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मास्टर परिपत्र

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जुल॰ 01, 2009
सितंबर 2009 तक सभी शेष स्वच्छकारों और उनके आश्रितों के पुनर्वास हेतु सामाजिक न्याय और सशक्तिकरण मंत्रालय की नई "मैला ढोने वाले स्वच्छकारों के पुनर्वास के लिए स्वरोजगार योजना" (एसआरएमएस) पर मास्टर परिपत्र
आरबीआइ /2009-10/34 ग्राआऋवि.एसपी.बीसी.सं. 6 /09.03.01/2009-10  1 जुलाई 2009 अध्यक्ष /प्रबंध निदेशकसार्वजनिक क्षेत्र के सभी बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर) महोदय, सितंबर 2009 तक सभी शेष स्वच्छकारों और उनके आश्रितों के पुनर्वास हेतु सामाजिक न्याय और सशक्तिकरण मंत्रालय की नई "मैला ढोने वाले स्वच्छकारों के पुनर्वास के लिए स्वरोजगार योजना" (एसआरएमएस) पर मास्टर परिपत्र भारतीय रिज़र्व बैंक ने पहले नई मेला ढोने वाले स्वच्छकारों के पुनर्वास के लिए स्वरोजगार योजन
आरबीआइ /2009-10/34 ग्राआऋवि.एसपी.बीसी.सं. 6 /09.03.01/2009-10  1 जुलाई 2009 अध्यक्ष /प्रबंध निदेशकसार्वजनिक क्षेत्र के सभी बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर) महोदय, सितंबर 2009 तक सभी शेष स्वच्छकारों और उनके आश्रितों के पुनर्वास हेतु सामाजिक न्याय और सशक्तिकरण मंत्रालय की नई "मैला ढोने वाले स्वच्छकारों के पुनर्वास के लिए स्वरोजगार योजना" (एसआरएमएस) पर मास्टर परिपत्र भारतीय रिज़र्व बैंक ने पहले नई मेला ढोने वाले स्वच्छकारों के पुनर्वास के लिए स्वरोजगार योजन
जुल॰ 01, 2009
प्रतिभूतिकरण कंपनियों तथा पुनर्संरचना (पुनर्निर्माण) कंपनियों को जारी निदेशों/अनुदेशों पर मास्टर परिपत्र
भारिबैं/2009-10/13 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.) कंपरि. 16 /26.03.001/2009-10 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी एससी/आरसी (SCs/RCs) प्रिय मोदय, प्रतिभूतिकरण कंपनियों तथा पुनर्संरचना (पुनर्निर्माण) कंपनियों को जारी निदेशों/अनुदेशों पर मास्टर परिपत्र आपको ज्ञात ही होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने मास्टर परिपत्र जारी किया था, उसे अब 30 जून 2009 तक अद्यतन कर दिया गया है। यह नोट किया जाए कि अनुबंध में
भारिबैं/2009-10/13 गैबैंपवि.(नीति प्रभा.) कंपरि. 16 /26.03.001/2009-10 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी एससी/आरसी (SCs/RCs) प्रिय मोदय, प्रतिभूतिकरण कंपनियों तथा पुनर्संरचना (पुनर्निर्माण) कंपनियों को जारी निदेशों/अनुदेशों पर मास्टर परिपत्र आपको ज्ञात ही होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने मास्टर परिपत्र जारी किया था, उसे अब 30 जून 2009 तक अद्यतन कर दिया गया है। यह नोट किया जाए कि अनुबंध में
जुल॰ 01, 2009
मास्टर परिपत्र - प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ तथा पुनर्संरचना कंपनियाँ (रिज़र्व बैंक )मार्गदर्शी सिद्धांत तथा निदेश 2003
भारिबैं/2009-2010/12 गैबैंपवि.(नीप्रभा) कंपरि. सं. 15/SCRC/26.03.001/2009-10 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी एससी/आरसी (SCs/RCs) प्रिय मोदय, प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ तथा पुनर्संरचना कंपनियाँ (रिज़र्व बैंक )मार्गदर्शी सिद्धांत तथा निदेश 2003 आपको ज्ञात ही होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने मास्टर परिपत्र जारी किया था, उसे अब 30 जून 2009 तक अद्यतन कर दिया गया है। यह नोट किया जाए कि 23 अप्रैल 20
भारिबैं/2009-2010/12 गैबैंपवि.(नीप्रभा) कंपरि. सं. 15/SCRC/26.03.001/2009-10 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी एससी/आरसी (SCs/RCs) प्रिय मोदय, प्रतिभूतिकरण कंपनियाँ तथा पुनर्संरचना कंपनियाँ (रिज़र्व बैंक )मार्गदर्शी सिद्धांत तथा निदेश 2003 आपको ज्ञात ही होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने मास्टर परिपत्र जारी किया था, उसे अब 30 जून 2009 तक अद्यतन कर दिया गया है। यह नोट किया जाए कि 23 अप्रैल 20
जुल॰ 01, 2009
मास्टर परिपत्र-"धन शोधन निवारण अधिनियम, 2002 में अधिसूचित नियमों के तहत गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के दायित्व"
भारिबैं/2009-10/10 गैबैंपवि(नीति प्रभा.)कंपरि.सं.152/03.10.42/2009-10 1 जुलाई 2009 सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ (एनबीएफसीज) विविध गैर बैंकिंग कंपनियाँ (एमएनबीसीज) और अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनिया (आरएनबीसीज) प्रिय महोदय, मास्टर परिपत्र-"धन शोधन निवारण अधिनियम, 2002 में अधिसूचित नियमों के तहत गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के दायित्व" आपको ज्ञात होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के उद्देश्य से भारतीय रिज़र्व बैंक विविध विषयों पर मास्टर
भारिबैं/2009-10/10 गैबैंपवि(नीति प्रभा.)कंपरि.सं.152/03.10.42/2009-10 1 जुलाई 2009 सभी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ (एनबीएफसीज) विविध गैर बैंकिंग कंपनियाँ (एमएनबीसीज) और अवशिष्ट गैर बैंकिंग कंपनिया (आरएनबीसीज) प्रिय महोदय, मास्टर परिपत्र-"धन शोधन निवारण अधिनियम, 2002 में अधिसूचित नियमों के तहत गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के दायित्व" आपको ज्ञात होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के उद्देश्य से भारतीय रिज़र्व बैंक विविध विषयों पर मास्टर
जुल॰ 01, 2009
मास्टर परिपत्र-"विविध गैर बैंकिंग कंपनियाँ (रिज़र्व बैंक) निदेश, 1977"
भारिबैं /2009-10/8 गैबैंपवि(नीति प्रभा.)कंपरि..सं.150/03.02.001/2009-10 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी विविध गैर बैंकिंग कंपनियाँ प्रिय महोदय, मास्टर परिपत्र-"विविध गैर बैंकिंग कंपनियाँ (रिज़र्व बैंक) निदेश, 1977" आपको ज्ञात होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने मास्टर परिपत्र सं.122 जारी किया था, उसे अब 30 जून, 2009 तक अद्यतन कर दिया गया है। यह नोट किया जाए कि फुट नोट में दी गई अधिसूचनाओं म
भारिबैं /2009-10/8 गैबैंपवि(नीति प्रभा.)कंपरि..सं.150/03.02.001/2009-10 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी विविध गैर बैंकिंग कंपनियाँ प्रिय महोदय, मास्टर परिपत्र-"विविध गैर बैंकिंग कंपनियाँ (रिज़र्व बैंक) निदेश, 1977" आपको ज्ञात होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने मास्टर परिपत्र सं.122 जारी किया था, उसे अब 30 जून, 2009 तक अद्यतन कर दिया गया है। यह नोट किया जाए कि फुट नोट में दी गई अधिसूचनाओं म
जुल॰ 01, 2009
मास्टर परिपत्र- "भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 के प्रावधानों से छूट"
भारिबैं /2009-10/6 गैबैंपवि(नीति प्रभा)कंपरि.सं.148 /03.02.004/2009-10   1 जुलाई 2009 (i) सचिव, वित्त मंत्रालय (ii) अध्यक्ष, भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (iii) अध्यक्ष, भारतीय सनदी लेखाकार संस्थान (iv) अध्यक्ष, भारतीय कंपनी सचिव संस्थान (v) गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के संघ(असोसिएशन)     प्रिय महोदय, मास्टर परिपत्र- "भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 के प्रावधानों से छूट" आपको ज्ञात होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर
भारिबैं /2009-10/6 गैबैंपवि(नीति प्रभा)कंपरि.सं.148 /03.02.004/2009-10   1 जुलाई 2009 (i) सचिव, वित्त मंत्रालय (ii) अध्यक्ष, भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (iii) अध्यक्ष, भारतीय सनदी लेखाकार संस्थान (iv) अध्यक्ष, भारतीय कंपनी सचिव संस्थान (v) गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों के संघ(असोसिएशन)     प्रिय महोदय, मास्टर परिपत्र- "भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 के प्रावधानों से छूट" आपको ज्ञात होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर
जुल॰ 01, 2009
मास्टर परिपत्र - भारतीय रिज़र्व बैंक (गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी) विवरणी विनिर्देश ,1997
भारिबैं.2009-10/5 गैबैंपवि(नीति प्रभा.) कंपरि सं. 147/03.02.01/2009-10 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/ मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां(जनता की जमाराशियां स्वीकार करनेवाली) और अवशिष्ट गैर-बैंकिंग कंपनियां महोदय मास्टर परिपत्र - भारतीय रिज़र्व बैंक (गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी) विवरणी विनिर्देश ,1997 आपको ज्ञात होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने मास्टर परिपत्र सं.119 जारी किया था, उसे अब 30 जून
भारिबैं.2009-10/5 गैबैंपवि(नीति प्रभा.) कंपरि सं. 147/03.02.01/2009-10 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/ मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां(जनता की जमाराशियां स्वीकार करनेवाली) और अवशिष्ट गैर-बैंकिंग कंपनियां महोदय मास्टर परिपत्र - भारतीय रिज़र्व बैंक (गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी) विवरणी विनिर्देश ,1997 आपको ज्ञात होगा कि उल्लिखित विषय पर सभी मौजूदा अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक ने मास्टर परिपत्र सं.119 जारी किया था, उसे अब 30 जून
जुल॰ 01, 2009
मास्टर परिपत्र - अग्रिमों के संबंध में आय निर्धारण, आस्ति वर्गीकरण तथा प्रावधान करने से संबंधित विवेकपूर्ण मानदंड
आरबीआई सं. 2009-10/39 बैंपविवि. सं. बीपी.बीसी.17/21.04.048/2009-10 1 जुलाई 2009 9 आषाढ़ 1931 (शके) सभी वाणिज्य बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर) महोदय मास्टर परिपत्र - अग्रिमों के संबंध में आय निर्धारण, आस्ति वर्गीकरण तथा प्रावधान करने से संबंधित विवेकपूर्ण मानदंड कृपया आप 1 जुलाई 2008 का मास्टर परिपत्र बैंपविवि. सं. बीपी. बीसी. 20/21.04.048/2008-2009 देखें, जिसमें अग्रिमों के संबंध में आय-निर्धारण, आस्ति-वर्गीकरण और प्रावधान करने से संबंधित विवेकपूर्ण मानदंडो
आरबीआई सं. 2009-10/39 बैंपविवि. सं. बीपी.बीसी.17/21.04.048/2009-10 1 जुलाई 2009 9 आषाढ़ 1931 (शके) सभी वाणिज्य बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर) महोदय मास्टर परिपत्र - अग्रिमों के संबंध में आय निर्धारण, आस्ति वर्गीकरण तथा प्रावधान करने से संबंधित विवेकपूर्ण मानदंड कृपया आप 1 जुलाई 2008 का मास्टर परिपत्र बैंपविवि. सं. बीपी. बीसी. 20/21.04.048/2008-2009 देखें, जिसमें अग्रिमों के संबंध में आय-निर्धारण, आस्ति-वर्गीकरण और प्रावधान करने से संबंधित विवेकपूर्ण मानदंडो
जुल॰ 01, 2009
मास्टर परिपत्र - प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार
भारिबैं/2009-10/52 ग्राआऋवि.केंका.प्लान.बीसी. 2 /04.09.01/2009-2010 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/प्रबंध निदेशक/मुख्य कार्यपालक अधिकारी(सभी अनुसूचित वाणिज्य बैंकक्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर) महोदय , मास्टर परिपत्र - प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार भारतीय रिज़र्व बैंक ने प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार के बारे में बैंकों को समय-समय पर कई दिशा-निर्देश / अनुदेश / निदेश जारी किए हैं । बैंकों को सभी अद्यतन अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के प्रयोजन से इस संबंध में विद्यमा
भारिबैं/2009-10/52 ग्राआऋवि.केंका.प्लान.बीसी. 2 /04.09.01/2009-2010 1 जुलाई 2009 अध्यक्ष/प्रबंध निदेशक/मुख्य कार्यपालक अधिकारी(सभी अनुसूचित वाणिज्य बैंकक्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर) महोदय , मास्टर परिपत्र - प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार भारतीय रिज़र्व बैंक ने प्राथमिकताप्राप्त क्षेत्र को उधार के बारे में बैंकों को समय-समय पर कई दिशा-निर्देश / अनुदेश / निदेश जारी किए हैं । बैंकों को सभी अद्यतन अनुदेश एक स्थान पर उपलब्ध कराने के प्रयोजन से इस संबंध में विद्यमा
जुल॰ 01, 2009
मास्टर परिपत्र - निवासियों द्वारा विदेश स्थित संयुक्त उद्यम (JV)/ पूर्ण स्वामित्ववाली सहायक संस्थाओं (WOS)में प्रत्यक्ष निवेश
आरबीआई/2009-10/21 मास्टर परिपत्र सं. 01/2009-10 01 जुलाई,2009 सेवा में, विदेशी मुद्रा के सभी प्राधिकृत व्यापारी महोदया /महोदय मास्टर परिपत्र - निवासियों द्वारा विदेश स्थित संयुक्त उद्यम (JV)/ पूर्ण स्वामित्ववाली सहायक संस्थाओं (WOS)में प्रत्यक्ष निवेश समय-समय पर यथा संशोधित नवंबर 19, 2004 की अधिसूचना सं. जीएसआर 757(E) अ और जुलाई 7, 2004 की फेमा अधिसूचना सं.जीएसआर 120/आरबी-2004 के साथ पठित विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम 1999 (1999 का 42) की धारा 6 की उप धारा (3) के खंड (
आरबीआई/2009-10/21 मास्टर परिपत्र सं. 01/2009-10 01 जुलाई,2009 सेवा में, विदेशी मुद्रा के सभी प्राधिकृत व्यापारी महोदया /महोदय मास्टर परिपत्र - निवासियों द्वारा विदेश स्थित संयुक्त उद्यम (JV)/ पूर्ण स्वामित्ववाली सहायक संस्थाओं (WOS)में प्रत्यक्ष निवेश समय-समय पर यथा संशोधित नवंबर 19, 2004 की अधिसूचना सं. जीएसआर 757(E) अ और जुलाई 7, 2004 की फेमा अधिसूचना सं.जीएसआर 120/आरबी-2004 के साथ पठित विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम 1999 (1999 का 42) की धारा 6 की उप धारा (3) के खंड (

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