मास्टर परिपत्र - आरबीआई - Reserve Bank of India
मास्टर परिपत्र
अगस्त 24, 2004
मास्टर परिप?ा - प?ारक्षित नकदी निधि अनुपात (सीआरआर) तथा सांविधिक चलनिधि अनुपात (एसएलआर)
भारिबैं/2004-05/135बैंपविवि. सं. आरइटी. बीसी. 33/12.01.001/2004-05 24 अगस्त 2004 2 भाद्र 1926 (शक) सभी अनुसूचित वाणिज्य बैंकों केमुख्य कार्यपालकमहोदय, मास्टर परिपत्र - प्रारक्षित नकदी निधि अनुपात (सीआरआर) तथा सांविधिक चलनिधि अनुपात (एसएलआर) वफ्पया उपर्युक्त विषय पर 5 अगस्त, 2004 का हमारा मास्टर परिपत्र बैंपविवि. सं. आरइटी. बीसी. 23/ 12.01.001/2004-05 देखें । परिपत्र में ‘एसएलआर के लिए अनुमोदित प्रतिभूतियों का मूल्यांकन’ से संबंधित पैरा 3.2 में अनुबंध में दर्शाए
भारिबैं/2004-05/135बैंपविवि. सं. आरइटी. बीसी. 33/12.01.001/2004-05 24 अगस्त 2004 2 भाद्र 1926 (शक) सभी अनुसूचित वाणिज्य बैंकों केमुख्य कार्यपालकमहोदय, मास्टर परिपत्र - प्रारक्षित नकदी निधि अनुपात (सीआरआर) तथा सांविधिक चलनिधि अनुपात (एसएलआर) वफ्पया उपर्युक्त विषय पर 5 अगस्त, 2004 का हमारा मास्टर परिपत्र बैंपविवि. सं. आरइटी. बीसी. 23/ 12.01.001/2004-05 देखें । परिपत्र में ‘एसएलआर के लिए अनुमोदित प्रतिभूतियों का मूल्यांकन’ से संबंधित पैरा 3.2 में अनुबंध में दर्शाए
अगस्त 18, 2004
Master Circular on Priority Sector Lending-Credit facilities to Scheduled Castes (SCs) and Scheduled Tribes (STs)
RBI/2004-2005/132RPCD.NO.SP.BC. 20 /09.09.01/2004-0518th August 2004All Commercial Banks Dear Sir,Master CircularPriority Sector Lending-Credit facilities to Scheduled Castes (SCs) & Scheduled Tribes (STs) Reserve Bank of India has, periodically, issued instructions/directives to banks with regard to providing credit facilities to Scheduled Castes and Scheduled Tribes. To enable banks to have current instructions at one place, a Master Circular incorpora
RBI/2004-2005/132RPCD.NO.SP.BC. 20 /09.09.01/2004-0518th August 2004All Commercial Banks Dear Sir,Master CircularPriority Sector Lending-Credit facilities to Scheduled Castes (SCs) & Scheduled Tribes (STs) Reserve Bank of India has, periodically, issued instructions/directives to banks with regard to providing credit facilities to Scheduled Castes and Scheduled Tribes. To enable banks to have current instructions at one place, a Master Circular incorpora
अगस्त 16, 2004
Master Circular on Finance For Housing Schemes
RBI/2004-05/120 UBD.BPD.(PCB). MC. No.7 /09.22.01/2004-05 August 16, 2004 Chief Executive Officers of All Primary (Urban) Co-operative Banks Dear Sir, Master Circular Finance For Housing Schemes Please refer to our Master Circular UBD.BPD (PCB). MC. No.3 /09.22.01/2003-04 dated November 30, 2003 on the captioned subject (available at RBI website www.rbi.org.in). The enclosed Master Circular consolidates and updates all the instructions/guidelines o
RBI/2004-05/120 UBD.BPD.(PCB). MC. No.7 /09.22.01/2004-05 August 16, 2004 Chief Executive Officers of All Primary (Urban) Co-operative Banks Dear Sir, Master Circular Finance For Housing Schemes Please refer to our Master Circular UBD.BPD (PCB). MC. No.3 /09.22.01/2003-04 dated November 30, 2003 on the captioned subject (available at RBI website www.rbi.org.in). The enclosed Master Circular consolidates and updates all the instructions/guidelines o
अगस्त 12, 2004
सभी वाणिज्?िाक बैंकों के मुख्?ा कार्?ापालक
आरबीआई /2004-05/112संदर्भ: बैंपविवि/औनिऋअ.सं.26/08.12.01/2004-2005 12 अगस्त 2004 सभी वाणिज्यिक बैंकों के मुख्य कार्यपालक महोदय, मास्टर परिपत्र- आवास वित्त वफ्पया उपर्युक्त विषय पर दिनांक 29 दिसंबर, 2003 का हमारा मास्टर परिपत्र औविऋनि सं. (आ वि) 4 / 03.27.25 / 2003-2004 देखें। आज तक जारी किए गए सभी अनुदेशों को इस मास्टर परिपत्र में शामिल करके इसे अद्यतन बना दिया गया है। भवदीय,(वाई डी राव)मुख्य महाप्रबंधकसंलग्नक : यथोपरिविषय वस्तु 1. प्रस्तावना 2. प्रत्यक्ष आवास व
आरबीआई /2004-05/112संदर्भ: बैंपविवि/औनिऋअ.सं.26/08.12.01/2004-2005 12 अगस्त 2004 सभी वाणिज्यिक बैंकों के मुख्य कार्यपालक महोदय, मास्टर परिपत्र- आवास वित्त वफ्पया उपर्युक्त विषय पर दिनांक 29 दिसंबर, 2003 का हमारा मास्टर परिपत्र औविऋनि सं. (आ वि) 4 / 03.27.25 / 2003-2004 देखें। आज तक जारी किए गए सभी अनुदेशों को इस मास्टर परिपत्र में शामिल करके इसे अद्यतन बना दिया गया है। भवदीय,(वाई डी राव)मुख्य महाप्रबंधकसंलग्नक : यथोपरिविषय वस्तु 1. प्रस्तावना 2. प्रत्यक्ष आवास व
अगस्त 12, 2004
मास्टर परिपत्र - रुपया निर्यात ऋण
भारतीय रिजर्व बैंक /2004-05/113 संदर्भ: बैंपविवि औनिऋक. सं. 27 /04.02.02/ 2004-2005 12 अगस्त 2004 21श्रावण 1926 (शक)सभी वाणिज्यिक बैंकों के अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालकमहोदय,मास्टर परिपत्र - रुपया निर्यात ऋण जैसा कि आप जानते हैं, भारतीय रिज़र्व बैंक ने उपर्युक्त विषय पर दिनांक 1 जुलाई 2003 के पत्र संदर्भ : औनिऋवि.सं.6/04.02.02/2003-04 द्वारा एक मास्टर परिपत्र जारी किया था ताकि सभी वर्तमान अनुदेश बैंकों को एक ही जगह प्राप्त हो सकें । मास्टर परिपत्र में निहित अनुदेशों
भारतीय रिजर्व बैंक /2004-05/113 संदर्भ: बैंपविवि औनिऋक. सं. 27 /04.02.02/ 2004-2005 12 अगस्त 2004 21श्रावण 1926 (शक)सभी वाणिज्यिक बैंकों के अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालकमहोदय,मास्टर परिपत्र - रुपया निर्यात ऋण जैसा कि आप जानते हैं, भारतीय रिज़र्व बैंक ने उपर्युक्त विषय पर दिनांक 1 जुलाई 2003 के पत्र संदर्भ : औनिऋवि.सं.6/04.02.02/2003-04 द्वारा एक मास्टर परिपत्र जारी किया था ताकि सभी वर्तमान अनुदेश बैंकों को एक ही जगह प्राप्त हो सकें । मास्टर परिपत्र में निहित अनुदेशों
अगस्त 10, 2004
मास्टर परिपत्र - ग्राहक सेवा, निर्यात ऋण दिए जाने से संबंधित प्रािया का सरलीकरण और रिपोर्ट भेजने संबंधी अपेक्षाएँ
आरबीआई /2004-05/109 बैंेंपविवि. औनिऋक. सं. 24/04.02.02/2004-05 10 अगस्त 200419 श्रावण 1026 (शक) सभी वाणिज्यिक बैंकों के अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालकमहोदय,मास्टर परिपत्र - ग्राहक सेवा, निर्यात ऋण दिए जाने से संबंधित प्रािया का सरलीकरण और रिपोर्ट भेजने संबंधी अपेक्षाएँजैसा कि आप को ज्ञात है, भारतीय रिज़र्व बैंक ने उपर्युक्त विषय पर दिनांक 1 जुलाई 2003 के पत्र संदर्भ औनिऋवि. सं. 8/04.02.02/2003-04 द्वारा एक मास्टर परिपत्र जारी किया था ताकि सभी वर्तमान अनुदेश बैंकों को एक ही ज
आरबीआई /2004-05/109 बैंेंपविवि. औनिऋक. सं. 24/04.02.02/2004-05 10 अगस्त 200419 श्रावण 1026 (शक) सभी वाणिज्यिक बैंकों के अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालकमहोदय,मास्टर परिपत्र - ग्राहक सेवा, निर्यात ऋण दिए जाने से संबंधित प्रािया का सरलीकरण और रिपोर्ट भेजने संबंधी अपेक्षाएँजैसा कि आप को ज्ञात है, भारतीय रिज़र्व बैंक ने उपर्युक्त विषय पर दिनांक 1 जुलाई 2003 के पत्र संदर्भ औनिऋवि. सं. 8/04.02.02/2003-04 द्वारा एक मास्टर परिपत्र जारी किया था ताकि सभी वर्तमान अनुदेश बैंकों को एक ही ज
अगस्त 10, 2004
मास्टर परिपत्र - बैंकों में हिन्दी का प्रयोग
आरबीआई / 2004-05/111बैंपविवि. सं.राजभाषा. बीसी.25 /06.11.04/2004-05 10 अगस्त 2004 अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, सरकारी क्षेत्र के सभी बैंक प्रिय महोदय, मास्टर परिपत्र - बैंकों में हिन्दी का प्रयोगसरकारी क्षेत्र के बैंकों में हिन्दी के प्रयोग के संबंध में भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा 30 जून 2004 तक जारी किये गये अनुदेशों / दिशानिर्देशों को समेकित कर एक मास्टर परिपत्र तैयार किया गया है। इस मास्टर परिपत्र में, 30 जून 2004 तक जारी किये गये अनुदेशों को अद्यतन बना दिया गया
आरबीआई / 2004-05/111बैंपविवि. सं.राजभाषा. बीसी.25 /06.11.04/2004-05 10 अगस्त 2004 अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, सरकारी क्षेत्र के सभी बैंक प्रिय महोदय, मास्टर परिपत्र - बैंकों में हिन्दी का प्रयोगसरकारी क्षेत्र के बैंकों में हिन्दी के प्रयोग के संबंध में भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा 30 जून 2004 तक जारी किये गये अनुदेशों / दिशानिर्देशों को समेकित कर एक मास्टर परिपत्र तैयार किया गया है। इस मास्टर परिपत्र में, 30 जून 2004 तक जारी किये गये अनुदेशों को अद्यतन बना दिया गया
पृष्ठ अंतिम बार अपडेट किया गया: जुलाई 18, 2024
पृष्ठ अंतिम बार अपडेट किया गया: नवंबर 23, 2022