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जुल॰ 31, 2008
आय पर कर के लिए लेखांकन-लेखांकन मानक 22-पूंजी की गणना के लिए आस्थगित कर परिसंपत्तियों एवं आस्थगित कर देयताओं का व्यवहार

भारिबैं/2008-09/107भारिबैं/2008-09/107 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.)कंपरि. सं./124 /03.05.002/2008-09 जुलाई 31,2008सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियां (अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियों सहित)प्रिय महोदय,आय पर कर के लिए लेखांकन-लेखांकन मानक 22-पूंजी की गणना के लिए आस्थगित कर परिसंपत्तियों एवं आस्थगित कर देयताओं का व्यवहारभारतीय सनदी लेखाकार संस्थान (ICAI) द्वारा "आय पर करों के लेखांकन के संबंध में जारी लेखांकन मानक 22 के अनुसार ’कर योग्य आय’ की गणना कर कानून के अनुसार की जाती है और इ

भारिबैं/2008-09/107भारिबैं/2008-09/107 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.)कंपरि. सं./124 /03.05.002/2008-09 जुलाई 31,2008सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियां (अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियों सहित)प्रिय महोदय,आय पर कर के लिए लेखांकन-लेखांकन मानक 22-पूंजी की गणना के लिए आस्थगित कर परिसंपत्तियों एवं आस्थगित कर देयताओं का व्यवहारभारतीय सनदी लेखाकार संस्थान (ICAI) द्वारा "आय पर करों के लेखांकन के संबंध में जारी लेखांकन मानक 22 के अनुसार ’कर योग्य आय’ की गणना कर कानून के अनुसार की जाती है और इ

जून 17, 2008
भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की धारा 45-झक, 45-ट एवं 45 - ठ पंजीकरण प्रमाणपत्र की मंजूरी-जमाराशियाँ स्वीकार करने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के लिए 200 लाख रुपए की न्यूनतम निव
़ख्र्ख्र्दृ्र॰ख्र्डभारिबै./2007-08/369 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.)कंपरि.सं. 114/03.02.059/2007-08 17 जून 2008जमाराशियाँ स्वीकारने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँप्रिय महोदय, भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की धारा 45-झक, 45-ट एवं 45 - ठ पंजीकरण प्रमाणपत्र की मंजूरी-जमाराशियाँ स्वीकार करने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के लिए 200 लाख रुपए की न्यूनतम निवल स्वाधिकृत निधियों की अपेक्षा गैर बैंकिंग वित्तीय संस्था के कारोबार में लगी कंपनियों से अपेक्षित है कि वे
़ख्र्ख्र्दृ्र॰ख्र्डभारिबै./2007-08/369 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.)कंपरि.सं. 114/03.02.059/2007-08 17 जून 2008जमाराशियाँ स्वीकारने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँप्रिय महोदय, भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की धारा 45-झक, 45-ट एवं 45 - ठ पंजीकरण प्रमाणपत्र की मंजूरी-जमाराशियाँ स्वीकार करने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के लिए 200 लाख रुपए की न्यूनतम निवल स्वाधिकृत निधियों की अपेक्षा गैर बैंकिंग वित्तीय संस्था के कारोबार में लगी कंपनियों से अपेक्षित है कि वे
अप्रैल 23, 2008
अपने ग्राहकों को जानने (केवाईसी) संबंधी मानक /धनशोधन निवारण मानदण्ड (ऐंटी मनी लांडरिडग स्टैंडर्ड) /आतंकवाद के वित्तपोषण के खिलाफ संघर्ष(सीएफटी)
भारिबैं/2007-08/294 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.) कंपरि.सं. /113 /03.10.042/2007-08 23 अप्रैल 2008 सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ विविध गैर बैंकिंग कंपनियाँ और अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियाँ   प्रिय महोदय   अपने ग्राहकों को जानने (केवाईसी) संबंधी मानक /धनशोधन निवारण मानदण्ड (ऐंटी मनी लांडरिडग स्टैंडर्ड) /आतंकवाद के वित्तपोषण के खिलाफ संघर्ष(सीएफटी)   कृपया उल्लिखित विषय पर 21 फरवरी 2005 का हमारा कंपनी परिपत्र गैबैंपवि.(नीति प्रभा.) कंपरि. सं. 48/10.42/2004-05
भारिबैं/2007-08/294 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.) कंपरि.सं. /113 /03.10.042/2007-08 23 अप्रैल 2008 सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ विविध गैर बैंकिंग कंपनियाँ और अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियाँ   प्रिय महोदय   अपने ग्राहकों को जानने (केवाईसी) संबंधी मानक /धनशोधन निवारण मानदण्ड (ऐंटी मनी लांडरिडग स्टैंडर्ड) /आतंकवाद के वित्तपोषण के खिलाफ संघर्ष(सीएफटी)   कृपया उल्लिखित विषय पर 21 फरवरी 2005 का हमारा कंपनी परिपत्र गैबैंपवि.(नीति प्रभा.) कंपरि. सं. 48/10.42/2004-05
अप्रैल 22, 2008
प्रतिभूतिकरण कंपनियों/पुनर्संरचना कंपनियों का विनियमन- प्रतिभूति(सिक्युरिटी )रसीदें जारी करते समय प्रकटीकरण
भारिबैं./2007-08/291 गैबैंपवि.(नीप्रभा) कंपरि. सं. 9 /एससीआरसी/10.30.000/2007-08 22 अप्रैल 2008 पंजीकृत सभी प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ/पुनर्संरचना कंपनियाँप्रिय महोदयप्रतिभूतिकरण कंपनियों/पुनर्संरचना कंपनियों का विनियमन- प्रतिभूति(सिक्युरिटी )रसीदें जारी करते समय प्रकटीकरण कृपया प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ/पुनर्संरचना कंपनियाँ (रिज़र्व बैंक) मार्गदर्शी सिद्धांत तथा निदेश 2003 संबंधी 23 अप्रैल 2003 की अधिसूचना सं. गैबैंपवि. 2/सीजीएम(सीएसएम)-2003 का पैरा 8 एवं 28 मई 2007 के परिपत्
भारिबैं./2007-08/291 गैबैंपवि.(नीप्रभा) कंपरि. सं. 9 /एससीआरसी/10.30.000/2007-08 22 अप्रैल 2008 पंजीकृत सभी प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ/पुनर्संरचना कंपनियाँप्रिय महोदयप्रतिभूतिकरण कंपनियों/पुनर्संरचना कंपनियों का विनियमन- प्रतिभूति(सिक्युरिटी )रसीदें जारी करते समय प्रकटीकरण कृपया प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ/पुनर्संरचना कंपनियाँ (रिज़र्व बैंक) मार्गदर्शी सिद्धांत तथा निदेश 2003 संबंधी 23 अप्रैल 2003 की अधिसूचना सं. गैबैंपवि. 2/सीजीएम(सीएसएम)-2003 का पैरा 8 एवं 28 मई 2007 के परिपत्
मार्च 05, 2008
प्रतिभूतिकरण कंपनियों (एससी) पुनर्सरचना कंपनियों (आरसी) का विनियमन- एससी/आरसी द्वारा विवरणियों एवं लेखापरीक्षित तुलनपत्र (बैंलेसशीट) का प्रस्तुतीकरण
भारिबैं/2007-08/258 गैंबैंपवि.(नीति प्रभा) कंपरि.सं.8/एससीआरसी/10.30.000/2007-08 5 मार्च 2008 सभी पंजीकृ त प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ /पुनर्सरचना कंपनियाँ प्रतिभूतिकरण कंपनियों (एससी) पुनर्सरचना कंपनियों (आरसी) का विनियमन- एससी/आरसी द्वारा विवरणियों एवं लेखापरीक्षित तुलनपत्र (बैंलेसशीट) का प्रस्तुतीकरण25 अप्रैल 2007 के अपने पिछले कंपनी परिपत्र सं.5/एससीआरसी/10.30.000/2006-07 में आंशिक संशोधन करते हुए , बैंक के पास पंजीकृत सभी प्रतिभूतिकरण कंपनियों /पुनर्संरचना कंपनियों को
भारिबैं/2007-08/258 गैंबैंपवि.(नीति प्रभा) कंपरि.सं.8/एससीआरसी/10.30.000/2007-08 5 मार्च 2008 सभी पंजीकृ त प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ /पुनर्सरचना कंपनियाँ प्रतिभूतिकरण कंपनियों (एससी) पुनर्सरचना कंपनियों (आरसी) का विनियमन- एससी/आरसी द्वारा विवरणियों एवं लेखापरीक्षित तुलनपत्र (बैंलेसशीट) का प्रस्तुतीकरण25 अप्रैल 2007 के अपने पिछले कंपनी परिपत्र सं.5/एससीआरसी/10.30.000/2006-07 में आंशिक संशोधन करते हुए , बैंक के पास पंजीकृत सभी प्रतिभूतिकरण कंपनियों /पुनर्संरचना कंपनियों को
मार्च 05, 2008
धोखाधड़ी -गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों में धोखाधड़ी रोकने की निगरानी के लिए भावी दृष्टिकोण
भारिबैं/2007-08/ 257 गैबैंपवि. नीप्रभा. कंपरि. सं./ 112 /03.10.42/2007-2008 5 मार्च 2008जमा स्वीकारने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ (अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियें सहित) प्रिय महोदय धोखाधड़ी -गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों में धोखाधड़ी रोकने की निगरानी के लिए भावी दृष्टिकोण कृपया उल्लिखित विषय पर 4 सितंबर 2007 का कंपनी परिपत्र(सीसी) सं. 106 देखें जिसे अब निम्नवत संशोधित किया गया है: पैरा 2.2 - ऊपर मद (घ और च ) में संदर्भित ‘लापरवाही और नकदी की कमी’ तथा ‘विदेशी मुद
भारिबैं/2007-08/ 257 गैबैंपवि. नीप्रभा. कंपरि. सं./ 112 /03.10.42/2007-2008 5 मार्च 2008जमा स्वीकारने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ (अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियें सहित) प्रिय महोदय धोखाधड़ी -गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों में धोखाधड़ी रोकने की निगरानी के लिए भावी दृष्टिकोण कृपया उल्लिखित विषय पर 4 सितंबर 2007 का कंपनी परिपत्र(सीसी) सं. 106 देखें जिसे अब निम्नवत संशोधित किया गया है: पैरा 2.2 - ऊपर मद (घ और च ) में संदर्भित ‘लापरवाही और नकदी की कमी’ तथा ‘विदेशी मुद
फ़र॰ 15, 2008
Regulatory Framework for Mortgage Guarantee Company
RBI/2007-2008/238DNBS/PD(MGC) C.C. 1 / 03.11.001 /2007-08 February 15, 2008Regulatory Framework for Mortgage Guarantee CompanyPlease refer to Company Circular DNBS/PD(MGC) C.C.111/ 03.11.001 /2007-08 dated January 15, 2008 on the captioned subject wherein Mortgage Guarantee Company have been specified as non-banking financial company in terms of powers conferred upon the Bank under Section 45 I (f) (iii) of the RBI Act, 1934. 2. The Bank has since finalised Guidelines
RBI/2007-2008/238DNBS/PD(MGC) C.C. 1 / 03.11.001 /2007-08 February 15, 2008Regulatory Framework for Mortgage Guarantee CompanyPlease refer to Company Circular DNBS/PD(MGC) C.C.111/ 03.11.001 /2007-08 dated January 15, 2008 on the captioned subject wherein Mortgage Guarantee Company have been specified as non-banking financial company in terms of powers conferred upon the Bank under Section 45 I (f) (iii) of the RBI Act, 1934. 2. The Bank has since finalised Guidelines
जन॰ 15, 2008
बंधक(मार्गेज) गारंटी कंपनियों के लिए विनियामक संरचना(फ्रेमवर्क)
भारिबैं/2007- 2008/224 गैबैंपवि.नीप्रभा.(एमजीसी) कंपरि. सं./ 111 /03.11.001/2007-08 15 जनवरी 2008  बंधक(मार्गेज) गारंटी कंपनियों के लिए विनियामक संरचना(फ्रेमवर्क) यह स्मरण होगा कि वर्ष 2007-08 के लिए संघीय बजट प्रस्तावों की घोषणा करते समय माननीय वित्त मंत्री, भारत सरकार ने घोषणा की थी कि :"हमारी (आम) जनता आवास ऋण चाहती ही। बंधक रखकर उधार देने वाले बैंकों एवं आवास वित्त कंपनियों के लिए यह और सुगम होगा यदि बंधक की गारंटी त्रिपक्षीय अर्थात उधारकर्ता, उधारदाता और गार
भारिबैं/2007- 2008/224 गैबैंपवि.नीप्रभा.(एमजीसी) कंपरि. सं./ 111 /03.11.001/2007-08 15 जनवरी 2008  बंधक(मार्गेज) गारंटी कंपनियों के लिए विनियामक संरचना(फ्रेमवर्क) यह स्मरण होगा कि वर्ष 2007-08 के लिए संघीय बजट प्रस्तावों की घोषणा करते समय माननीय वित्त मंत्री, भारत सरकार ने घोषणा की थी कि :"हमारी (आम) जनता आवास ऋण चाहती ही। बंधक रखकर उधार देने वाले बैंकों एवं आवास वित्त कंपनियों के लिए यह और सुगम होगा यदि बंधक की गारंटी त्रिपक्षीय अर्थात उधारकर्ता, उधारदाता और गार
दिस॰ 14, 2007
अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनी (रिज़र्व बैंक) निदेश, 1987-जमाराशियों की विलंब से अदायगी करने पर ब्याज का भुगतान
भारिबैं/2007-08/211 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.)कंपरि.सं. 110/04 .18.001/2007-08 14 दिसंबर 2007 अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियाँ (RNBCs)प्रिय महोदय अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनी (रिज़र्व बैंक) निदेश, 1987-जमाराशियों की विलंब से अदायगी करने पर ब्याज का भुगतान कृपया अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनी (रिज़र्व बैंक) निदेश, 1987 का अवलोकन करें। उल्लिखित निदेश के पैरा 5ए के अनुसार अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियों के लिए यह अनिवार्य है कि वे जमाराशियों की परिक्वता की तारीख से कम से कम दो माह पूर्व जम
भारिबैं/2007-08/211 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.)कंपरि.सं. 110/04 .18.001/2007-08 14 दिसंबर 2007 अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियाँ (RNBCs)प्रिय महोदय अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनी (रिज़र्व बैंक) निदेश, 1987-जमाराशियों की विलंब से अदायगी करने पर ब्याज का भुगतान कृपया अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनी (रिज़र्व बैंक) निदेश, 1987 का अवलोकन करें। उल्लिखित निदेश के पैरा 5ए के अनुसार अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियों के लिए यह अनिवार्य है कि वे जमाराशियों की परिक्वता की तारीख से कम से कम दो माह पूर्व जम
नव॰ 26, 2007
Unsolicited Commercial Communications - National Do Not Call Registry
RBI/2007-08/193 DNBS.PD/ C.C No.109/03.10.001/2007-08 November 26, 2007 All Non-Banking Financial Companies Dear Sir, Unsolicited Commercial Communications - National Do Not Call Registry It is an emerging practice in India to engage agents/outsource business operations for the purpose of soliciting or promoting any commercial transactions using telecommunication mode. There is a need to protect the right to privacy of the members of public and to curb the complaints
RBI/2007-08/193 DNBS.PD/ C.C No.109/03.10.001/2007-08 November 26, 2007 All Non-Banking Financial Companies Dear Sir, Unsolicited Commercial Communications - National Do Not Call Registry It is an emerging practice in India to engage agents/outsource business operations for the purpose of soliciting or promoting any commercial transactions using telecommunication mode. There is a need to protect the right to privacy of the members of public and to curb the complaints
नव॰ 22, 2007
मुचुअल बेनीफिट फायनांसियल कंपनियों (MBFCs/निधि) एवं मुचुअल बेनीफिट कंपनियों (MBCs/संभावित निधि) का विनियमन
भारिबैं/2007-08 /192 गैबैंपवि.(नीति प्रभा). कंपरिपत्र सं./ 108 /03.02.21/2007-08 नवंबर 22, 2007 मुचुअल बेनीफिट फायनांसियल कंपनियाँ(निधि) एवं मुचुअल बेनीफिट कंपनियाँ (संभावित निधि)प्रिय महोदय मुचुअल बेनीफिट फायनांसियल कंपनियों (MBFCs/निधि) एवं मुचुअल बेनीफिट कंपनियों (MBCs/संभावित निधि) का विनियमन जैसाकि आपको विदित है कि कंपनी कार्य मंत्रालय वर्ष 2001 से मुचुअल बेनीफिट फायनांसियल कंपनियों (अधूसूचित निधि) एवं मुचुअल बेनीफिट कंपनियों (संभावित निधि) का सघन विनियमन करता है
भारिबैं/2007-08 /192 गैबैंपवि.(नीति प्रभा). कंपरिपत्र सं./ 108 /03.02.21/2007-08 नवंबर 22, 2007 मुचुअल बेनीफिट फायनांसियल कंपनियाँ(निधि) एवं मुचुअल बेनीफिट कंपनियाँ (संभावित निधि)प्रिय महोदय मुचुअल बेनीफिट फायनांसियल कंपनियों (MBFCs/निधि) एवं मुचुअल बेनीफिट कंपनियों (MBCs/संभावित निधि) का विनियमन जैसाकि आपको विदित है कि कंपनी कार्य मंत्रालय वर्ष 2001 से मुचुअल बेनीफिट फायनांसियल कंपनियों (अधूसूचित निधि) एवं मुचुअल बेनीफिट कंपनियों (संभावित निधि) का सघन विनियमन करता है
अक्तू॰ 10, 2007
Guidelines on Fair Practices Code for Non-Banking Financial Companies
RBI/2007-08/158 DNBS.PD/ CC. No. / 03.10.042 /2007-08 October 10, 2007 All Non-Banking Financial Companies (including Residuary Non-Banking Companies) Dear Sir, Guidelines on Fair Practices Code for Non-Banking Financial Companies Please refer to our Company Circular DNBS (PD) CC No. 80 / 03.10.042 / 2005-06 dated September 28, 2006 wherein guidelines were issued to NBFCs (including RNBCs) for framing the Fair Practices Code. In terms of paragraph (ii) of the Annex to
RBI/2007-08/158 DNBS.PD/ CC. No. / 03.10.042 /2007-08 October 10, 2007 All Non-Banking Financial Companies (including Residuary Non-Banking Companies) Dear Sir, Guidelines on Fair Practices Code for Non-Banking Financial Companies Please refer to our Company Circular DNBS (PD) CC No. 80 / 03.10.042 / 2005-06 dated September 28, 2006 wherein guidelines were issued to NBFCs (including RNBCs) for framing the Fair Practices Code. In terms of paragraph (ii) of the Annex to
सित॰ 04, 2007
धोखाधड़ी -गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों में धोखाधड़ी रोकने की निगरानी के लिए भावी दृष्टिकोण
भारिबैं/2007-08/130 गैबैंपवि. नीप्र. सीसी/ 106 /03.10.42/2007-2008 4 सितंबर 2007 जमा स्वीकारने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ (अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियें सहित) प्रिय महोदय धोखाधड़ी -गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों में धोखाधड़ी रोकने की निगरानी के लिए भावी दृष्टिकोण कृपया आप उल्लिखित विषय पर 26 अत्तूबर 2005 का कंपनी परिपत्र(सीसी) सं. 59 देखें। उक्त परिपत्र के पैराग्राफ 3.1.4 में सूचित किया गया था कि 25 लाख रुपए एवं अधिक की धोखाधड़ियों वाले मामले में FMR-1 विवरणी
भारिबैं/2007-08/130 गैबैंपवि. नीप्र. सीसी/ 106 /03.10.42/2007-2008 4 सितंबर 2007 जमा स्वीकारने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ (अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनियें सहित) प्रिय महोदय धोखाधड़ी -गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों में धोखाधड़ी रोकने की निगरानी के लिए भावी दृष्टिकोण कृपया आप उल्लिखित विषय पर 26 अत्तूबर 2005 का कंपनी परिपत्र(सीसी) सं. 59 देखें। उक्त परिपत्र के पैराग्राफ 3.1.4 में सूचित किया गया था कि 25 लाख रुपए एवं अधिक की धोखाधड़ियों वाले मामले में FMR-1 विवरणी
जुल॰ 31, 2007
कार्पोरेट बांड लेनदेनों के लिए निर्धारित आय मुद्रा बाजार और व्युत्पन्न(डेरिवेटिव्ज़) संघ(इर्Iश्श्अ्ीं) का रिपोर्टिंग प्लेटफार्म

भारिबैं/2007-08/105 गैबैंपवि.नीप्र. कंपरि./ 96 /03.10.001/2007-0831 जुलाई 2007सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कं पनियाँ(एनबीएफसी)प्रिय महोदय,कार्पोरेट बांड लेनदेनों के लिए निर्धारित आय मुद्रा बाजार और व्युत्पन्न(डेरिवेटिव्ज़) संघ(इर्Iश्श्अ्ीं) का रिपोर्टिंग प्लेटफार्मआपको विदित है कि कार्पोरेट बांडों एवं प्रतिभूतिकरण के संबंध में गठित उच्च स्तरीय विशेषज्ञ समिति (पाटिल समिति) ने कार्पोरेट बांडों के बाजार में और पादर्शिता लाने तथा इस बाजार को और विकसित करने के दृष्टिकोण से कार्

भारिबैं/2007-08/105 गैबैंपवि.नीप्र. कंपरि./ 96 /03.10.001/2007-0831 जुलाई 2007सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कं पनियाँ(एनबीएफसी)प्रिय महोदय,कार्पोरेट बांड लेनदेनों के लिए निर्धारित आय मुद्रा बाजार और व्युत्पन्न(डेरिवेटिव्ज़) संघ(इर्Iश्श्अ्ीं) का रिपोर्टिंग प्लेटफार्मआपको विदित है कि कार्पोरेट बांडों एवं प्रतिभूतिकरण के संबंध में गठित उच्च स्तरीय विशेषज्ञ समिति (पाटिल समिति) ने कार्पोरेट बांडों के बाजार में और पादर्शिता लाने तथा इस बाजार को और विकसित करने के दृष्टिकोण से कार्

जुल॰ 11, 2007
कार्पोरेट गवर्नेंस केसंबंधमें मार्गदर्शी सिद्धांत
भारिबैं/2007-08/92 गैबैंपवि.नीप्रभा./कंपरि. 104/03.10.042/2007-08 11 जुलाई 2007 अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालक अधिकारी जमाराशियाँ स्वीकार करनेवाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ, जिनके पास जमाराशियाँ 20 करोड़ रुपए एवं अधिक हैं।जमाराशियाँ स्वीकार न करने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ, जिनकी परिसंपत्तियाँ 100 करोड़ रुपए एवं अधिक हैं(एनबीएफसी-एनडी-एसआई)— महोदयकार्पोरेट गवर्नेंस केसंबंधमें मार्गदर्शी सिद्धांत कृपया उपर्युक्त विषय पर 8 मई 2007 का हमारा परिपत्र सं. गैबैंप
भारिबैं/2007-08/92 गैबैंपवि.नीप्रभा./कंपरि. 104/03.10.042/2007-08 11 जुलाई 2007 अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालक अधिकारी जमाराशियाँ स्वीकार करनेवाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ, जिनके पास जमाराशियाँ 20 करोड़ रुपए एवं अधिक हैं।जमाराशियाँ स्वीकार न करने वाली सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ, जिनकी परिसंपत्तियाँ 100 करोड़ रुपए एवं अधिक हैं(एनबीएफसी-एनडी-एसआई)— महोदयकार्पोरेट गवर्नेंस केसंबंधमें मार्गदर्शी सिद्धांत कृपया उपर्युक्त विषय पर 8 मई 2007 का हमारा परिपत्र सं. गैबैंप
मई 28, 2007
प्रतिभूतिकरण कंपनी/पुनर्संरचना कंपनी द्वारा जारी सिक्युरिटी रसीदों के निवल परिसंपत्ति मूल्य की घोषणा करने के संबंध में मार्गदर्शी सिद्धांत
भारिबैं./2006-07/420 गैबैंपवि.(नीप्रभा) कंपरिप. सं. 6/एससीआरसी/10.30.049/2006-07 28 मई 2007 पंजीकृत सभी प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ/पुनर्संरचना कंपनियाँप्रिय महोदयप्रतिभूतिकरण कंपनी/पुनर्संरचना कंपनी द्वारा जारी सिक्युरिटी रसीदों के निवल परिसंपत्ति मूल्य की घोषणा करने के संबंध में मार्गदर्शी सिद्धांतप्रतिभूतिकरण कंपनी/पुनर्संरचना कंपनी द्वारा जारी सिक्युरिटी रसीदों के निवल परिसंपत्ति मूल्य की जानकारी अर्ह संस्थागत क्रेताओं को हो सके, एतदर्थ यह निर्णय लिया गया है कि वित्तीय
भारिबैं./2006-07/420 गैबैंपवि.(नीप्रभा) कंपरिप. सं. 6/एससीआरसी/10.30.049/2006-07 28 मई 2007 पंजीकृत सभी प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ/पुनर्संरचना कंपनियाँप्रिय महोदयप्रतिभूतिकरण कंपनी/पुनर्संरचना कंपनी द्वारा जारी सिक्युरिटी रसीदों के निवल परिसंपत्ति मूल्य की घोषणा करने के संबंध में मार्गदर्शी सिद्धांतप्रतिभूतिकरण कंपनी/पुनर्संरचना कंपनी द्वारा जारी सिक्युरिटी रसीदों के निवल परिसंपत्ति मूल्य की जानकारी अर्ह संस्थागत क्रेताओं को हो सके, एतदर्थ यह निर्णय लिया गया है कि वित्तीय
मई 24, 2007
Complaints about excessive interest charged by NBFCs
RBI/2006-2007/414DNBS.PD/ CC.No. 95 /03.05.002 /2006-07May 24, 2007To,All Non-Banking Financial Companies (NBFCs)Including Residuary Non- Banking Companies (RNBCs)Dear Sir,Complaints about excessive interest charged by NBFCsThe Reserve Bank has been receiving several complaints regarding levying of excessive interest and charges on certain loans and advances by NBFCs.2. Though interest rates are not regulated by the Bank, rates of interest beyond a certain level may b
RBI/2006-2007/414DNBS.PD/ CC.No. 95 /03.05.002 /2006-07May 24, 2007To,All Non-Banking Financial Companies (NBFCs)Including Residuary Non- Banking Companies (RNBCs)Dear Sir,Complaints about excessive interest charged by NBFCsThe Reserve Bank has been receiving several complaints regarding levying of excessive interest and charges on certain loans and advances by NBFCs.2. Though interest rates are not regulated by the Bank, rates of interest beyond a certain level may b
मई 08, 2007
Guidelines on Corporate Governance
RBI/2006-2007/385DNBS.PD/CC 94/03.10.042/2006-07May 8, 2007The Chairman/CEO1. All Deposit taking NBFCs with deposit size of Rs 20 crore and above2. All non-deposit taking NBFCs with asset size of Rs 100 crore and above (NBFC-ND-SI).Dear Sir,Guidelines on Corporate Governance As it is evident, the need for good corporate governance has been gaining increased emphasis over the years. Globally, companies are adopting best corporate practices to increase the investors con
RBI/2006-2007/385DNBS.PD/CC 94/03.10.042/2006-07May 8, 2007The Chairman/CEO1. All Deposit taking NBFCs with deposit size of Rs 20 crore and above2. All non-deposit taking NBFCs with asset size of Rs 100 crore and above (NBFC-ND-SI).Dear Sir,Guidelines on Corporate Governance As it is evident, the need for good corporate governance has been gaining increased emphasis over the years. Globally, companies are adopting best corporate practices to increase the investors con
अप्रैल 27, 2007
Supervisory Framework for Systemically Important non-deposit taking/holding NBFCs (NBFC-ND-SI)
RBI/2006-2007/355 DNBS.PD/ CC.No. 93 / 03.05.002 /2006-07April 27, 2007 All Systemically Important Non-Banking Financial Companies (non-deposit taking NBFCs with assets size of Rs 100 crore and above) Except Government NBFC-ND-SI Dear Sir,Supervisory Framework for Systemically Important non-deposit taking/holding NBFCs (NBFC-ND-SI) Please refer to our Company Circular DNBS.PD/ CC.No. 86/ 03.02.089 /2006-07 dated December 12, 2006. To ensure adherence to compliance wit
RBI/2006-2007/355 DNBS.PD/ CC.No. 93 / 03.05.002 /2006-07April 27, 2007 All Systemically Important Non-Banking Financial Companies (non-deposit taking NBFCs with assets size of Rs 100 crore and above) Except Government NBFC-ND-SI Dear Sir,Supervisory Framework for Systemically Important non-deposit taking/holding NBFCs (NBFC-ND-SI) Please refer to our Company Circular DNBS.PD/ CC.No. 86/ 03.02.089 /2006-07 dated December 12, 2006. To ensure adherence to compliance wit
अप्रैल 25, 2007
वित्तीय परिसंपत्तियों के प्रतिभूतिकरण और पुनर्संरचना तथा प्रतिभूति हित प्रवर्तन अधिनियम(SRFAESI Act) की धारा 3(4) के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक के पास
भारिबैं/2006-2007/346 गैबैंपवि.(नी.प्रभा.) सी.सी. 5 /SCRC/10.30.000/2006-2007 25 अप्रैल 2007 सभी पंजीकृत प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ/पुनर्संरचना कंपनियाँवित्तीय परिसंपत्तियों के प्रतिभूतिकरण और पुनर्संरचना तथा प्रतिभूति हित प्रवर्तन अधिनियम(SRFAESI Act) की धारा 3(4) के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक के पास पंजीकृत प्रतिभूतिकरण कंपनियों/पुनर्संरचना कंपनियों द्वारा तिमाही विवरण का प्रस्तुतीकरण वित्तीय परिसंपत्तियों के प्रतिभूतिकरण और पुनर्संरचना तथा प्रतिभूति हित प्रवर्तन अ
भारिबैं/2006-2007/346 गैबैंपवि.(नी.प्रभा.) सी.सी. 5 /SCRC/10.30.000/2006-2007 25 अप्रैल 2007 सभी पंजीकृत प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ/पुनर्संरचना कंपनियाँवित्तीय परिसंपत्तियों के प्रतिभूतिकरण और पुनर्संरचना तथा प्रतिभूति हित प्रवर्तन अधिनियम(SRFAESI Act) की धारा 3(4) के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक के पास पंजीकृत प्रतिभूतिकरण कंपनियों/पुनर्संरचना कंपनियों द्वारा तिमाही विवरण का प्रस्तुतीकरण वित्तीय परिसंपत्तियों के प्रतिभूतिकरण और पुनर्संरचना तथा प्रतिभूति हित प्रवर्तन अ

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