अधिसूचनाएं - विनियमन सहकारी बैंकिंग - आरबीआई - Reserve Bank of India
अधिसूचनाएं
RBI/2025-26/59 DOR.STR.REC.34/21.04.048/2025-26 June 19, 2025 Reserve Bank of India (Project Finance) Directions, 2025
RBI/2025-26/59 DOR.STR.REC.34/21.04.048/2025-26 June 19, 2025 Reserve Bank of India (Project Finance) Directions, 2025
RBI/2025-26/52 DOR.SOG(LEG).REC/ 32/ 09.08.024/2025-26 June 12, 2025 All Commercial Banks (including RRBs) and all Co-operative Banks Madam/ Dear Sir Inoperative Accounts/ Unclaimed Deposits in Banks - Revised Instructions (Amendment) 2025 As per instructions, issued vide circular DOR.SOG(LEG).REC/64/ 09.08.024/2023-24 dated January 1, 2024 (hereinafter called the extant instructions), the credit balance in any deposit account maintained with banks, which have not been operated upon for ten years or more, or any amount remaining unclaimed for ten years or more, as mentioned in paragraph 3(iii) of the “Depositor Education and Awareness” (DEA) Fund Scheme, 2014, are required to be transferred by banks to DEA Fund maintained by the Reserve Bank of India. There is a need to enable Business Correspondents to facilitate updation of KYC.
RBI/2025-26/52 DOR.SOG(LEG).REC/ 32/ 09.08.024/2025-26 June 12, 2025 All Commercial Banks (including RRBs) and all Co-operative Banks Madam/ Dear Sir Inoperative Accounts/ Unclaimed Deposits in Banks - Revised Instructions (Amendment) 2025 As per instructions, issued vide circular DOR.SOG(LEG).REC/64/ 09.08.024/2023-24 dated January 1, 2024 (hereinafter called the extant instructions), the credit balance in any deposit account maintained with banks, which have not been operated upon for ten years or more, or any amount remaining unclaimed for ten years or more, as mentioned in paragraph 3(iii) of the “Depositor Education and Awareness” (DEA) Fund Scheme, 2014, are required to be transferred by banks to DEA Fund maintained by the Reserve Bank of India. There is a need to enable Business Correspondents to facilitate updation of KYC.
आरबीआई/2025-26/46 विवि.आरईटी.आरईसी.23/12.01.001/2025-26 06 जून 2025 सभी बैंक महोदया/महोदय, आरक्षित नकदी निधि अनुपात (सीआरआर) का अनुरक्षण कृपया उपर्युक्त विषय पर दिनांक 06 दिसंबर 2024 का हमारा परिपत्र विवि.आरईटी.आरईसी.52/12.01.001/2024-25 और संबंधित अधिसूचना देखें। 2. जैसा कि दिनांक 06 जून 2025 को गवर्नर के वक्तव्य में घोषित किया गया है, सभी बैं
आरबीआई/2025-26/46 विवि.आरईटी.आरईसी.23/12.01.001/2025-26 06 जून 2025 सभी बैंक महोदया/महोदय, आरक्षित नकदी निधि अनुपात (सीआरआर) का अनुरक्षण कृपया उपर्युक्त विषय पर दिनांक 06 दिसंबर 2024 का हमारा परिपत्र विवि.आरईटी.आरईसी.52/12.01.001/2024-25 और संबंधित अधिसूचना देखें। 2. जैसा कि दिनांक 06 जून 2025 को गवर्नर के वक्तव्य में घोषित किया गया है, सभी बैं
DoR.FIN.REC. 25/03.10.038/2025-26 June 06, 2025 All Non-Banking Financial Companies - Microfinance Institutions Dear Sir/ Madam, Review of Qualifying asset criteria Please refer to paragraph 8.1 of the Master Direction - Reserve Bank of India (Regulatory Framework for Microfinance Loans) Directions, 2022 dated March 14, 2022 which prescribes Qualifying Assets Criteria for Non-Banking
DoR.FIN.REC. 25/03.10.038/2025-26 June 06, 2025 All Non-Banking Financial Companies - Microfinance Institutions Dear Sir/ Madam, Review of Qualifying asset criteria Please refer to paragraph 8.1 of the Master Direction - Reserve Bank of India (Regulatory Framework for Microfinance Loans) Directions, 2022 dated March 14, 2022 which prescribes Qualifying Assets Criteria for Non-Banking
RBI/2025-26/36 DOR.STR.REC.19/21.07.001/2025-26 May 8, 2025 Reserve Bank of India (Digital Lending) Directions, 2025
RBI/2025-26/36 DOR.STR.REC.19/21.07.001/2025-26 May 8, 2025 Reserve Bank of India (Digital Lending) Directions, 2025
भा.रि.बैं./2025-26/34 सूप्रौवि.केंका.सं.एस-106/07.71.039/2025-26 28 अप्रैल 2025 अध्यक्ष / प्रबंध निदेशक / मुख्य कार्यकारी अधिकारी सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक सहित) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक / राज्य सहकारी बैंक / केंद्रीय सहकारी बैंक सभी अखिल भारतीय वित्तीय संस्थान सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ (आवास वित्त कंपनियों सहित) सभी प्राथमिक डीलर सभी गैर-बैंक भुगतान प्रणाली ऑपरेटर सभी क्रेडिट सूचना कंपनियाँ महोदया / प्रिय महोदय, प्रवाह के माध्यम से विनियामक प्राधिकरण/लाइसेंस/अनुमोदन का प्रसंस्करण
भा.रि.बैं./2025-26/34 सूप्रौवि.केंका.सं.एस-106/07.71.039/2025-26 28 अप्रैल 2025 अध्यक्ष / प्रबंध निदेशक / मुख्य कार्यकारी अधिकारी सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक सहित) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक / राज्य सहकारी बैंक / केंद्रीय सहकारी बैंक सभी अखिल भारतीय वित्तीय संस्थान सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ (आवास वित्त कंपनियों सहित) सभी प्राथमिक डीलर सभी गैर-बैंक भुगतान प्रणाली ऑपरेटर सभी क्रेडिट सूचना कंपनियाँ महोदया / प्रिय महोदय, प्रवाह के माध्यम से विनियामक प्राधिकरण/लाइसेंस/अनुमोदन का प्रसंस्करण
आरबीआई/2025-26/28 के.का. /सू.प्रौ.वि./डीसीडी/सं एस81/01-71-110/2025-26 22 अप्रैल 2025 सभी वाणिज्यिक बैंक सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक सभी राज्य सहकारी बैंक और जिला केंद्रीय सहकारी बैंक महोदय/महोदया, परिपत्र - '.bank.in' डोमेन पर स्थानांतरण
आरबीआई/2025-26/28 के.का. /सू.प्रौ.वि./डीसीडी/सं एस81/01-71-110/2025-26 22 अप्रैल 2025 सभी वाणिज्यिक बैंक सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक सभी राज्य सहकारी बैंक और जिला केंद्रीय सहकारी बैंक महोदय/महोदया, परिपत्र - '.bank.in' डोमेन पर स्थानांतरण
RBI/2025-26/26 DOR.MCS.REC.17/01.01.003/2025-26 April 21, 2025 All Commercial Banks All Primary (Urban) Co-operative Banks All State Co-operative Banks and District Central Co-operative Banks Madam/ Dear Sir, Opening of and operation in deposit accounts of minors
RBI/2025-26/26 DOR.MCS.REC.17/01.01.003/2025-26 April 21, 2025 All Commercial Banks All Primary (Urban) Co-operative Banks All State Co-operative Banks and District Central Co-operative Banks Madam/ Dear Sir, Opening of and operation in deposit accounts of minors
आरबीआई /2025-26/21 विवि.केंका.एसओजी(एलईजी) सं.15/09.08.024/2025-26 08 अप्रैल 2025 सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक सभी सहकारी बैंक महोदया/महोदय, विनियामकीय दिशा-निर्देश की समीक्षा – परिपत्रों को वापस लेना
आरबीआई /2025-26/21 विवि.केंका.एसओजी(एलईजी) सं.15/09.08.024/2025-26 08 अप्रैल 2025 सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक सभी सहकारी बैंक महोदया/महोदय, विनियामकीय दिशा-निर्देश की समीक्षा – परिपत्रों को वापस लेना
आरबीआई /2024-25/130 विवि.सीआरई.आरईसी. 69/07.10.002/2024-25 24 मार्च 2025 वेतन अर्जक बैंकों के अलावा प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया / महोदय,
आरबीआई /2024-25/130 विवि.सीआरई.आरईसी. 69/07.10.002/2024-25 24 मार्च 2025 वेतन अर्जक बैंकों के अलावा प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया / महोदय,
आरबीआई/2024-2025/127 विवि.एसीसी.आरईसी.सं.67/21.04.018/2024-25 20 मार्च 2025 महोदया / महोदय, अतिरिक्त पेंशन देयता का परिशोधन - 01 नवंबर 1993 से क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों में लागू पेंशन योजना - विवेकपूर्ण विनियामक उपाय
आरबीआई/2024-2025/127 विवि.एसीसी.आरईसी.सं.67/21.04.018/2024-25 20 मार्च 2025 महोदया / महोदय, अतिरिक्त पेंशन देयता का परिशोधन - 01 नवंबर 1993 से क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों में लागू पेंशन योजना - विवेकपूर्ण विनियामक उपाय
आरबीआई/2024-25/126 विवि.एसीसी.आरईसी.सं.66/21.04.018/2024-25 20 मार्च 2025 महोदया / महोदय, भारतीय रिज़र्व बैंक (वित्तीय विवरण - प्रस्तुति और प्रकटीकरण) निर्देश, 2021: स्पष्टीकरण भारतीय रिज़र्व बैंक को बैंकों और भारतीय बैंक संघ (आईबीए) से वित्तीय विवरणों के लिए 'लेखांकन की टिप्पणी' में प्रकटीकरण के कुछ पहलुओं के साथ-साथ भारतीय रिज़र्व बैंक (वित्तीय विवरण - प्रस्तुति और प्रकटीकरण) निदेश, 2021 के अनुबंध II भाग ए में निर्दिष्ट तुलन पत्र के संकलन के लिए टिप्पणियों और निर्देशों पर प्रश्न और सुझाव प्राप्त हुए थे।
आरबीआई/2024-25/126 विवि.एसीसी.आरईसी.सं.66/21.04.018/2024-25 20 मार्च 2025 महोदया / महोदय, भारतीय रिज़र्व बैंक (वित्तीय विवरण - प्रस्तुति और प्रकटीकरण) निर्देश, 2021: स्पष्टीकरण भारतीय रिज़र्व बैंक को बैंकों और भारतीय बैंक संघ (आईबीए) से वित्तीय विवरणों के लिए 'लेखांकन की टिप्पणी' में प्रकटीकरण के कुछ पहलुओं के साथ-साथ भारतीय रिज़र्व बैंक (वित्तीय विवरण - प्रस्तुति और प्रकटीकरण) निदेश, 2021 के अनुबंध II भाग ए में निर्दिष्ट तुलन पत्र के संकलन के लिए टिप्पणियों और निर्देशों पर प्रश्न और सुझाव प्राप्त हुए थे।
आरबीआई/2024-25/118 विवि.सीआरई.आरईसी. 62/07.10.002/2024-25 24 फरवरी 2025 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया / महोदय, विवेकपूर्ण मानदंडों की समीक्षा और युक्तिकरण - शहरी सहकारी बैंक भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा शहरी सहकारी बैंकों (यूसीबी) की वित्तीय सुदृढ़ता और आघात-सहनीयता बढ़ाने के लिए समय-समय पर विभिन्न विवेकपूर्ण मानदंड निर्धारित किए गए हैं। इनमें से कुछ विवेकपूर्ण मानदंड ऋण संकेन्द्रण जोखिम को कम करने, संवेदनशील क्षेत्रों में एक्सपोजर को कम करने तथा अपेक्षाकृत अधिक जोखिम वाले एक्सपोजरों के लिए प्रावधान आवश्यकताओं को बढ़ाने के उद्देश्य से जारी किए गए हैं। इन मानदंडों में, अन्य बातों के साथ-साथ, छोटे मूल्यवर्ग के ऋणों से संबंधित शर्तें, आवास और स्थावर संपदा (रियल एस्टेट) ऋणों पर एक्सपोजर की अधिकतम सीमा, तथा प्रतिभूति प्राप्तियों (एसआर) में निवेश के लिए प्रावधान संबंधी आवश्यकताएं शामिल हैं।
आरबीआई/2024-25/118 विवि.सीआरई.आरईसी. 62/07.10.002/2024-25 24 फरवरी 2025 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया / महोदय, विवेकपूर्ण मानदंडों की समीक्षा और युक्तिकरण - शहरी सहकारी बैंक भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा शहरी सहकारी बैंकों (यूसीबी) की वित्तीय सुदृढ़ता और आघात-सहनीयता बढ़ाने के लिए समय-समय पर विभिन्न विवेकपूर्ण मानदंड निर्धारित किए गए हैं। इनमें से कुछ विवेकपूर्ण मानदंड ऋण संकेन्द्रण जोखिम को कम करने, संवेदनशील क्षेत्रों में एक्सपोजर को कम करने तथा अपेक्षाकृत अधिक जोखिम वाले एक्सपोजरों के लिए प्रावधान आवश्यकताओं को बढ़ाने के उद्देश्य से जारी किए गए हैं। इन मानदंडों में, अन्य बातों के साथ-साथ, छोटे मूल्यवर्ग के ऋणों से संबंधित शर्तें, आवास और स्थावर संपदा (रियल एस्टेट) ऋणों पर एक्सपोजर की अधिकतम सीमा, तथा प्रतिभूति प्राप्तियों (एसआर) में निवेश के लिए प्रावधान संबंधी आवश्यकताएं शामिल हैं।
पवि.कें.का.पीपीजी/एसईसी.13/11.01.005/2024-25 17 जनवरी 2025 अध्यक्ष / प्रबंध निदेशक / मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (आरआरबी को छोड़कर) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक जमा स्वीकार करने वाली सभी एनबीएफसी (एचएफसी को छोड़कर) [पर्यवेक्षित संस्थान] महोदया/महोदय नामांकन सुविधा के अंतर्गत ग्राहकों का समावेशन जैसा कि आप जानते हैं, नामांकन सुविधा का उद्देश्य जमाकर्ता/जमाकर्ताओं की मृत्यु होने पर परिवार के सदस्यों की कठिनाई को कम करना और दावों का शीघ्र निपटान सुलभ करना है। अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (एससीबी) (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर), प्राथमिक शहरी सहकारी बैंकों और जमा स्वीकार करने
पवि.कें.का.पीपीजी/एसईसी.13/11.01.005/2024-25 17 जनवरी 2025 अध्यक्ष / प्रबंध निदेशक / मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (आरआरबी को छोड़कर) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक जमा स्वीकार करने वाली सभी एनबीएफसी (एचएफसी को छोड़कर) [पर्यवेक्षित संस्थान] महोदया/महोदय नामांकन सुविधा के अंतर्गत ग्राहकों का समावेशन जैसा कि आप जानते हैं, नामांकन सुविधा का उद्देश्य जमाकर्ता/जमाकर्ताओं की मृत्यु होने पर परिवार के सदस्यों की कठिनाई को कम करना और दावों का शीघ्र निपटान सुलभ करना है। अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (एससीबी) (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर), प्राथमिक शहरी सहकारी बैंकों और जमा स्वीकार करने
आरबीआई/2024-25/100 विवि.एसटीआर.आरईसी.54/21.04.048/2024-25 31 दिसंबर 2024 सभी वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों और स्थानीय क्षेत्र के बैंकों सहित) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक सभी राज्य सहकारी बैंक और केंद्रीय सहकारी बैंक सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां (आवास वित्त कंपनियों सहित) सभी अखिल भारतीय वित्तीय संस्थाएं
आरबीआई/2024-25/100 विवि.एसटीआर.आरईसी.54/21.04.048/2024-25 31 दिसंबर 2024 सभी वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों और स्थानीय क्षेत्र के बैंकों सहित) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक सभी राज्य सहकारी बैंक और केंद्रीय सहकारी बैंक सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां (आवास वित्त कंपनियों सहित) सभी अखिल भारतीय वित्तीय संस्थाएं
आरबीआई/2024-25/94 विवि.एसपीई.आरईसी.सं.51/13.03.00/2024-2025 06 दिसंबर 2024 सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों सहित) सभी लघु वित्त बैंक सभी स्थानीय क्षेत्र बैंक सभी भुगतान बैंक सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक/डीसीसीबी/राज्य सहकारी बैंक महोदया/महोदय विदेशी मुद्रा (अनिवासी) खातों (बैंक) [एफसीएनआर(बी)] जमाराशियों पर ब्याज दरें कृपया दिनांक 06 दिसंबर 2024 को वर्ष 2024-25 के लिए द्वि-मासिक मौद्रिक नीति वक्तव्य के एक भाग के रूप में जारी विकासात्मक और विनियामकीय नीतियों पर वक्तव्य के पैराग्राफ 2 के साथ पठित, समय-समय पर यथासंशोधित दिनांक 03 मार्च, 2016 के जमाराशियों में ब्याज दर पर मास्टर निदेश (एमडी) की धारा 19 और 12 मई 2016 के सहकारी बैंकों पर मास्टर निदेश- जमाराशियों पर ब्याज दर की धारा 18 में निहित एफसीएनआर(बी) जमाराशियों में ब्याज दरों पर अनुदेशों को देखें।
आरबीआई/2024-25/94 विवि.एसपीई.आरईसी.सं.51/13.03.00/2024-2025 06 दिसंबर 2024 सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों सहित) सभी लघु वित्त बैंक सभी स्थानीय क्षेत्र बैंक सभी भुगतान बैंक सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक/डीसीसीबी/राज्य सहकारी बैंक महोदया/महोदय विदेशी मुद्रा (अनिवासी) खातों (बैंक) [एफसीएनआर(बी)] जमाराशियों पर ब्याज दरें कृपया दिनांक 06 दिसंबर 2024 को वर्ष 2024-25 के लिए द्वि-मासिक मौद्रिक नीति वक्तव्य के एक भाग के रूप में जारी विकासात्मक और विनियामकीय नीतियों पर वक्तव्य के पैराग्राफ 2 के साथ पठित, समय-समय पर यथासंशोधित दिनांक 03 मार्च, 2016 के जमाराशियों में ब्याज दर पर मास्टर निदेश (एमडी) की धारा 19 और 12 मई 2016 के सहकारी बैंकों पर मास्टर निदेश- जमाराशियों पर ब्याज दर की धारा 18 में निहित एफसीएनआर(बी) जमाराशियों में ब्याज दरों पर अनुदेशों को देखें।
आरबीआई/2024-25/81
विवि.एफआईएन.आरईसी.सं. 47/20.16.042/2024-25 10 अक्तूबर 2024 सभी वाणिज्यिक बैंक (लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक, तथा भुगतान बैंक को छोड़कर)
सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक/राज्य सहकारी बैंक/केंद्रीय सहकारी बैंक
सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी (आवास वित्त कंपनियों सहित)
सभी आस्ति पुनर्निर्माण कंपनी
सभी साख सूचना कंपनियाँ
आरबीआई/2024-25/81
विवि.एफआईएन.आरईसी.सं. 47/20.16.042/2024-25 10 अक्तूबर 2024 सभी वाणिज्यिक बैंक (लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक, तथा भुगतान बैंक को छोड़कर)
सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक/राज्य सहकारी बैंक/केंद्रीय सहकारी बैंक
सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी (आवास वित्त कंपनियों सहित)
सभी आस्ति पुनर्निर्माण कंपनी
सभी साख सूचना कंपनियाँ
आरबीआई/2024-25/80
विवि.एसटीआर.आरईसी.45/04.02.001/2024-25
09 अक्तूबर 2024
सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर),
प्राथमिक सहकारी (शहरी)बैंक और राज्य सहकारी बैंक(एडी श्रेणी-I लाइसेंस वाले अनुसूचित बैंक),
और एक्जिम बैंक
महोदय / महोदया,
पोतलदान-पूर्व और पोतलदान-पश्चात रुपया निर्यात ऋण पर ब्याज समतुल्यीकरण योजना (आईईएस)
आरबीआई/2024-25/80
विवि.एसटीआर.आरईसी.45/04.02.001/2024-25
09 अक्तूबर 2024
सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर),
प्राथमिक सहकारी (शहरी)बैंक और राज्य सहकारी बैंक(एडी श्रेणी-I लाइसेंस वाले अनुसूचित बैंक),
और एक्जिम बैंक
महोदय / महोदया,
पोतलदान-पूर्व और पोतलदान-पश्चात रुपया निर्यात ऋण पर ब्याज समतुल्यीकरण योजना (आईईएस)
आरबीआई/2024-25/76 विवि.एसटीआर.आरईसी.44/04.02.001/2024-25 20 सितंबर 2024 सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर), प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक और राज्य सहकारी बैंक(एडी श्रेणी-I लाइसेंस वाले अनुसूचित बैंक) और एक्जिम बैंक महोदया / महोदय, पोतलदान-पूर्व और पोतलदान-पश्चात रुपया निर्यात ऋण पर ब्याज समतुल्यीकरण योजना (आईईएस)
आरबीआई/2024-25/76 विवि.एसटीआर.आरईसी.44/04.02.001/2024-25 20 सितंबर 2024 सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर), प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक और राज्य सहकारी बैंक(एडी श्रेणी-I लाइसेंस वाले अनुसूचित बैंक) और एक्जिम बैंक महोदया / महोदय, पोतलदान-पूर्व और पोतलदान-पश्चात रुपया निर्यात ऋण पर ब्याज समतुल्यीकरण योजना (आईईएस)
आरबीआई/2024-25/71 विवि.एसटीआर.आरईसी.41/04.02.001/2024-25 29 अगस्त 2024 सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर), प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक और राज्य सहकारी बैंक (एडी श्रेणी-I लाइसेंस वाले अनुसूचित बैंक), और एक्ज़िम बैंक महोदय/महोदया, पोतलदान-पूर्व और पश्चात रुपया निर्यात ऋण पर ब्याज समतुल्यीकरण योजना (आईईएस) कृपया दिनांक 22 फरवरी 2024 के परिपत्र संख्या विवि.एसटीआर.आरईसी.78/04.02.001/2023-24 द्वारा जारी अनुदेश देखें। 2. भारत सरकार ने दिनांक 28 जून 2024 के ट्रेड नोटिस संख्या 07/2024-2025 के साथ पठित दिनांक 10 जुलाई 2024 की ट्रेड नोटिस संख्या 08/2024-2025 के द्वारा पोतलदान-पूर्व और पश्चात रुपया निर्यात ऋण पर ब्याज समतुल्यीकरण योजना (आईईएस) को दिनांक 31 अगस्त 2024 तक बढ़ाने की अनुमति दी है। यह विस्तार 01 जुलाई 2024 से प्रभावी होगा और 31 अगस्त 2024 को समाप्त होगा।
आरबीआई/2024-25/71 विवि.एसटीआर.आरईसी.41/04.02.001/2024-25 29 अगस्त 2024 सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर), प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक और राज्य सहकारी बैंक (एडी श्रेणी-I लाइसेंस वाले अनुसूचित बैंक), और एक्ज़िम बैंक महोदय/महोदया, पोतलदान-पूर्व और पश्चात रुपया निर्यात ऋण पर ब्याज समतुल्यीकरण योजना (आईईएस) कृपया दिनांक 22 फरवरी 2024 के परिपत्र संख्या विवि.एसटीआर.आरईसी.78/04.02.001/2023-24 द्वारा जारी अनुदेश देखें। 2. भारत सरकार ने दिनांक 28 जून 2024 के ट्रेड नोटिस संख्या 07/2024-2025 के साथ पठित दिनांक 10 जुलाई 2024 की ट्रेड नोटिस संख्या 08/2024-2025 के द्वारा पोतलदान-पूर्व और पश्चात रुपया निर्यात ऋण पर ब्याज समतुल्यीकरण योजना (आईईएस) को दिनांक 31 अगस्त 2024 तक बढ़ाने की अनुमति दी है। यह विस्तार 01 जुलाई 2024 से प्रभावी होगा और 31 अगस्त 2024 को समाप्त होगा।
आरबीआई/2024-25/69 विवि.आरईटी.आरईसी. 40/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभी वाणिज्यिक एवं सहकार बैंक महोदया / महोदय बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 36 (ए) की उप धारा (2) के अंतर्गत बैंकिंग कंपनी के रूप में “क्रूंग थाई बैंक पब्लिक कंपनी लिमिटेड” का समापन यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 से 23 अगस्त, 2024 के भारत के राजपत्र (भाग III-खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 3 जुलाई 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1999/23.13.066/2024-25 के द्वारा बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 के अंतर्गत “क्रूंग थाई बैंक पब्लिक कंपनी लिमिटेड” बैंकिंग कंपनी नहीं रही है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/69 विवि.आरईटी.आरईसी. 40/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभी वाणिज्यिक एवं सहकार बैंक महोदया / महोदय बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 36 (ए) की उप धारा (2) के अंतर्गत बैंकिंग कंपनी के रूप में “क्रूंग थाई बैंक पब्लिक कंपनी लिमिटेड” का समापन यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 से 23 अगस्त, 2024 के भारत के राजपत्र (भाग III-खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 3 जुलाई 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1999/23.13.066/2024-25 के द्वारा बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 के अंतर्गत “क्रूंग थाई बैंक पब्लिक कंपनी लिमिटेड” बैंकिंग कंपनी नहीं रही है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/68 विवि.आरईटी.आरईसी.39/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभी वाणिज्यिक एवं सहकारी बैंक महोदया / महोदय “क्रूंग थाई बैंक पब्लिक कंपनी लिमिटेड” को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची से हटाना यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 अगस्त - 23 अगस्त, 2024 के भारत के राजपत्र (भाग III-खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 3 जुलाई 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1998/23.13.066/2024-25 के द्वारा "क्रूंग थाई बैंक पब्लिक कंपनी लिमिटेड" को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची से हटाया गया है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/68 विवि.आरईटी.आरईसी.39/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभी वाणिज्यिक एवं सहकारी बैंक महोदया / महोदय “क्रूंग थाई बैंक पब्लिक कंपनी लिमिटेड” को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची से हटाना यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 अगस्त - 23 अगस्त, 2024 के भारत के राजपत्र (भाग III-खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 3 जुलाई 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1998/23.13.066/2024-25 के द्वारा "क्रूंग थाई बैंक पब्लिक कंपनी लिमिटेड" को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची से हटाया गया है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/67 विवि.आरईटी.आरईसी.38/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभ वाणिज्यिक एवं सहकार बैंक महोदया / महोदय “क्रेडिट सुईस ए जी” को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची से हटाना यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 से 23 अगस्त, 2024 के भारत के राजपत्र (भाग III-खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 4 जून 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1373/23.03.025/2024-25 के द्वारा "क्रेडिट सुईस ए जी" को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची से हटा दिया गया है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/67 विवि.आरईटी.आरईसी.38/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभ वाणिज्यिक एवं सहकार बैंक महोदया / महोदय “क्रेडिट सुईस ए जी” को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची से हटाना यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 से 23 अगस्त, 2024 के भारत के राजपत्र (भाग III-खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 4 जून 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1373/23.03.025/2024-25 के द्वारा "क्रेडिट सुईस ए जी" को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची से हटा दिया गया है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/66 विवि.आरईटी.आरईसी.37/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभ वाणिज्यिक एवं सहकारी बैंक महोदया / महोदय बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 36 (क) की उप धारा (2) के अंतर्गत बैंकिंग कंपनी के रूप में “क्रेडिट सुईस ए जी” का समापन यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 से 23 अगस्त, 2024 के भारत के राजपत्र (भाग III-खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 4 जून 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1372/23.03.025/2024-25 के द्वारा बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 के अंतर्गत “क्रेडिट सुईस ए जी” बैंकिंग कंपनी नहीं रही है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/66 विवि.आरईटी.आरईसी.37/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभ वाणिज्यिक एवं सहकारी बैंक महोदया / महोदय बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 36 (क) की उप धारा (2) के अंतर्गत बैंकिंग कंपनी के रूप में “क्रेडिट सुईस ए जी” का समापन यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 से 23 अगस्त, 2024 के भारत के राजपत्र (भाग III-खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 4 जून 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1372/23.03.025/2024-25 के द्वारा बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 के अंतर्गत “क्रेडिट सुईस ए जी” बैंकिंग कंपनी नहीं रही है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/65 विवि.आरईटी.आरईसी.36/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभी वाणिज्यिक एवं सहकारी बैंक महोदया / महोदय “यूबीएस एजी” को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची में शामिल करना यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 से 23 अगस्त, 2024 को भारत के राजपत्र (भाग III - खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 4 जून 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1371/23.03.025/2024-25 के द्वारा “यूबीएस एजी” को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची में शामिल किया गया है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/65 विवि.आरईटी.आरईसी.36/12.07.160/2024-25 22 अगस्त 2024 सभी वाणिज्यिक एवं सहकारी बैंक महोदया / महोदय “यूबीएस एजी” को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची में शामिल करना यह सूचित किया जाता है कि दिनांक 17 से 23 अगस्त, 2024 को भारत के राजपत्र (भाग III - खंड 4) में प्रकाशित दिनांक 4 जून 2024 की अधिसूचना विवि.एलआईसी.सं.एस1371/23.03.025/2024-25 के द्वारा “यूबीएस एजी” को भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची में शामिल किया गया है। भवदीया, (लता विश्वनाथ) मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2024-25/60 विवि.एफआईएन.आरईसी.सं. 32/20.16.056/2024-25 8 अगस्त, 2024 सभी वाणिज्यिक बैंक (लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक सहित, तथा भुगतान बैंक को छोड़कर) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक/राज्य सहकारी बैंक/केंद्रीय सहकारी बैंक अखिल भारतीय वित्तीय संस्थान (एक्ज़िम बैंक, नाबार्ड, एनएचबी, सिडबी और एनएबीएफआईडी) सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी (आवास वित्त कंपनियों सहित) सभी आस्ति पुनर्निर्माण कंपनियां सभी साख सूचना कंपनियां महोदय/महोदया क्रेडिट संस्थानों द्वारा साख सूचना कंपनियों को क्रेडिट जानकारी प्रस्तुति का अंतराल कृपया अन्य विषय के साथ दिनांक 15 जनवरी, 2015 के परिपत्र डीबीआर. सं. सीआईडी. बीसी. 60/20.16.056/2014-15 देखें, जिसके द्वारा साख सूचना कंपनियों (सीआईसी) और क्रेडिट संस्थानों (सीआई) को निर्देश दिए गए है कि वह अपनी एकत्रित/अनुरक्षित क्रेडिट जानकारी को मासिक आधार पर अथवा सीआई और सीआईसी के बीच सहमति से निर्धारित किए गए ऐसे छोटे अंतराल पर इसे नियमित रूप से अद्यतन रखें। डिजिटल प्रक्रियाओं द्वारा क्रेडिट अंडरराइटिंग में तेजी से परिवर्तन के समय को ध्यान में रखते हुए, यह आवश्यक है कि सीआईसी द्वारा प्रदान की गई क्रेडिट जानकारी रिपोर्ट (सीआईआर) अधिक वर्तमान सूचना को दर्शाती हो, जिससे ऋणदाता योग्य क्रेडिट निर्णय लेने में सक्षम हो सकें।
आरबीआई/2024-25/60 विवि.एफआईएन.आरईसी.सं. 32/20.16.056/2024-25 8 अगस्त, 2024 सभी वाणिज्यिक बैंक (लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक सहित, तथा भुगतान बैंक को छोड़कर) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक/राज्य सहकारी बैंक/केंद्रीय सहकारी बैंक अखिल भारतीय वित्तीय संस्थान (एक्ज़िम बैंक, नाबार्ड, एनएचबी, सिडबी और एनएबीएफआईडी) सभी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी (आवास वित्त कंपनियों सहित) सभी आस्ति पुनर्निर्माण कंपनियां सभी साख सूचना कंपनियां महोदय/महोदया क्रेडिट संस्थानों द्वारा साख सूचना कंपनियों को क्रेडिट जानकारी प्रस्तुति का अंतराल कृपया अन्य विषय के साथ दिनांक 15 जनवरी, 2015 के परिपत्र डीबीआर. सं. सीआईडी. बीसी. 60/20.16.056/2014-15 देखें, जिसके द्वारा साख सूचना कंपनियों (सीआईसी) और क्रेडिट संस्थानों (सीआई) को निर्देश दिए गए है कि वह अपनी एकत्रित/अनुरक्षित क्रेडिट जानकारी को मासिक आधार पर अथवा सीआई और सीआईसी के बीच सहमति से निर्धारित किए गए ऐसे छोटे अंतराल पर इसे नियमित रूप से अद्यतन रखें। डिजिटल प्रक्रियाओं द्वारा क्रेडिट अंडरराइटिंग में तेजी से परिवर्तन के समय को ध्यान में रखते हुए, यह आवश्यक है कि सीआईसी द्वारा प्रदान की गई क्रेडिट जानकारी रिपोर्ट (सीआईआर) अधिक वर्तमान सूचना को दर्शाती हो, जिससे ऋणदाता योग्य क्रेडिट निर्णय लेने में सक्षम हो सकें।
आरबीआई/2024-25/58 डीओआर.सीएपी.आरईसी.सं.27/09.18.201/2024-25 02 अगस्त 2024 महोदय/महोदया सहकारी बैंकों द्वारा अशोध्य और संदिग्ध कर्ज़ रिज़र्व का विवेकपूर्ण उपाय जैसाकि आप जानते हैं कि, संबंधित राज्य सहकारी समिति अधिनियमों के प्रावधानों के तहत, अथवा अन्यथा, विवेकपूर्ण विचार से, कई सहकारी बैंकों ने अशोध्य और संदिग्ध कर्ज़ रिज़र्व (बीडीडीआर)1 सृजित किया है। जबकि कुछ मामलों में, बीडीडीआर को लाभ और हानि (पी एंड एल) लेखा में एक व्यय की पहचान कर सृजित किया जाता है, अन्य मामलों में इसे निवल लाभ से विनियोजन के माध्यम से सृजित किया जाता है।
आरबीआई/2024-25/58 डीओआर.सीएपी.आरईसी.सं.27/09.18.201/2024-25 02 अगस्त 2024 महोदय/महोदया सहकारी बैंकों द्वारा अशोध्य और संदिग्ध कर्ज़ रिज़र्व का विवेकपूर्ण उपाय जैसाकि आप जानते हैं कि, संबंधित राज्य सहकारी समिति अधिनियमों के प्रावधानों के तहत, अथवा अन्यथा, विवेकपूर्ण विचार से, कई सहकारी बैंकों ने अशोध्य और संदिग्ध कर्ज़ रिज़र्व (बीडीडीआर)1 सृजित किया है। जबकि कुछ मामलों में, बीडीडीआर को लाभ और हानि (पी एंड एल) लेखा में एक व्यय की पहचान कर सृजित किया जाता है, अन्य मामलों में इसे निवल लाभ से विनियोजन के माध्यम से सृजित किया जाता है।
आरबीआई/2024-25/57
डीओआर.सीएपी.आरईसी.सं.30/09.18.201/2024-25 30 जुलाई 2024 महोदय/ महोदया, लाभांश समकरण निधि (डीईएफ) के उपाय पर दिशानिर्देश - प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक (यूसीबी)
आरबीआई/2024-25/57
डीओआर.सीएपी.आरईसी.सं.30/09.18.201/2024-25 30 जुलाई 2024 महोदय/ महोदया, लाभांश समकरण निधि (डीईएफ) के उपाय पर दिशानिर्देश - प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक (यूसीबी)
आरबीआई/2024-25/55 पवि.केंका.पीपीजी.एसईसी.सं.8/11.01.005/2024-25 26 जुलाई 2024 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया/महोदय, प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंकों (यूसीबी) के लिए त्वरित सुधारात्मक कार्रवाई (पीसीए) फ्रेमवर्क
आरबीआई/2024-25/55 पवि.केंका.पीपीजी.एसईसी.सं.8/11.01.005/2024-25 26 जुलाई 2024 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया/महोदय, प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंकों (यूसीबी) के लिए त्वरित सुधारात्मक कार्रवाई (पीसीए) फ्रेमवर्क
आरबीआई /2024-25/54 विवि.सीआरई.आरईसी. 29/07.10.002/2024-25 25 जुलाई 2024 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया/ महोदय, शेयरों और डिबेंचरों पर बैंक वित्त कृपया 22 अक्टूबर 2001 का परिपत्र शबैंवि.सं.डीएस.पीसीबी.सीआईआर.16/13.05.00/2001-02 और 16 जनवरी 2024 के मास्टर परिपत्र - एक्सपोजर मानदंड और सांविधिक/अन्य प्रतिबंध - शहरी सहकारी बैंक का पैरा 6.6.5 देखें, जिसके अनुसार प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंकों (यूसीबी) को निर्देश दिया गया था कि शेयरों और डिबेंचरों की ज़मानत पर दिए गए सभी ऋणों की कुल राशि बैंक की स्वाधिकृत निधियों के 20 प्रतिशत की सकल उच्चतम सीमा के अंदर होनी चाहिए।
आरबीआई /2024-25/54 विवि.सीआरई.आरईसी. 29/07.10.002/2024-25 25 जुलाई 2024 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया/ महोदय, शेयरों और डिबेंचरों पर बैंक वित्त कृपया 22 अक्टूबर 2001 का परिपत्र शबैंवि.सं.डीएस.पीसीबी.सीआईआर.16/13.05.00/2001-02 और 16 जनवरी 2024 के मास्टर परिपत्र - एक्सपोजर मानदंड और सांविधिक/अन्य प्रतिबंध - शहरी सहकारी बैंक का पैरा 6.6.5 देखें, जिसके अनुसार प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंकों (यूसीबी) को निर्देश दिया गया था कि शेयरों और डिबेंचरों की ज़मानत पर दिए गए सभी ऋणों की कुल राशि बैंक की स्वाधिकृत निधियों के 20 प्रतिशत की सकल उच्चतम सीमा के अंदर होनी चाहिए।
आरबीआई /2024-25/53 विवि.सीआरई.आरईसी. 28/07.10.002/2024-25 25 जुलाई 2024 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया/ महोदय, छोटे मूल्यवर्ग के ऋण – प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक (यूसीबी) कृपया 13 मार्च 2020 के परिपत्र डीओआर(पीसीबी).बीपीडी.परि सं.10/13.05.000/2019-20 का पैरा 2.2 और 2.2.1 देखें, जिसके अनुसार, यूसीबी को अन्य बातों के साथ-साथ, अपने कुल ऋणों और अग्रिमों का कम से कम 50 प्रतिशत छोटे मूल्यवर्ग के ऋणों से युक्त रखना आवश्यक था अर्थात्, प्रति उधारकर्ता ₹25 लाख या बैंक की टियर-। पूंजी के 0.2% (अधिकतम ₹1 करोड़ तक सीमित), जो भी अधिक हो, तक के होने चाहिए। उपर्युक्त आवश्यकता के अनुपालन की लक्षित तिथि 31 मार्च 2024 थी।
आरबीआई /2024-25/53 विवि.सीआरई.आरईसी. 28/07.10.002/2024-25 25 जुलाई 2024 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया/ महोदय, छोटे मूल्यवर्ग के ऋण – प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक (यूसीबी) कृपया 13 मार्च 2020 के परिपत्र डीओआर(पीसीबी).बीपीडी.परि सं.10/13.05.000/2019-20 का पैरा 2.2 और 2.2.1 देखें, जिसके अनुसार, यूसीबी को अन्य बातों के साथ-साथ, अपने कुल ऋणों और अग्रिमों का कम से कम 50 प्रतिशत छोटे मूल्यवर्ग के ऋणों से युक्त रखना आवश्यक था अर्थात्, प्रति उधारकर्ता ₹25 लाख या बैंक की टियर-। पूंजी के 0.2% (अधिकतम ₹1 करोड़ तक सीमित), जो भी अधिक हो, तक के होने चाहिए। उपर्युक्त आवश्यकता के अनुपालन की लक्षित तिथि 31 मार्च 2024 थी।
भा.रि.बैं./2024-25/26 विवि.आरईटी.आरईसी. 18 /12.07.160/2024-25 25 अप्रैल, 2024 सभी वाणिज्यिक एवं सहकारी बैंक महोदया / महोदय, भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची में "एबी बैंक लिमिटेड” का नाम परिवर्तन कर "एबी बैंक पीएलसी” करना
भा.रि.बैं./2024-25/26 विवि.आरईटी.आरईसी. 18 /12.07.160/2024-25 25 अप्रैल, 2024 सभी वाणिज्यिक एवं सहकारी बैंक महोदया / महोदय, भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की दूसरी अनुसूची में "एबी बैंक लिमिटेड” का नाम परिवर्तन कर "एबी बैंक पीएलसी” करना
आरबीआई/2023-24/105 विवि.आरईजी/एलआईसी.सं.72/16.05.000/2023-24 17 जनवरी 2024 प्रबंध निदेशक/मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया/महोदय, भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की द्वितीय अनुसूची - समावेशन के लिए मानदंड
आरबीआई/2023-24/105 विवि.आरईजी/एलआईसी.सं.72/16.05.000/2023-24 17 जनवरी 2024 प्रबंध निदेशक/मुख्य कार्यपालक अधिकारी सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया/महोदय, भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की द्वितीय अनुसूची - समावेशन के लिए मानदंड
आरबीआई/2023-24/113 संदर्भ सं. डीओएस. एआरजी/एसईसी. 8/08.91.001/2023-24 जनवरी 15, 2024 अध्यक्ष/ प्रबंध निदेशक / मुख्य कार्यपालक अधिकारी,सभी राज्य सहकारी बैंक (एसटीसीबी) सभी केंद्रीय सहकारी बैंक (सीसीबी)
आरबीआई/2023-24/113 संदर्भ सं. डीओएस. एआरजी/एसईसी. 8/08.91.001/2023-24 जनवरी 15, 2024 अध्यक्ष/ प्रबंध निदेशक / मुख्य कार्यपालक अधिकारी,सभी राज्य सहकारी बैंक (एसटीसीबी) सभी केंद्रीय सहकारी बैंक (सीसीबी)
आरबीआई/2023-24/104 विवि.एसपीई.आरईसी. 63 /13.03.00/2023-2024 01 जनवरी 2024 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदय/महोदया शहरी सहकारी बैंकों (यूसीबी) के लिए थोक जमा पर अनुदेशों की समीक्षा कृपया दिनांक 12 मई 2016 के मास्टर निदेश - भारतीय रिज़र्व बैंक (सहकारी बैंक - जमा पर ब्याज दर) दिशानिर्देश, 2016 का पैरा 3 (ए) (i) देखें, जिसके अनुसार "थोक जमाराशि" का अभिप्राय पंद्रह लाख रुपये और उससे अधिक की एकल रुपया सावधि जमाराशि है ।
आरबीआई/2023-24/104 विवि.एसपीई.आरईसी. 63 /13.03.00/2023-2024 01 जनवरी 2024 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदय/महोदया शहरी सहकारी बैंकों (यूसीबी) के लिए थोक जमा पर अनुदेशों की समीक्षा कृपया दिनांक 12 मई 2016 के मास्टर निदेश - भारतीय रिज़र्व बैंक (सहकारी बैंक - जमा पर ब्याज दर) दिशानिर्देश, 2016 का पैरा 3 (ए) (i) देखें, जिसके अनुसार "थोक जमाराशि" का अभिप्राय पंद्रह लाख रुपये और उससे अधिक की एकल रुपया सावधि जमाराशि है ।
आरबीआई/2023-24/105 विवि. एसओजी(एलईजी).आरईसी.64/09.08.024/2023-24 जनवरी 1, 2024 महोदया / महोदय बैंकों में निष्क्रिय खाते/अदावी जमाराशियाँ -संशोधित अनुदेश वर्तमान अनुदेशों के अनुसार, बैंकों में रखे गए किसी भी जमा खाते में क्रेडिट शेष, जिनका दस वर्ष अथवा उससे अधिक समय से परिचालन नहीं किया गया है, या कोई ऐसी राशि जो दस वर्ष अथवा उससे अधिक समय से अदावाकृत बची हुई है, जैसा कि "जमाकर्ता शिक्षा और जागरूकता" (डीईए) निधि योजना, 2014 के पैराग्राफ 3 (iii) में उल्लिखित है, उसे बैंकों को भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा संचालित डीईए निधि में स्थानांतरित किया जाना आवश्यक है।
आरबीआई/2023-24/105 विवि. एसओजी(एलईजी).आरईसी.64/09.08.024/2023-24 जनवरी 1, 2024 महोदया / महोदय बैंकों में निष्क्रिय खाते/अदावी जमाराशियाँ -संशोधित अनुदेश वर्तमान अनुदेशों के अनुसार, बैंकों में रखे गए किसी भी जमा खाते में क्रेडिट शेष, जिनका दस वर्ष अथवा उससे अधिक समय से परिचालन नहीं किया गया है, या कोई ऐसी राशि जो दस वर्ष अथवा उससे अधिक समय से अदावाकृत बची हुई है, जैसा कि "जमाकर्ता शिक्षा और जागरूकता" (डीईए) निधि योजना, 2014 के पैराग्राफ 3 (iii) में उल्लिखित है, उसे बैंकों को भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा संचालित डीईए निधि में स्थानांतरित किया जाना आवश्यक है।
भारिबै/2023-24/102 विवि.एमसीएस.आरईसी.61/01.01.001/2023-24 29 दिसंबर 2023 सभी वाणिज्यिक बैंक (भुगतान बैंकों को छोड़कर, लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक सहित) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक सभी एनबीएफसी (एचएफसी सहित) और अखिल भारतीय वित्तीय संस्थान (एक्जिम बैंक, नाबार्ड, एनएचबी, सिडबी और एनएबीएफआईडी)
भारिबै/2023-24/102 विवि.एमसीएस.आरईसी.61/01.01.001/2023-24 29 दिसंबर 2023 सभी वाणिज्यिक बैंक (भुगतान बैंकों को छोड़कर, लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक सहित) सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक सभी एनबीएफसी (एचएफसी सहित) और अखिल भारतीय वित्तीय संस्थान (एक्जिम बैंक, नाबार्ड, एनएचबी, सिडबी और एनएबीएफआईडी)
आरबीआई/2023-24/79 विवि.आरईजी/एलआईसी.सं.55/07.01.000/2023-24 30 अक्तूबर 2023 महोदया / महोदय बैंककारी विनियमन (संशोधन) अधिनियम 2020 - सहकारी बैंकों के नाम में परिवर्तन बैंककारी विनियमन (संशोधन) अधिनियम (2020 की संख्या 39) की अधिसूचना के अनुसार, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 ('बीआर अधिनियम') की धारा 49बी और 49सी सहकारी बैंकों पर लागू होती हैं। धारा 49बी के अनुसार, सहकारी समितियों के केंद्रीय रजिस्ट्रार (सीआरसीएस)/सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार (आरसीएस) किसी भी सहकारी बैंक के नाम के परिवर्तन के लिए अपनी स्वीकृति को तब तक सूचित नहीं करेंगे जब तक कि रिज़र्व बैंक लिखित रूप में प्रमाणित नहीं करता है कि उसे इस तरह के बदलाव पर कोई आपत्ति नहीं है। इसके अलावा, धारा 49सी के अनुसार, किसी सहकारी बैंक के उप-नियमों में परिवर्तन की पुष्टि के लिए कोई भी आवेदन तब तक विचारणीय नहीं होगा जब तक कि रिज़र्व बैंक यह प्रमाणित नहीं कर देता कि ऐसे परिवर्तन पर कोई आपत्ति नहीं है।
आरबीआई/2023-24/79 विवि.आरईजी/एलआईसी.सं.55/07.01.000/2023-24 30 अक्तूबर 2023 महोदया / महोदय बैंककारी विनियमन (संशोधन) अधिनियम 2020 - सहकारी बैंकों के नाम में परिवर्तन बैंककारी विनियमन (संशोधन) अधिनियम (2020 की संख्या 39) की अधिसूचना के अनुसार, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 ('बीआर अधिनियम') की धारा 49बी और 49सी सहकारी बैंकों पर लागू होती हैं। धारा 49बी के अनुसार, सहकारी समितियों के केंद्रीय रजिस्ट्रार (सीआरसीएस)/सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार (आरसीएस) किसी भी सहकारी बैंक के नाम के परिवर्तन के लिए अपनी स्वीकृति को तब तक सूचित नहीं करेंगे जब तक कि रिज़र्व बैंक लिखित रूप में प्रमाणित नहीं करता है कि उसे इस तरह के बदलाव पर कोई आपत्ति नहीं है। इसके अलावा, धारा 49सी के अनुसार, किसी सहकारी बैंक के उप-नियमों में परिवर्तन की पुष्टि के लिए कोई भी आवेदन तब तक विचारणीय नहीं होगा जब तक कि रिज़र्व बैंक यह प्रमाणित नहीं कर देता कि ऐसे परिवर्तन पर कोई आपत्ति नहीं है।
आरबीआई/2023-24/78 विवि.आरईजी./एलआईसी.सं.54/19.51.052/2023-24 30 अक्टूबर, 2023 महोदया / महोदय जिला केंद्रीय सहकारी बैंकों (डीसीसीबी) द्वारा एक ही शहर, नगर या गांव के भीतर शाखाओं/कार्यालयों/विस्तार काउंटरों के स्थानांतरण के संबंध में स्पष्टीकरण तथा डीसीसीबी द्वारा शाखाओं और विस्तार काउंटरों को बंद करने संबंधी दिशानिर्देश दिनांक 29 सितंबर, 2020 के बैंककारी विनियमन अधिनियम (2020 की संख्या 39) में किए गए संशोधन के अनुसरण में, जिला केंद्रीय सहकारी बैंकों (डीसीसीबी) को भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) की पूर्व स्वीकृति प्राप्त करने के बाद ही व्यवसाय का नया स्थान खोलने / एटीएम स्थापित करने या ऐसे कार्यालयों के स्थान को स्थानांतरित करने की अनुमति दी जाती है । तदनुसार, बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949 (सहकारी समितियों पर यथा लागू) की धारा 23 के अनुसार जिला केंद्रीय सहकारी बैंकों (डीसीसीबी) द्वारा व्यवसाय के नए स्थान खोलने के संबंध में दिशा-निर्देश दिनांक 11 अगस्त 2022 के परिपत्र विवि.आरईजी.सं. 63/19.51.052/2022-23 के तहत जारी किए गए थे।
आरबीआई/2023-24/78 विवि.आरईजी./एलआईसी.सं.54/19.51.052/2023-24 30 अक्टूबर, 2023 महोदया / महोदय जिला केंद्रीय सहकारी बैंकों (डीसीसीबी) द्वारा एक ही शहर, नगर या गांव के भीतर शाखाओं/कार्यालयों/विस्तार काउंटरों के स्थानांतरण के संबंध में स्पष्टीकरण तथा डीसीसीबी द्वारा शाखाओं और विस्तार काउंटरों को बंद करने संबंधी दिशानिर्देश दिनांक 29 सितंबर, 2020 के बैंककारी विनियमन अधिनियम (2020 की संख्या 39) में किए गए संशोधन के अनुसरण में, जिला केंद्रीय सहकारी बैंकों (डीसीसीबी) को भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) की पूर्व स्वीकृति प्राप्त करने के बाद ही व्यवसाय का नया स्थान खोलने / एटीएम स्थापित करने या ऐसे कार्यालयों के स्थान को स्थानांतरित करने की अनुमति दी जाती है । तदनुसार, बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949 (सहकारी समितियों पर यथा लागू) की धारा 23 के अनुसार जिला केंद्रीय सहकारी बैंकों (डीसीसीबी) द्वारा व्यवसाय के नए स्थान खोलने के संबंध में दिशा-निर्देश दिनांक 11 अगस्त 2022 के परिपत्र विवि.आरईजी.सं. 63/19.51.052/2022-23 के तहत जारी किए गए थे।
आरबीआई/2023-24/66
विवि.सीआरई.आरईसी.42/07.10.002/2023-24
06 अक्तूबर 2023
वेतन अर्जक बैंकों के अलावा प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक
महोदया / महोदय,
स्वर्ण ऋण - एकमुश्त भुगतान - प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक (यूसीबी)
कृपया दिनांक 30 अक्टूबर 2014 के परिपत्र शबैंवि.बीपीडी.(पीसीबी).परि.सं.25/13.05.000/2014-15 का संदर्भ लें, जिसके अनुसार यूसीबी को कुछ शर्तों के अधीन एकमुश्त भुगतान विकल्प के तहत ₹2.00 लाख तक की राशि के स्वर्ण ऋण देने के लिए अनुमति दी गई थी।
2. हमारे दिनांक 8 जून 2023 के परिपत्र विवि.सीआरई.आरईसी.18/07.10.002/2023-24 के पैरा 5 की ओर भी ध्यान आमंत्रित किया जाता है, जिसमें कहा गया है कि प्राथमिकता प्राप्त क्षेत्र को उधार (पीएसएल) संबंधी लक्ष्यों को पूरा करने वाले यूसीबी के लिए प्रोत्साहन की घोषणा अलग से की जाएगी। तदनुसार, जैसा कि 6 अक्टूबर 2023 को विकासात्मक और विनियामक नीतियों पर वक्तव्य के पैरा 3 द्वारा घोषणा की गई है, एकमुश्त भुगतान योजना के तहत दिए जाने वाले स्वर्ण ऋणों की मौद्रिक सीमा को उन यूसीबी के लिए ₹2.00 लाख से बढ़ाकर ₹4.00 लाख करने का निर्णय लिया गया है, जो 31 मार्च 2023 को समग्र पीएसएल लक्ष्य और उप लक्ष्यों को पूरा कर चुके हैं और 8 जून 2023 के हमारे उक्त परिपत्र के पैरा 2 में निर्धारित लक्ष्यों और उप-लक्ष्यों को पूरा करना जारी रखते हैं।
3. ऊपर निर्धारित सीमाएँ इस परिपत्र की तिथि से प्रभावी हैं। उपर्युक्त परिपत्रों के अन्य सभी प्रावधान अपरिवर्तित रहेंगे।
भवदीय
(मनोरंजन मिश्र)
मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2023-24/66
विवि.सीआरई.आरईसी.42/07.10.002/2023-24
06 अक्तूबर 2023
वेतन अर्जक बैंकों के अलावा प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक
महोदया / महोदय,
स्वर्ण ऋण - एकमुश्त भुगतान - प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक (यूसीबी)
कृपया दिनांक 30 अक्टूबर 2014 के परिपत्र शबैंवि.बीपीडी.(पीसीबी).परि.सं.25/13.05.000/2014-15 का संदर्भ लें, जिसके अनुसार यूसीबी को कुछ शर्तों के अधीन एकमुश्त भुगतान विकल्प के तहत ₹2.00 लाख तक की राशि के स्वर्ण ऋण देने के लिए अनुमति दी गई थी।
2. हमारे दिनांक 8 जून 2023 के परिपत्र विवि.सीआरई.आरईसी.18/07.10.002/2023-24 के पैरा 5 की ओर भी ध्यान आमंत्रित किया जाता है, जिसमें कहा गया है कि प्राथमिकता प्राप्त क्षेत्र को उधार (पीएसएल) संबंधी लक्ष्यों को पूरा करने वाले यूसीबी के लिए प्रोत्साहन की घोषणा अलग से की जाएगी। तदनुसार, जैसा कि 6 अक्टूबर 2023 को विकासात्मक और विनियामक नीतियों पर वक्तव्य के पैरा 3 द्वारा घोषणा की गई है, एकमुश्त भुगतान योजना के तहत दिए जाने वाले स्वर्ण ऋणों की मौद्रिक सीमा को उन यूसीबी के लिए ₹2.00 लाख से बढ़ाकर ₹4.00 लाख करने का निर्णय लिया गया है, जो 31 मार्च 2023 को समग्र पीएसएल लक्ष्य और उप लक्ष्यों को पूरा कर चुके हैं और 8 जून 2023 के हमारे उक्त परिपत्र के पैरा 2 में निर्धारित लक्ष्यों और उप-लक्ष्यों को पूरा करना जारी रखते हैं।
3. ऊपर निर्धारित सीमाएँ इस परिपत्र की तिथि से प्रभावी हैं। उपर्युक्त परिपत्रों के अन्य सभी प्रावधान अपरिवर्तित रहेंगे।
भवदीय
(मनोरंजन मिश्र)
मुख्य महाप्रबंधक
आरबीआई/2011-12/62 शबैंवि.बीपीडी (पीसीबी).एमसी.सं.5 /13.05.000/2012-13 2 जुलाई 2012 मुख्य कार्यपालक अधिकारीसभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया / महोदय मास्टर परिपत्र अग्रिमों का प्रबंधन - शहरी सहकारी बैंक कृपया उपर्युक्त विषय पर 1 जुलाई, 2011 का हमारा मास्टर परिपत्र शबैवि.बीपीडी (पीसीबी) एमसी.सं. 5/13. 05. 000/2011-12 देखें (भारतीय रिज़र्व बैंक की वेबसाइट www.rbi.org.in पर उपलब्ध)। संलग्न मास्टर परिपत्र में 30 जून 2012 तक जारी सभी अनुदेशों / दिशानिर्देशों को स
आरबीआई/2011-12/62 शबैंवि.बीपीडी (पीसीबी).एमसी.सं.5 /13.05.000/2012-13 2 जुलाई 2012 मुख्य कार्यपालक अधिकारीसभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया / महोदय मास्टर परिपत्र अग्रिमों का प्रबंधन - शहरी सहकारी बैंक कृपया उपर्युक्त विषय पर 1 जुलाई, 2011 का हमारा मास्टर परिपत्र शबैवि.बीपीडी (पीसीबी) एमसी.सं. 5/13. 05. 000/2011-12 देखें (भारतीय रिज़र्व बैंक की वेबसाइट www.rbi.org.in पर उपलब्ध)। संलग्न मास्टर परिपत्र में 30 जून 2012 तक जारी सभी अनुदेशों / दिशानिर्देशों को स
आरबीआई/2023-24/53
विवि.एमसीएस.आरईसी.28/01.01.001/2023-24
18 अगस्त 2023
सभी वाणिज्यिक बैंक (भुगतान बैंकों को छोड़कर, लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक सहित)
सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक
सभी एनबीएफसी (एचएफसी सहित) और
अखिल भारतीय वित्तीय संस्थान (एक्जिम बैंक, नाबार्ड, एनएचबी, सिडबी और एनएबीएफआईडी)
महोदया/ महोदय,
उचित उधार प्रथा - ऋण खातों में दंडात्मक शुल्क
दंडात्मक ब्याज के प्रकटीकरण में तर्कसंगतता और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए रिज़र्व बैंक द्वारा विनियमित संस्थाओं (आरई) के लिए विभिन्न दिशानिर्देश जारी किए गए हैं। वर्तमान दिशानिर्देशों के अंतर्गत, ऋण देने वाली संस्थाओं के पास ब्याज की दंडात्मक दरें लगाने के लिए बोर्ड द्वारा अनुमोदित नीति तैयार करने की परिचालन स्वायत्तता है। यह पाया गया है कि कई आरई, ऐसी शर्तें जिन पर क्रेडिट सुविधाएं स्वीकृत की गई थीं, उधारकर्ता द्वारा उनकी चूक/गैर-अनुपालन किए जाने के मामले में, लागू ब्याज दरों के अलावा, दंडात्मक ब्याज दरों का प्रयोग कर रही हैं।
2. दंडात्मक ब्याज/शुल्क लगाने का इरादा अनिवार्य रूप से ऋण अनुशासन की भावना निर्माण करना है, न की ऐसे शुल्क ब्याज की अनुबंधित दर से अधिक राजस्व वृद्धि उपकरण के रूप में उपयोग करने के लिए है। हालाँकि, पर्यवेक्षी समीक्षाओं में दंडात्मक ब्याज/शुल्क लगाने संबंध में आरई द्वारा भिन्न प्रथाएं जिनसे ग्राहकों में शिकायतें और विवाद उत्पन्न होते हैं के उदाहरण मिले हैं।
3. ऋणों पर दंडात्मक ब्याज/शुल्क वसूलने के लिए आरई द्वारा अपनाई गई प्रथाओं की समीक्षा करने पर, अपनाए जाने हेतु निम्नलिखित निर्देश जारी किए गए हैं: -
(i) उधारकर्ता द्वारा ऋण अनुबंध के महत्वपूर्ण नियमों और शर्तों का अनुपालन न करने पर कोई दंड, यदि लगाया जाता है, तो उसे 'दंडात्मक शुल्क' के रूप में माना जाएगा, और इसे 'दंडात्मक ब्याज' के रूप में नहीं लगाया जाएगा, जो अग्रिमों पर लगाए गए ब्याज की दर में जोड़ा जाता है। दंडात्मक शुल्कों का कोई पूंजीकरण नहीं किया जाएगा अर्थात ऐसे शुल्कों पर कोई अतिरिक्त ब्याज नहीं लिया जाएगा। हालाँकि, इससे ऋण खाते में ब्याज चक्रवृद्धि की सामान्य प्रक्रियाएँ प्रभावित नहीं होंगी।
(ii) आरई द्वारा ब्याज दर में कोई अतिरिक्त घटक शामिल नहीं किए जाएंगे और इन दिशानिर्देशों का अक्षरश: अनुपालन सुनिश्चित किया जाएगा।
(iii) आरई को दंडात्मक शुल्क अथवा ऋण पर समान शुल्क, चाहे उसे किसी भी नाम से जाना जाए, पर बोर्ड द्वारा अनुमोदित नीति तैयार करनी होगी।
(iv) दंडात्मक शुल्क की मात्रा उचित होगी और किसी विशेष ऋण/उत्पाद श्रेणी के भीतर भेदभाव किए बिना ऋण अनुबंध के महत्वपूर्ण नियमों और शर्तों के अनुपालन न करने के अनुरूप होगी।
(v) 'व्यक्तिगत उधारकर्ताओं को, व्यवसाय के अलावा अन्य उद्देश्यों के लिए' स्वीकृत किए गए ऋणों के मामले में दंडात्मक शुल्क, महत्वपूर्ण नियमों और शर्तों के समान गैर-अनुपालन के लिए गैर-व्यक्तिगत उधारकर्ताओं पर लागू दंडात्मक शुल्क से अधिक नहीं होगा।
आरबीआई/2023-24/53
विवि.एमसीएस.आरईसी.28/01.01.001/2023-24
18 अगस्त 2023
सभी वाणिज्यिक बैंक (भुगतान बैंकों को छोड़कर, लघु वित्त बैंक, स्थानीय क्षेत्र बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक सहित)
सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक
सभी एनबीएफसी (एचएफसी सहित) और
अखिल भारतीय वित्तीय संस्थान (एक्जिम बैंक, नाबार्ड, एनएचबी, सिडबी और एनएबीएफआईडी)
महोदया/ महोदय,
उचित उधार प्रथा - ऋण खातों में दंडात्मक शुल्क
दंडात्मक ब्याज के प्रकटीकरण में तर्कसंगतता और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए रिज़र्व बैंक द्वारा विनियमित संस्थाओं (आरई) के लिए विभिन्न दिशानिर्देश जारी किए गए हैं। वर्तमान दिशानिर्देशों के अंतर्गत, ऋण देने वाली संस्थाओं के पास ब्याज की दंडात्मक दरें लगाने के लिए बोर्ड द्वारा अनुमोदित नीति तैयार करने की परिचालन स्वायत्तता है। यह पाया गया है कि कई आरई, ऐसी शर्तें जिन पर क्रेडिट सुविधाएं स्वीकृत की गई थीं, उधारकर्ता द्वारा उनकी चूक/गैर-अनुपालन किए जाने के मामले में, लागू ब्याज दरों के अलावा, दंडात्मक ब्याज दरों का प्रयोग कर रही हैं।
2. दंडात्मक ब्याज/शुल्क लगाने का इरादा अनिवार्य रूप से ऋण अनुशासन की भावना निर्माण करना है, न की ऐसे शुल्क ब्याज की अनुबंधित दर से अधिक राजस्व वृद्धि उपकरण के रूप में उपयोग करने के लिए है। हालाँकि, पर्यवेक्षी समीक्षाओं में दंडात्मक ब्याज/शुल्क लगाने संबंध में आरई द्वारा भिन्न प्रथाएं जिनसे ग्राहकों में शिकायतें और विवाद उत्पन्न होते हैं के उदाहरण मिले हैं।
3. ऋणों पर दंडात्मक ब्याज/शुल्क वसूलने के लिए आरई द्वारा अपनाई गई प्रथाओं की समीक्षा करने पर, अपनाए जाने हेतु निम्नलिखित निर्देश जारी किए गए हैं: -
(i) उधारकर्ता द्वारा ऋण अनुबंध के महत्वपूर्ण नियमों और शर्तों का अनुपालन न करने पर कोई दंड, यदि लगाया जाता है, तो उसे 'दंडात्मक शुल्क' के रूप में माना जाएगा, और इसे 'दंडात्मक ब्याज' के रूप में नहीं लगाया जाएगा, जो अग्रिमों पर लगाए गए ब्याज की दर में जोड़ा जाता है। दंडात्मक शुल्कों का कोई पूंजीकरण नहीं किया जाएगा अर्थात ऐसे शुल्कों पर कोई अतिरिक्त ब्याज नहीं लिया जाएगा। हालाँकि, इससे ऋण खाते में ब्याज चक्रवृद्धि की सामान्य प्रक्रियाएँ प्रभावित नहीं होंगी।
(ii) आरई द्वारा ब्याज दर में कोई अतिरिक्त घटक शामिल नहीं किए जाएंगे और इन दिशानिर्देशों का अक्षरश: अनुपालन सुनिश्चित किया जाएगा।
(iii) आरई को दंडात्मक शुल्क अथवा ऋण पर समान शुल्क, चाहे उसे किसी भी नाम से जाना जाए, पर बोर्ड द्वारा अनुमोदित नीति तैयार करनी होगी।
(iv) दंडात्मक शुल्क की मात्रा उचित होगी और किसी विशेष ऋण/उत्पाद श्रेणी के भीतर भेदभाव किए बिना ऋण अनुबंध के महत्वपूर्ण नियमों और शर्तों के अनुपालन न करने के अनुरूप होगी।
(v) 'व्यक्तिगत उधारकर्ताओं को, व्यवसाय के अलावा अन्य उद्देश्यों के लिए' स्वीकृत किए गए ऋणों के मामले में दंडात्मक शुल्क, महत्वपूर्ण नियमों और शर्तों के समान गैर-अनुपालन के लिए गैर-व्यक्तिगत उधारकर्ताओं पर लागू दंडात्मक शुल्क से अधिक नहीं होगा।
संदर्भ.संख्या एमपीडी.बीसी.244/07.01.279/2003-04 5 नवंबर 2003 कार्तिक 14, 1925 (सं) सभी प्राथमिक डीलर महोदय प्राथमिक डीलरों की कॉल/नोटिस मनी मार्केट तक पहुंच कृपया गवर्नर के पत्र सं एमपीडी.बीसी.241/07.01.279/2003-04 दिनांक 3 नवंबर 2003 के साथ संलग्न वर्ष 2003-04 के लिए मौद्रिक और ऋण नीति की मध्यावधि समीक्षा पर उनके वक्तव्य के पैराग्राफ 62 और 63 (पैराग्राफ की प्रति संलग्न) देखें। 2. यह पुनर्स्मरण किया जाए कि अप्रैल 2002 के वार्षिक नीति वक्तव्य के बाद, जुलाई 2002 में यह
संदर्भ.संख्या एमपीडी.बीसी.244/07.01.279/2003-04 5 नवंबर 2003 कार्तिक 14, 1925 (सं) सभी प्राथमिक डीलर महोदय प्राथमिक डीलरों की कॉल/नोटिस मनी मार्केट तक पहुंच कृपया गवर्नर के पत्र सं एमपीडी.बीसी.241/07.01.279/2003-04 दिनांक 3 नवंबर 2003 के साथ संलग्न वर्ष 2003-04 के लिए मौद्रिक और ऋण नीति की मध्यावधि समीक्षा पर उनके वक्तव्य के पैराग्राफ 62 और 63 (पैराग्राफ की प्रति संलग्न) देखें। 2. यह पुनर्स्मरण किया जाए कि अप्रैल 2002 के वार्षिक नीति वक्तव्य के बाद, जुलाई 2002 में यह
आरबीआई/2022-23/111 विवि.सीआरई.आरईसी.66/21.07.001/2022-23 02 सितंबर 2022 सभी वाणिज्यिक बैंक, प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक, राज्य सहकारी बैंक, जिला केंद्रीय सहकारी बैंक; तथा गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां (आवास वित्त कंपनियों सहित) महोदया/ महोदय डिजिटल उधार पर दिशानिर्देश 10 अगस्त 2022 की आरबीआई प्रेस विज्ञप्ति "डिजिटल उधार पर कार्य दल की सिफारिशें-कार्यान्वयन" का पैरा 7 देखें। तत्काल कार्यान्वयन के लिए कार्य दल की स्वीकृत सिफारिशों पर विस्तृत दिशा-निर्देश इस परिपत्र के अन
आरबीआई/2022-23/111 विवि.सीआरई.आरईसी.66/21.07.001/2022-23 02 सितंबर 2022 सभी वाणिज्यिक बैंक, प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक, राज्य सहकारी बैंक, जिला केंद्रीय सहकारी बैंक; तथा गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां (आवास वित्त कंपनियों सहित) महोदया/ महोदय डिजिटल उधार पर दिशानिर्देश 10 अगस्त 2022 की आरबीआई प्रेस विज्ञप्ति "डिजिटल उधार पर कार्य दल की सिफारिशें-कार्यान्वयन" का पैरा 7 देखें। तत्काल कार्यान्वयन के लिए कार्य दल की स्वीकृत सिफारिशों पर विस्तृत दिशा-निर्देश इस परिपत्र के अन
आरबीआई/2022-23/66 विवि.आरईजी.सं.45/19.51.052/2022-23 8 जून, 2022 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया / महोदय बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 23 – द्वारस्थ बैंकिंग सेवा बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949 (एएसीएस) की धारा 23 के अनुसार प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंकों (शहरी सहकारी बैंकों) को ग्राहक को द्वारस्थ बैंकिंग सेवाएँ प्रदान करने सहित किसी भी नई जगह पर कारोबार की शुरुआत करने से पहले रिज़र्व बैंक का पूर्वानुमोदन प्राप्त करना आवश्यक है। 2. उपर्युक्त को ध्यान में रखत
आरबीआई/2022-23/66 विवि.आरईजी.सं.45/19.51.052/2022-23 8 जून, 2022 सभी प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक महोदया / महोदय बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 23 – द्वारस्थ बैंकिंग सेवा बैंकिंग विनियमन अधिनियम, 1949 (एएसीएस) की धारा 23 के अनुसार प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंकों (शहरी सहकारी बैंकों) को ग्राहक को द्वारस्थ बैंकिंग सेवाएँ प्रदान करने सहित किसी भी नई जगह पर कारोबार की शुरुआत करने से पहले रिज़र्व बैंक का पूर्वानुमोदन प्राप्त करना आवश्यक है। 2. उपर्युक्त को ध्यान में रखत
आरबीआई/2021-22/52 डीपीएसएस.सीओ.ओडी.सं.एस-182/06.07.011/2021-22 10 जून 2021 (28 मार्च 2025 तक अद्यतन) अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक / मुख्य कार्यकारी अधिकारी आरआरबी सहित सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक / शहरी सहकारी बैंक / राज्य सहकारी बैंक / जिला केंद्रीय सहकारी बैंक / प्राधिकृत एटीएम नेटवर्क परिचालक / कार्ड भुगतान नेटवर्क परिचालक / व्हाइट लेबल एटीएम परिचालक महोदया / प्रिय महोदय, स्वचालित टेलर मशीनों / नकदी रिसाइकलर मशीनों का उपयोग – आदान-प्रदान शुल्क और ग्राहक प्रभारों की समीक्षा 1भारतीय रिजर्व बैंक ने समय-समय पर नि:शुल्क एटीएम लेनदेन की संख्या और अनिवार्य नि:शुल्क लेनदेनों से अतिरिक्त लेनदेनों पर ग्राहक को लगाए जा सकने वाले अधिकतम शुल्क के सबंध में विभिन्न निर्देश जारी किए हैं। आरबीआई ने एटीएम लेनदेन के लिए आदान-प्रदान शुल्क संरचना पर भी निर्देश जारी किए हैं। समीक्षा के आधार पर, निम्नानुसार निर्णय लिया गया है
आरबीआई/2021-22/52 डीपीएसएस.सीओ.ओडी.सं.एस-182/06.07.011/2021-22 10 जून 2021 (28 मार्च 2025 तक अद्यतन) अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक / मुख्य कार्यकारी अधिकारी आरआरबी सहित सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक / शहरी सहकारी बैंक / राज्य सहकारी बैंक / जिला केंद्रीय सहकारी बैंक / प्राधिकृत एटीएम नेटवर्क परिचालक / कार्ड भुगतान नेटवर्क परिचालक / व्हाइट लेबल एटीएम परिचालक महोदया / प्रिय महोदय, स्वचालित टेलर मशीनों / नकदी रिसाइकलर मशीनों का उपयोग – आदान-प्रदान शुल्क और ग्राहक प्रभारों की समीक्षा 1भारतीय रिजर्व बैंक ने समय-समय पर नि:शुल्क एटीएम लेनदेन की संख्या और अनिवार्य नि:शुल्क लेनदेनों से अतिरिक्त लेनदेनों पर ग्राहक को लगाए जा सकने वाले अधिकतम शुल्क के सबंध में विभिन्न निर्देश जारी किए हैं। आरबीआई ने एटीएम लेनदेन के लिए आदान-प्रदान शुल्क संरचना पर भी निर्देश जारी किए हैं। समीक्षा के आधार पर, निम्नानुसार निर्णय लिया गया है
भा.रि.बैं/2020-21/103विवि.एएमएल.बीसी.सं 44/14.06.001/2020-21 फरवरी 24, 2021 सभी विनियमित संस्थाओं के अध्यक्ष/ सीईओ महोदय/ महोदया, यूएपीए, 1967 की धारा 51-क का कार्यान्वयन – यूएनएससी की 1267/ 1989 आईएसआईएल (दाएश) और अल-कायदा प्रतिबंध सूची में अद्यतन करना – 92 प्रविष्टियों में संशोधन कृपया अपने ग्राहक को जानिए पर दिनांक 18 दिसंबर 2020 को यथासंशोधित, 25 फरवरी 2016 के हमारे मास्टर निदेश की धारा 51 देखें, जिसके अनुसार "विनियमित संस्थाएं (आरई) यह सुनिश्चित करें कि विधिवि
भा.रि.बैं/2020-21/103विवि.एएमएल.बीसी.सं 44/14.06.001/2020-21 फरवरी 24, 2021 सभी विनियमित संस्थाओं के अध्यक्ष/ सीईओ महोदय/ महोदया, यूएपीए, 1967 की धारा 51-क का कार्यान्वयन – यूएनएससी की 1267/ 1989 आईएसआईएल (दाएश) और अल-कायदा प्रतिबंध सूची में अद्यतन करना – 92 प्रविष्टियों में संशोधन कृपया अपने ग्राहक को जानिए पर दिनांक 18 दिसंबर 2020 को यथासंशोधित, 25 फरवरी 2016 के हमारे मास्टर निदेश की धारा 51 देखें, जिसके अनुसार "विनियमित संस्थाएं (आरई) यह सुनिश्चित करें कि विधिवि
भा.रि.बैं/2020-21/101 विवि.एएमएल.बीसी.सं.42/14.06.001/2020-21 फरवरी 22, 2021 सभी विनियमित संस्थाओं के अध्यक्ष/ सीईओ महोदय/ महोदया, यूएपीए, 1967 की धारा 51-क का कार्यान्वयन – यूएनएससी की 1267/ 1989 आईएसआईएल (दाएश) और अल- कायदा प्रतिबंध सूची में अद्यतन करना – दो प्रविष्टियों को हटाना कृपया अपने ग्राहक को जानिए पर दिनांक 18 दिसंबर 2020 को यथासंशोधित, 25 फरवरी 2016 के हमारे मास्टर निदेश की धारा 51 देखें, जिसके अनुसार "विनियमित संस्थाएं (आरई) यह सुनिश्चित करें कि विधिवि
भा.रि.बैं/2020-21/101 विवि.एएमएल.बीसी.सं.42/14.06.001/2020-21 फरवरी 22, 2021 सभी विनियमित संस्थाओं के अध्यक्ष/ सीईओ महोदय/ महोदया, यूएपीए, 1967 की धारा 51-क का कार्यान्वयन – यूएनएससी की 1267/ 1989 आईएसआईएल (दाएश) और अल- कायदा प्रतिबंध सूची में अद्यतन करना – दो प्रविष्टियों को हटाना कृपया अपने ग्राहक को जानिए पर दिनांक 18 दिसंबर 2020 को यथासंशोधित, 25 फरवरी 2016 के हमारे मास्टर निदेश की धारा 51 देखें, जिसके अनुसार "विनियमित संस्थाएं (आरई) यह सुनिश्चित करें कि विधिवि
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