73.6 प्रतिशत की हिस्सेदारी के साथ सॉफ्टवेयर निर्यात के लिए प्रमुख बीजक मुद्रा रहा जबकि पाउंड स्ट्रलिंग और यूरो की क्रमशः 8.5 प्रतिशत और 7.1 प्रतिशत हिस्सेदारी थी (तालिका 4 और 5)।

  • ऑन-साइट और ऑफ-साइट आपूर्ति पद्धतियाः वर्ष 2012-13 में ऑन-साइट पद्धति के माध्यम से सॉफ्टवेयर सेवा के निर्यात की हिस्सेदारी में कमी आई। कुल सेवा निर्यात में इसका योगदान पिछले वर्ष 2011-12 के 17.8 प्रतिशत से घटकर वर्ष 2012-13 में 15.8 प्रतिशत हो गया। भारत द्वारा वर्ष 2012-13 में पद्धति- 1 (सीमा पार आपूर्ति), पद्धति- 2 (विदेश में उपभोग) के माध्यम से सॉफ्टवेयर सेवा निर्यात की हिस्सेदारी में वृद्धि हुई जबकि पद्धति-3 (वाणिज्यिक उपस्थिति) और पद्धति-4 (स्वाभाविक व्यक्तियों की उपस्थिति) के माध्यम से सॉफ्टवेयर सेवा निर्यात की हिस्सेदारी में कमी आई (तालिका 6 और 7)।

  • भारतीय कंपनियों के विदेशी सहयोगियों द्वारा सॉफ्टवेयर निर्यातः वर्ष 2012-13 में विदेशी सहयोगियों द्वारा किया गया सॉफ्टवेयर निर्यात रु. 353.8 बिलियन रहा और वर्ष 2012-13 में विदेशों में स्थापित सहयोगी कंपनियों द्वारा दी गई सेवाओं सहित भारत द्वारा सॉफ्टवेयर सेवाओं में कुल अंतर्राष्ट्रीय व्यापार रु. 3759.0 बिलियन (69.1 बिलियन अमरीकी डॉलर) रहा। विदेशों में स्थापित सहयोगी कंपनियों के माध्‍यम से कुल सॉफ्टवेयर सेवाओं के व्यापार में अमेरिका की प्रमुख हिस्सेदारी रही और उसके बाद इंगलैंड का प्रमुख योगदान रहा (तालिका 8 और 9)।

संगीता दास
निदेशक

प्रेस प्रकाशनी : 2013-2014/1648

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