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भारतीय उद्योग में विदेशी सहयोग (एफसीएस) पर द्विवार्षिक सर्वेक्षण

सर्वेक्षण लॉन्च का विवरण

उत्तर: आरबीआई हर साल जून के महीने में एफसीएस सर्वेक्षण शुरू करता है और अंतिम दो वित्तीय वर्ष में मार्च-अंत संदर्भ तिथि के रूप में होते हैं।

प्राथमिकता-प्राप्त क्षेत्र को उधार संबंधी दिशानिर्देशों के मास्टर निदेशों पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

ग. पीएसएल उपलब्धि में भारांक के लिए समायोजन

उत्तर: यदि ऋण में गिरावट होती है, तो भारांक वृद्धिशील ऋण शून्य (0) होगा। नीचे दी गई गणना-पद्धति के अनुसार उन सभी जिलों का विचार किया जाएगा, जिनसे संबंधित डेटा एडेप्ट (ADEPT) पोर्टल और जिला-क्यूपीएसए विवरणी में प्रस्तुत किया गया है। इसके अतिरिक्त, बैंकों से यह अपेक्षा की जाती है कि वे ऊपर वर्णित गणना-पद्धति के आधार पर, चिन्हित किए गए जिलों में विभेदक भारांक के निर्देश को ध्यान में रखते हुए, पीएसएलसी में लेनदेन के उद्देश्य से, वर्ष के दौरान अपनी स्वयं की पीएसएल लक्ष्यों की उपलब्धि की निगरानी करें।

उत्तर: किसी विशेष जिले में क्रेडिट सुविधा की मैपिंग के लिए, 'ऋण के उपयोग का स्थान' योग्यता मानदंड होगा।

उत्तर: भारांक निर्धारित करने के लिए जिला-वार वृद्धिशील ऋण की गणना करते समय, आंगिक ऋण अर्थात केवल बैंकों द्वारा सीधे संवितरित ऋण और जिसके लिए वास्तविक उधारकर्ता/लाभार्थी-वार विवरण बैंक की बहियों में रखा जाता है, पर विचार किया जाएगा। निम्नलिखित अनांगिक मार्गों के माध्यम से संवितरित ऋण पर वृद्धिशील भारांक के लिए विचार नहीं किया जाएगा:

  1. बैंकों द्वारा प्रतिभूत आस्तियों में निवेश
  2. प्रत्यक्ष समनुदेशन/एकमुश्त खरीद के माध्यम से आस्तियों का हस्तांतरण
  3. अंतर बैंक सहभागिता प्रमाणपत्र (आईबीपीसी)
  4. प्राथमिकता-प्राप्त क्षेत्र को उधार प्रमाणपत्र (पीएसएलसी)
  5. एमएफआई (एनबीएफसी-एमएफआई, सोसायटी, ट्रस्ट, आदि) को ऑन-लेंडिंग के लिए बैंक ऋण
  6. ऑन-लेंडिंग के लिए एनबीएफसी को बैंक ऋण
  7. ऑन-लेंडिंग के लिए एचएफसी को बैंक ऋण

घ) कृषि

उत्तर: पीएसएल दिशानिर्देश गतिविधि और लाभार्थी विशिष्ट हैं और संपार्श्विक के प्रकार पर आधारित नहीं हैं। इसलिए कृषि गतिविधियों को संचालित करने के लिए व्यक्तियों / व्यवसायों को दिए गए बैंक ऋण केवल इस तथ्य के कारण कि अंतर्निहित आस्ति स्वर्ण आभूषण/गहने आदि हैं, वे स्वतः ही प्राथमिकता-प्राप्त क्षेत्र के वर्गीकरण के लिए अपात्र नहीं हो जाते हैं। तथापि, यह नोट किया जाए कि दिनांक 06 दिसम्बर 2024 के एफआईडीडी परिपत्र के अनुसार यह सूचित किया गया है कि बैंक ₹2 लाख तक के कृषि ऋणों के लिए संपार्श्विक प्रतिभूति और मार्जिन आवश्यकताओं में छूट दे सकते हैं। अतः बैंक को कृषि संबंधी गतिविधि के संचालन हेतु वित्त-मान और ऋण आवश्यकता के आकलन के आधार पर ऋण देना चाहिए न कि केवल स्वर्ण के रूप में उपलब्ध संपार्श्विक के आधार पर। इसके अतिरिक्त, जैसा कि पीएसएल के तहत सभी ऋणों पर लागू होता है, बैंकों को यह सुनिश्चित करने के लिए उचित आंतरिक नियंत्रण और प्रणाली स्थापित करनी चाहिए कि पीएसएल के तहत दिए गए ऋण स्वीकृत उद्देश्यों के लिए हैं और अंतिम उपयोग की निरंतर निगरानी की जाती है।

आवास ऋण

आप समान मासिक किश्तों (ईएमआई) में मूलधन और ब्याज दोनों को शामिल करते हुए ऋण चुकाते हैं। ईएमआई के माध्यम से चुकौती उस महीने के अगले महीने से शुरू होती है जिसमें आप पूर्ण संवितरण लेते हैं। (यह समझने के लिए कि ईएमआई की गणना कैसे की जाती है, कृपया अनुबंध देखें)।

लक्षित दीर्घकालिक रिपो परिचालन (टीएलटीआरओ)

उत्तर: टीएलटीआरओ योजना के तहत प्राप्त की जाने वाली निर्दिष्ट प्रतिभूतियों पर कोई परिपक्वता प्रतिबंध नहीं है। हालांकि, बैंक के एचटीएम पोर्टफोलियो में निर्दिष्ट प्रतिभूतियों की लंबित राशि टीएलटीआरओ योजना के तहत प्राप्त राशि के स्तर से कम नहीं होनी चाहिए।

FAQs on Non-Banking Financial Companies

Registration

All the NBFCs which were incorporated before January 9, 1997 were required to submit their Application for Registration with RBI within 6 months i.e. by July 8, 1997. The companies which failed to make such an application cannot carry on their business of a financial institution. Any violation of this provision would render the companies and their management liable for penal action under the provisions of Reserve Bank of India Act, 1934.

समझौता निपटान और तकनीकी रूप से बट्टे खाते डालने (राइट-ऑफ) के लिए रूपरेखा

ए. इरादतन कर्ज़ न चुकाने और धोखाधड़ी के मामलों में समझौता निपटान

नहीं। धोखाधड़ी पर दिनांक 1 जुलाई 2016 को जारी मास्टर दिशानिर्देश और दिनांक 1 जुलाई 2015 को इरादतन चूककर्ताओं पर जारी मास्टर परिपत्र के अनुसार, जैसा कि ऊपर (2) में उल्लिखित है, धोखाधड़ी अथवा इरादतन चूककर्ता के रूप में वर्गीकृत उधारकर्ताओं के संबंध में लागू दंडात्मक उपायों पर प्रतिकूल प्रभाव डाले बिना, समझौता निपटान के सामान्य मामलों के लिए कूलिंग अवधि को एक सामान्य निर्धारण के रूप में प्रस्तुत किया गया है।

विप्रेषण (धन अंतरण सेवा योजना (एमटीएसएस) तथा रुपया आहरण व्यवस्था (आरडीए))

रुपया आहरण व्यवस्था(आरडीए)

एडी श्रेणी –I के बैंक द्वारा जब किसी अनिवासी विनिमय गृह के साथ आरडीए की प्रथम व्यवस्था केवल तब भारतीय रिज़र्व बैंक की अनुमति आवश्यक है। उसके बाद एडी श्रेणी-I बैंक निर्धारित दिशानिर्देश तथा रिज़र्व बैंक को उसकी तुरंत सूचना देने के अधीन आरडीए में शामिल हो सकते हैं।

फेमा 1999 के तहत विदेशी देयताओं और परिसंपत्तियों (एफएलए) पर वार्षिक रिटर्न

एफएलए रिटर्न जमा करने के लिए पात्र संस्थाएं और आवश्यकताएं

उत्तर: नियत तारीख (प्रत्येक वर्ष की 15 जुलाई) को या उससे पहले रिटर्न दाखिल न करने को फेमा का उल्लंघन माना जाएगा और फेमा के उल्लंघन के लिए जुर्माना खंड लगाया जा सकता है। जुर्माना खंड के बारे में अधिक जानकारी के लिए, कृपया नीचे दिए गए लिंक को देखें:

  1. Notification No. FEMA. 395/2019-RB dated October 17, 2019.

  2. A.P. (DIR Series) Circular No.16 dated September 30, 2022.

रिटेल डायरेक्ट योजना

योजना संबन्धित प्रश्न

i. सरकारी ट्रेजरी बिल (टी-बिल)

ii. सरकारी दिनांकित प्रतिभूतियाँ (दिनांकित जी-सेक)

iii. राज्य विकास ऋण (एसडीएल)

iv. राजकीय स्वर्ण बॉन्ड (एसजीबी)

देशी जमा

I . देशी जमा

मीयादी जमाराशियों पर तिमाही या उससे लंबी अवधि के अंतराल पर ब्याज दिया जा सकता है। उपचित तिमाही ब्याज को डिस्काउंट कर बैंक मासिक ब्याज दे सकते हैं।

दिनांक 31 जनवरी 2024 और 16 फरवरी 2024 की प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से पेटीएम पेमेंट्स बैंक लिमिटेड पर लगाए गए कारोबारी प्रतिबंध

पेटीएम पेमेंट्स बैंक में बैंक खाते

हाँ। 15 मार्च, 2024 के बाद भी आपके खाते में रिफंड, कैशबैक, साझेदार बैंकों से स्वीप-इन या ब्याज जमा करने की अनुमति होगी।

भारत में सरकारी प्रतिभूति बाजार – एक प्रवेशिका

3.1. सरकारी प्रतिभूतियाँ भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा आयोजित नीलामियों के माध्यम से जारी की जाती हैं । नीलामियाँ एनडीएस नीलामी मंच नामक इलैक्ट्रॉनिक मंच पर की जाती हैं । वाणिज्य बैंक, अनुसूचित शहरी सहकारी बैंक, प्राथमिक व्यापारी (प्राथमिक व्यापारियों की सूची उनके संपर्क ब्योरे सहित परिशिष्ट 2 में दी गई है), बीमा कंपनियाँ और भविष्य निधियाँ जो भारतीय रिज़र्व बैंक के पास निधि खातों (चालू खातों) और प्रतिभूति खातों का अनुरक्षण करते हैं, इस इलैक्ट्रॉनिक मंच के सदस्य हैं । पीडीओ-एनडीएस के सभी सदस्य इस इलैक्ट्रॉनिक मंच के माध्यम से अपनी बोलियाँ लगा सकते हैं । सभी गैर एनडीएस सदस्य, गैर अनुसूचित शहरी सहकारी बैंकों सहित, अनुसूचित वाणिज्य बैंकों और प्राथमिक व्यापारियों के माध्यम से प्राथमिक नीलामी में भाग ले सकते हैं । इस प्रयोजन के लिए शहरी सहकारी बैंकों को किसी बैंक/प्राथमिक व्यापारी के पास प्रतिभूति खाता खोलने की आवश्यकता है - ऐसे खाते को गिल्ट खाता कहा जाता है । गिल्ट खाता किसी अनुसूचित वाणिज्य बैंक अथवा प्राथमिक व्यापारी द्वारा अपने ग्राहक (उदा. गैर अनुसूचित शहरी बैंक) के लिए अनुरक्षित किया जाता है जिसे डीमेट खाता कहते हैं ।3.2. भारतीय रिज़र्व बैंक, भारत सरकार के परामर्श से सांकेतिक छमाही कैलेंडर जारी करता है जिसमें उधार की राशि, प्रतिभूति की अवधि और वह अवधि जिसमें नीलामी हो सकती है इत्यादि संबंधी जानकारी होती है । नीलामी की वास्तविक तारीख से लगभग एक सप्ताह पहले एक अधिसूचना और प्रेस विज्ञप्ति जारी की जाती है यथा नाम, राशि, निर्गम का स्वरूप और नीलामी की प्रक्रिया भारत सरकार द्वारा जारी की जाती है । भारतीय रिज़र्व बैंक अपनी वेबसाइट (www.rbi.org.in) पर एक अधिसूचना और प्रेस विज्ञप्ति जारी करने के साथ-साथ अंग्रेजी और हिंदी के प्रमुख समाचारपत्रों में विज्ञापन भी देता है । सरकारी और निजी क्षेत्र के बैंकों की चयनित शाखाओं तथा प्राथमिक व्यापारियों के पास भी नीलामी की जानकारी उपलब्ध होती है ।

बाह्य वाणिज्यिक उधार(ईसीबी) तथा व्यापार ऋण

ए. कुछ बुनियादी प्रश्न

उत्तर: विदेशों से लिए गए उधार समय- समय पर संशोधित दिनांक 17 दिसंबर 2018 की अधिसूचना सं. फेमा 3(आर)/2018 द्वारा जारी किए विदेशी मुद्रा प्रबंध (विदेशी मुद्रा में उधर लेना तथा उधार देना) विनियमावली, 2018 में निहित यथालागू ईसीबी दिशानिर्देशों / प्रावधानों के अनुपालन में होने चाहिए।

एनबीएफसी के बारे में आपके जानने योग्य संपूर्ण जानकारी

A. परिभाषाएं

गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियां, बैंकों की तरह कार्य करती है, तथापि इसमें निम्नलिखित अंतर है:

(i) गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनी मांग पर देय जमाराशियां स्वीकार नहीं कर सकती है।

(ii) गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनी भुगतान और निपटान प्रणाली का हिस्सा नहीं हैंऔर वे अपने ग्राहकों को चेक जारी नहीं कर सकती है और

(iii) गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के जमाकर्ताओं को, बैंकों के जमाकर्ताओं की असदृश निपेक्ष बीमा और प्रत्यय गारंटी निगम से निक्षेप बीमा की सुविधा प्राप्त नहीं है।

कोर निवेश कंपनियां

कोर निवेश कंपनियां (सीआईसी)

उत्तर: नहीं, मौजूदा सीआईसी जिन्हें पहले पंजीकरण से छूट दी गई है और जिनकी आस्ति का आकार 100 करोड़ रुपये से कम है, उन्हें जैसाकि, दिनांक 5 जनवरी, 2011 की अधिसूचना संख्या डीएनबीएस.(पीडी) 220/सीजीएम (यूएस)-2011 में वर्णित है पंजीकरण से छूट दी गई है। इसलिए उन्हें किसी भी लेखा परीक्षक से इस आशय का प्रमाण पत्र प्रस्तुत करने की आवश्यकता नहीं है कि वे अधिसूचना की आवश्यकताओं का अनुपालन करते हैं।

भारत में विदेशी निवेश

उत्तर: परिवर्तनीय लिखतों की अवधि कंपनी अधिनियम, 2013 के अंतर्गत बनाए गए अनुदेशों तथा उसके तहत बनाए गए नियमों के अनुसार होगी। तथापि निवेश प्राप्तकर्ता कंपनी को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि परिवर्तनीय पूंजीगत लिखतों की कीमत/ परिवर्तन का फॉर्मूला लिखतों के निर्गम के समय प्रारंभ में ही निर्धारित किया जाता है। परिवर्तन के समय की कीमत किसी भी स्थिति में ऐसे लिखतों के निर्गम के समय वर्तमान फेमा विनियमों के अनुसार अभिकलित उचित मूल्य से कम नहीं होनी चाहिए।

भारतीय मुद्रा

क) भारतीय मुद्रा/मुद्रा प्रबंधन से जुड़ी आधारभूत जानकारी

बैंक नोटों को चार मुद्रणालयों में मुद्रित किया जाता है । इसमें से दो का स्‍वामित्‍व, सिक्‍यूरिटी प्रिंटिंग एंड मिंन्टिंग कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (एसपीएमसीआईएल) के माध्‍यम से भारत सरकार के पास है, तथा दो का स्‍वामित्‍व उसके पूर्ण स्वामित्व वाली अनुषंगी संस्‍था, भारतीय रिज़र्व बैंकनोट मुद्रण प्राइवेट लिमिटेड (बीआरबीएनएमपीएल) के माध्‍यम से भारतीय रिज़र्व बैंक के पास है । एसपीएमसीआईएल की दो मुद्रण प्रेस नासिक (पश्चिमी भारत) तथा देवास (मध्य भारत) में स्थित हैं । बीआरबीएनएमपीएल की दो मुद्रण प्रेस मैसूर (दक्षिण भारत) तथा सालबोनी (पूर्वी भारत) में स्थित हैं ।

सिक्कों की ढलाई एसपीएमसीआईएल के स्वामित्व वाली चार टकसालों में की जाती है । ये टकसाल मुंबई, हैदराबाद, कोलकाता तथा नोएडा में स्थित हैं । भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम की धारा 38 के अनुसार संचलन हेतु सिक्‍के सिर्फ भारतीय रिज़र्व बैंक के माध्यम से जारी किए जाते हैं ।

श्रेणी पहलू

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कस्टम पहलू

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पृष्ठ अंतिम बार अपडेट किया गया: दिसंबर 10, 2022

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