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भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 24 जून 2025 के आदेश द्वारा साईबाबा नागरी सहकारी बैंक मर्यादित, सेलु, महाराष्ट्र (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी 'अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी)' संबंधी कतिपय निदेशों के अननुपालन के लिए ₹50,000/- (पचास हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है। यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है। 31 मार्च 2024 को बैंक की वित्तीय स्थिति के संदर्भ में भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा बैंक का सांविधिक निरीक्षण किया गया। भारतीय रिज़र्व बैंक के निदेशों के अननुपालन
भारतीय रिज़र्व बैंक (आरबीआई) ने दिनांक 26 जून 2025 के आदेश द्वारा श्री कड़ी नागरिक सहकारी बैंक बैंक लिमिटेड, जिला महेसाणा, गुजरात (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘न्यासों और संस्थाओं, जिनमें निदेशक, उनके रिश्तेदार पदाधिकारी हैं या हित रखते हैं, को दान’ और 'अग्रिमों का प्रबंधन – शहरी सहकारी बैंक' संबंधी
जून 2025 के महीने के दौरान प्राप्त अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (एससीबी) (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों और लघु वित्त बैंकों को छोड़कर) के ऋण और जमा दर संबंधी आंकड़े सारणी 1 से 7 में प्रस्तुत किए गए हैं। मुख्य बातें : ऋण दरें :
मई 2025 के दौरान सेवाओं के निर्यातों और आयातों का मूल्य निम्नलिखित सारणी में दिया गया है।
वर्तमान में, स्थायी जमा सुविधा (एसडीएफ) और सीमांत स्थायी सुविधा (एमएसएफ) प्रत्येक दिन अपराह्न 5:30 बजे से अपराह्न 11:59 बजे के बीच उपलब्ध होते हैं। 2. मांग मुद्रा के लिए बाजार समय को अपराह्न 7:00 बजे तक बढ़ाए जाने के मद्देनजर, यह निर्णय लिया गया है कि स्थायी जमा सुविधा (एसडीएफ) और सीमांत स्थायी सुविधा (एमएसएफ) 1 जुलाई 2025 से अपराह्न 7:00 बजे से अपराह्न 11:59 बजे के बीच उपलब्ध होगी।
आज, भारतीय रिज़र्व बैंक ने वित्तीय स्थिरता रिपोर्ट (एफएसआर) का जून 2025 अंक जारी किया, जो भारतीय वित्तीय प्रणाली की आघात सहनीयता और वित्तीय स्थिरता के जोखिमों पर वित्तीय स्थिरता और विकास परिषद (एफएसडीसी) की उप-समिति के सामूहिक मूल्यांकन को दर्शाता है।
मई 2025 माह के लिए 41 चुनिंदा अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (एससीबी) से जुटाए गए बैंक ऋण के क्षेत्रवार अभिनियोजन संबंधी आंकड़े, जो सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों द्वारा अभिनियोजित कुल खाद्येतर ऋण का लगभग 95 प्रतिशत होता है, विवरण I और II में दिए गए हैं। वर्ष-दर-वर्ष (व-द-व) आधार पर खाद्येतर बैंक ऋण में 30 मई 2025 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार 9.8 प्रतिशत की दर से वृद्धि3 हुई, जबकि पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े (अर्थात, 31 मई 2024) में यह 16.2 प्रतिशत की दर से वृद्धि हुई थी ।
मुद्रा बाज़ार@ मात्रा (एक चरण) भारित औसत दर सीमा क. ओवरनाइट खंड (I+II+III+IV) 0.00 - - I. मांग मुद्रा 0.00 - - II. ट्राइपार्टी रेपो 0.00 - - III. बाज़ार रेपो 0.00 - - IV. कॉरपोरेट बॉण्ड में रेपो 0.00 - - ख. मीयादी खंड I. सूचना मुद्रा** 0.00 - - II. मीयादी मुद्रा@@ 0.00 - - III. ट्राइपार्टी रेपो 0.00 - - IV. बाज़ार रेपो 0.00 - - V. कॉरपोरेट बॉण्ड में रेपो 0.00 - -
मुद्रा बाज़ार@ मात्रा (एक चरण) भारित औसत दर सीमा क. ओवरनाइट खंड (I+II+III+IV) 0.00 - - I. मांग मुद्रा 0.00 - - II. ट्राइपार्टी रेपो 0.00 - - III. बाज़ार रेपो 0.00 - - IV. कॉरपोरेट बॉण्ड में रेपो 0.00 - - ख. मीयादी खंड I. सूचना मुद्रा** 0.00 - - II. मीयादी मुद्रा@@ 0.00 - - III. ट्राइपार्टी रेपो 0.00 - - IV. बाज़ार रेपो 0.00 - - V. कॉरपोरेट बॉण्ड में रेपो 0.00 - -
मुद्रा बाज़ार@ मात्रा (एक चरण) भारित औसत दर सीमा क. ओवरनाइट खंड (I+II+III+IV) 6,44,354.46 5.27 0.01-6.35 I. मांग मुद्रा 15,051.98 5.38 4.75-5.60 II. ट्राइपार्टी रेपो 4,06,137.85 5.42 5.20-5.72 III. बाज़ार रेपो 2,21,441.08 4.98 0.01-6.20 IV. कॉरपोरेट बॉण्ड में रेपो 1,723.55 5.51 5.45-6.35 ख. मीयादी खंड I. सूचना मुद्रा** 146.95 5.23 5.05-5.30 II. मीयादी मुद्रा@@ 185.50 - 5.10-6.20 III. ट्राइपार्टी रेपो 14,138.00 5.55 5.50-5.75 IV. बाज़ार रेपो 0.00 - - V. कॉरपोरेट बॉण्ड में रेपो 481.00 5.72 5.72-5.72
भारतीय रिज़र्व बैंक ने आज भारतीय रिज़र्व बैंक [आधार सक्षम भुगतान प्रणाली (एईपीएस) – एईपीएस टचपॉइंट संचालकों की समुचित जांच] निदेश, 2025 जारी किया है। भारतीय रिज़र्व बैंक ने 31 जुलाई 2024 को हितधारकों की टिप्पणियों के लिए बैंक की वेबसाइट पर एईपीएस की समुचित जांच संबंधी निदेशों का मसौदा जारी किया था। निदेशों के मसौदा में एईपीएस टचपॉइंट संचालकों (एटीओ) के बारे में जानकारी दी गई और इसका उद्देश्य अधिग्रहण करने वाले बैंकों द्वारा एटीओ को शामिल करने की प्रक्रिया को सुव्यवस्थित करना था।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने निम्नलिखित विवरणों के अनुसार भारत सरकार के खज़ाना बिलों की नीलामी की घोषणा की: क्रम सं. खज़ाना बिल अधिसूचित राशि (₹ करोड़ में) नीलामी की तारीख निपटान की तारीख 1 91 दिवसीय 9,000 02 जुलाई 2025 (बुधवार) 03 जुलाई 2025 (गुरुवार) 2 182 दिवसीय 6,000 3 364 दिवसीय 5,000 कुल 20,000
भारत सरकार के खज़ाना बिलों की नीलामी का कैलेंडर
(सितंबर 2025 को समाप्त होने वाली तिमाही के लिए)
भारत सरकार के परामर्श से भारतीय रिज़र्व बैंक एतद्द्वारा, सितंबर 2025 को समाप्त होने वाली तिमाही के लिए खज़ाना बिलों के निर्गम हेतु कैलेंडर को निम्नानुसार अधिसूचित करता है:
आज, भारतीय रिज़र्व बैंक ने मार्च 2025 की समाप्ति तक के लिए भारत की अंतर्राष्ट्रीय निवेश स्थिति से संबंधित आंकड़े जारी किए [1]। मुख्य बातें जनवरी-मार्च 2025 के दौरान आईआईपी: भारत पर अनिवासियों के निवल दावे 2024-25 की चौथी तिमाही के दौरान 34.2 बिलियन अमेरिकी डॉलर घटकर मार्च 2025 के अंत तक 330.0 बिलियन अमेरिकी डॉलर रह गए।
निम्नलिखित राज्य सरकारों ने नीलामी के माध्यम से कुल ₹18,100 करोड़ की राशि के लिए स्टॉक की बिक्री का प्रस्ताव किया है।
मार्च 2025 के अंत में बाह्य ऋण संबंधी स्थिति तथा पहले की तिमाहियों के संशोधित आंकड़े विवरण I (आईएमएफ फार्मेट1) और II (पुराना फार्मेट) में दिए गए हैं। मार्च 2025 के अंत में भारत के बाह्य ऋण से संबंधित प्रमुख गतिविधियां नीचे प्रस्तुत हैं।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने राज्य सरकारों/संघ शासित प्रदेशों (यूटी) के परामर्श से घोषणा की है कि जुलाई - सितंबर 2025 तिमाही के लिए राज्य सरकारों/यूटी द्वारा कुल बाज़ार उधार की मात्रा ₹ 2,86,696 करोड़ रहने की संभावना है। तिमाही के दौरान आयोजित की जाने वाली नीलामियों की साप्ताहिक सूची, उन रा
आज, भारतीय रिज़र्व बैंक ने अपनी वेबसाइट (www.rbi.org.in) पर चौथी तिमाही, अर्थात 2024-25 के जनवरी-मार्च के लिए भुगतान संतुलन (बीओपी) संबंधी आंकड़े जारी किए। इन आंकड़ों के आधार पर, अप्रैल-मार्च 2024-25 के दौरान विदेशी मुद्रा आरक्षित निधियों में परिवर्तन के स्रोत तालिका 1 में दिए गए हैं
चौथी तिमाही अर्थात् जनवरी-मार्च 2024-25 के लिए भारत के भुगतान संतुलन (बीओपी) से संबंधित प्रारंभिक आंकड़े, विवरण । और ।। में प्रस्तुत किए गए हैं। 2024-25 की चौथी तिमाही के दौरान भारत के भुगतान संतुलन की मुख्य विशेषताएं भारत के चालू खाता शेष में 2024-25 की चौथी तिमाही में 13.5 बिलियन अमेरिकी डॉलर (जीडीपी का 1.3 प्रतिशत) का अधिशेष दर्ज किया गया, जबकि 2023-24 की चौथी तिमाही यह 4.6 बिलियन अमेरिकी डॉलर (जीडीपी का 0.5 प्रतिशत) था तथा 2024-25 की तीसरी तिमाही में 11.3 बिलियन अमेरिकी डॉलर (जीडीपी का 1.1प्रतिशत) का घाटा दर्ज किया गया था।1 2024-25 की चौथी तिमाही में वाणिज्य वस्तु व्यापार घाटा 59.5 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहा, जो 2023-24 की चौथी तिमाही के 52.0 बिलियन अमेरिकी डॉलर से अधिक था। हालाँकि, यह 2024-25 की तीसरी तिमाही के 79.3 बिलियन अमेरिकी डॉलर से कम हो गया।
1. भारतीय रिज़र्व बैंक–देयताएं और आस्तियां * (₹ करोड़) मद 2024 2025 घट-बढ़ 21 जून 13 जून 20 जून सप्ताह वर्ष 1 2 3 4 5 4. ऋण और अग्रिम 4.1 केंद्र सरकार - 0 0 0 0 4.2 राज्य सरकारें 4039 15962 17089 1128 13050 * आंकडे अनंतिम हैं; घट-बढ़, यदि कोई है, तो पूर्णांक के कारण है। 2. विदेशी मुद्रा आरक्षित निधि * मद 20 जून 2025 तक निम्नलिखित अवधि में घट-बढ़ सप्ताह मार्च 2025 की समाप्ति पर वर्ष ₹ करोड़ मिलियन अ.$ ₹ करोड़ मिलियन अ.$ ₹ करोड़ मिलियन अ.$ ₹ करोड़ मिलियन अ.$ 1 2 3 4 5 6 7 8 1 कुल आरक्षित निधि 6043697 697935 25723 -1015 331556 29609 582720 44225
पृष्ठ अंतिम बार अपडेट किया गया: जुलाई 25, 2025